लखनऊः एटा के जैथरा कस्बे में एक ठेले वाले को रविवार को दो गनर मिल गए. दरअसल, हाईकोर्ट के आदेश पर ठेले वाले की सुरक्षा में दो सशस्त्र पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है. दोनों गनर एके 47 से लैस हैं. 18 जुलाई को जब दोनों गनर ठेले वाले के पास सुरक्षा के लिए पहुंचे तो पहले तो वह उन्हें ग्राहक समझ बैठा. बाद में ठेले वाले को मालूम पड़ा कि वे दोनों उसकी सुरक्षा में तैनात में रहेंगे.
पूरा मामला सपा नेता एवं अलीगंज के पूर्व विधायक रामेश्वर सिंह यादव और उनके भाई जुगेंद्र सिंह यादव से जुड़ा है. ठेले वाले का नाम रामेश्वर दयाल है. रामेश्वर दयाल ने सपा नेताओं के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है. सपा नेताओं पर जातिसूचक गालियां देने और बंधक बनाकर जमीन का बैनामा कराने का आरोप है. इस मुकदमे को खारिज करने की याचिका आरोपी सपा नेताओं की ओर से हाईकोर्ट में डाली गई थी. याचिका में सपा नेताओं ने कहा था कि बंधक बनाकर जमीन पर कब्जा करने एवं जातिसूचक गालियां देने का जो मुकदमा उनके खिलाफ थाना जैथरा में दर्ज कराया गया है, वह झूठा है. उन्होंने मुकदमे को खारिज करने की मांग की थी.
हाईकोर्ट की ओर से पीड़ित रामेश्वर दयाल को भी नोटिस जारी कर शनिवार को बुलाया गया था. सुनवाई के दौरान न्यायाधीश ने पीड़ित को देखकर हैरानी जताई. कहा कि पीड़ित बिना सुरक्षा यहां तक कैसे आ गया. पुलिस ने अभी तक उसे सुरक्षा मुहैया क्यों नहीं कराई? न्यायाधीश ने पीड़ित को सुरक्षा मुहैया कराने के आदेश जारी कर दिए. हाईकोर्ट के आदेश के बाद रविवार को ही पीड़ित रामेश्वर दयाल की सुरक्षा में दो सशस्त्र पुलिसकर्मी लगा दिए गए. रामेश्वर दयाल की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है, दुकान भी नहीं है, इसलिए परिवार का भरण भोषण करने के लिए ठेले पर कपड़े बेचता है.
पीड़ित रामेश्वर दयाल के ठेले पर जब भी कोई ग्राहक कपड़े खरीदने आता है तो सुरक्षा में लगे पुलिसकर्मियों को देखकर चौंक जाता है. वहीं सुरक्षा मिलने पर रामेश्वर दयाल का कहना है कि अब वह सुरक्षित महसूस कर रहे हैं. इस मामले में सीओ अलीगंज राजकुमार सिंह ने बताया कि हाईकोर्ट के न्यायाधीश के आदेश पर रामेश्वर दयाल को सुरक्षा मुहैया कराई गई है.
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