सिरोही. राजस्थान के सिरोही से बड़ी खबर सामने आई है. जहां लाडू देवी हत्याकांड में पीड़ित परिवार खासे परेशान हैं. अपनी परेशानी से आजिज होकर पीड़ित ने अब बरलूट थाना के जांच अधिकारी यानी इंवेस्टिगेटिव ऑफिसर (IO) व तत्कालीन थानाधिकारी बाबूलाल राणा के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है. बरलूट थानाधिकारी के अनुसार वीरझाड़ोली निवासी लखमाराम देवासी ने रिपोर्ट दर्ज करवाई है.
उसके अनुसार करीब 5 वर्ष पूर्व गांव की वृद्ध महिला लाडू देवी की अज्ञात लोगों ने हत्या कर दी थी. जिस पर मृतका के पुत्र नाथाराम ने उसके खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कराया था. मामले दर्ज होने पर तत्कालीन थानाधिकारी बाबूलाल राणा उसे जबरदस्ती उठाकर ले गए और तीन दिन तक थाने में मारपीट की और जबरदस्ती लाडू देवी हत्या का आरोपी बनाया. इसके बाद 15 दिन तक रिमांड पर रखने के बाद जेल भेज दिया.
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जेल में रहने के दौरान पाली जिले के भीमाना निवासी गेनाराम गरासिया से मुलाकत हुई. जिसने बताया उसे भी इसी हत्या के मामले में झूठा फसाया गया, जबकि हत्या वाले दिन वह तो बाली जेल में ही बंद था. मामले में जांच होने के बाद हम निर्दोष साबित हुए और करीब 1 साल पहले जेल से छूटा हूं. पीड़ित ने झूठे मामले में फसाने, मारपीट करने और मानसिक और आर्थिक नुकसान पहुंचाने का आरोप लगा कर तत्कालीन थानाधिकारी एंड इस केस में शामिल अन्य के खिलाफ मामला दर्ज करवाया. मुकदमा दर्ज होने के बाद पुलिस ने मामले की तहकीकात शुरू कर दी है.
विधानसभा में भी उठा था मामला : लाडू देवी हत्याकांड में निर्दोष को फंसाने को लेकर सिरोही विधायक संयम लोढ़ा ने विधानसभा में भी मामला उठाया. साथ ही दोषी लोगों के खिलाफ कार्रवाई की भी मांग की थी. जेल में बंद निर्दोष को रिहा करने और आर्थिक मुआवजे की दिए जाने की मांग की थी.
क्या था मामला : बता दें कि 24 मई 2018 की रात को कुछ बदमाशों ने बुजूर्ग महिला लाडू देवी की गला दबाकर हत्या कर दिया था. इसके बाद वे मकान में चोरी की वारदात को भी अंजाम दिया था. इस घटना के बाद लोगों में काफी आक्रोश व्याप्त हो गया. लोगों ने जगह-जगह प्रदर्शन करके पुलिस प्रशासन पर मानसिक दवाब बनाने में कामयाब हुए. उसी दवाब में पुलिस ने 28 मई 2018 आनन फानन में निर्दोष लखमाराम को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया था.
पुलिस की कहानी : तब पुलिस ने बताया था कि लखमाराम अपने दोस्त संग शराब खरीदा व दोनों पास ही सुनसान जगह पर शराब पिया. उसके बाद चोरी के इरादे से आसपास के इलाकों की रैकी की. उस दौरान पाया कि लाडू देवी का घर सुनसान व छोटे बच्चों के संग अकेली रहती थी. इन्ही सब कारणों से उसके चोरी की घटना को अंजाम दिया. पकड़े जाने के डर से उसने लाडू देवी की गला दबाकर हत्या कर दी.