मकराना (नागौर). क्षेत्र के ग्राम धांधोली निवासी सैनिक बल बीएसएफ पश्चिमी बंगाल में तैनात एएसआई नारायणराम सारण ड्यूटी के दौरान ह्रदय गति रुक जाने से शहीद हो गए थे. जहां मंगलवार सुबह देश की शान, वीर जवान नारायण सारण का उनके पैतृक गांव धंधोली में राजकीय सैन्य सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया.
शहीद की पत्नी का पहले ही स्वर्गवास हो गया था. ऐसे में ज्यो ही शहीद नारायण राम का तिरंगे से लिपटी देह उनके घर पहुंची, तो पूरा माहौल गमगीन हो गया. पुत्र और पुत्रियों का रो-रोकर बुरा हाल था. शहीद की अंतिम यात्रा में बड़ी संख्या में जन सैलाब उमड़ पड़ा. शहीद नारायण सारण की पार्थिव देह को उनके नाबालिग 13 वर्षीय पुत्र जयकिशन सारण ने मुखाग्नि दी.
सीमा सुरक्षा बल की टुकड़ियों शस्त्र उल्टे कर और हवा में गोलियां दाग कर शहीद को अंतिम सलामी दी. अंतिम यात्रा में शामिल लोगों ने शहीद नारायण राम अमर रहे और भारत माता की जय के गगनभेदी नारों से आसमान को गुंजायमान कर दिया. शहीद को श्रदांजलि देने में महिलाएं भी पीछे नहीं रही. शहीद के पार्थिव शरीर पर विधायक रूपाराम मुरावतिया, तहसीलदार मकराना दिनेश शर्मा, गच्छीपुरा थाना प्रभारी अब्दुल रहुफ खान और बीएसएफ अधिकारियों ने पुष्प चक्र अर्पित कर सलामी दी.
इस दौरान जवानों ने परिजनों को ढांढस बंधाया. इस मौके पर परबतसर विधायक रामनिवास गावड़िया, पूर्व विधायक श्रीराम भिंचर, निम्बड़ी सरपंच उगमाराम राम सारण, सरपंच प्रेमाराम छारंग, मण्डल सदस्य एडवोकेट भंवराराम डूडी, भूराराम डूडी, बेसरोली सरपंच श्रवण राम रलिया, परबतसर पंचायत समिति सदस्य मांगीलाल कुरडिया, जुसरी सरपंच प्रकाश भाकर, कुम्भाराम सारण, नारायण राम, सहित अनेक जनप्रतिनिधि, सामाजिक संगठनों के पदाधिकारी सहित सर्व समाज के गणमान्य लोग उपस्तिथ थे.