सिरोही. जिले के आबुरोड, मंडार पर गुजरात की सीमा लगती है. गुजरात में पेट्रोल और डीजल के दामों में कमी है. ऐसे में वाहन चालक गुजरात के पेट्रोल पंप पर ही ईंधन भरवा रहे हैं. जिसका असर सीमा से सटे पेट्रोल पंप पर देखने को मिल रहा है. पेट्रोल पंप सुने पड़े रहते है. वहीं कई पम्प अब बंद होने की कगार पर हैं. ऐसे में पेट्रोल पंप संचालक सरकार से वैट कम करने की गुहार लगा रहा है.
कीमतों में 8-11 रुपये का फर्क
सिरोही जिले के आबुरोड मावल स्थित करीब हाइवे पर करीब 10 से ज्यादा पेट्रोल पम्प है. मावल बॉर्डर से मात्र 1 किलोमीटर की दूरी पर ही गुजरात मे पेट्रोल पंप है. गुजरात में वैट कम है, जिसके चलते डीजल और पेट्रोल की कीमतों में 8 रुपये से लेकर 11 रुपये तक का फर्क है. जरा सी दूरी में इतना फर्क होने के चलते वाहन चालक गुजरात में ही ईंधन भरवा रहे है. जिसके चलते बॉर्डर पर लगे हुए राजस्थान में पेट्रोल पंप के लिए मुश्किल खड़ी हो गई है. कुछ संचालको का कहना है अगर ऐसे ही चलता रहा और वैट कम नहीं हुआ तो पेट्रोल पंप बंद होने के कगार पर है. पम्प पर लगे कर्मचारियों का वेतन तक नही मिल पा रहा है, ऐसे में पम्प चलना मुश्किल हो गया है.
बाइको पर निर्भर है पम्प
गुजरात सीमा से सटे पेट्रोल पंप सिर्फ दुपहिया वाहनों पर निर्भर है. कार, ट्रक और बस सहित अन्य वाहन चालक डीजल और पेट्रोल गुजरात में सस्ता होने के कारण वहीं ईंधन भरवा लेते है. ऐसे में गुजरात से सटे राजस्थान के पेट्रोल पंप पर सन्नाटा पसरा हुआ होता है. पेट्रोल और डीजल की बिक्री नहीं होने के कारण कई पेट्रोल पम्प संचालकों ने सीएनजी गैस का पम्प भी लगवा दिया है.
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ऐसे ही एक पेट्रोल पंप संचालक सुरेश कोठारी ने कहा कि गुजरात-राजस्थान में वैट का भारी अंतर है, जिसके चलते गुजरात मे ईंधन की कीमतें कम है. जिसका असर पेट्रोल पंप पर पड़ रहा है. स्थानीय लोग भी गुजरात जाकर पेट्रोल और डीजल भरवा कर आ रहे है. इन्होंने ने राज्य सरकार से वैट कम करने की गुहार लगाई.