ETV Bharat / state

कोरोना से जंग लड़ने के लिए नागौर में लागू हुआ 'जर्मनी' मॉडल - कोरोना वायरस

नागौर में कोरोना की संक्रमण को रोकन के लिए अब जर्मनी का कोरोना से लड़ने का मॉडल अपनाया जा रहा है. जिसके तहत मोबाइल मेडिकल ओपीडी वैन में नियुक्त चिकित्सक एवं पैरामेडिकल स्टाफ लोगों की जांच करेंगे.

Germany corona model  नागौर न्यूज
नागौर में लागू हुआ जर्मनी मॉडल
author img

By

Published : May 1, 2020, 9:02 PM IST

नागौर. कोरोना वायरस संक्रमण के चलते नागौर अब रेड जोन में आ चुका है. ऐसे में नागौर अब कोरोना के खिलाफ जंग में जर्मनी द्वारा अमल में लाई गई योजनाओं को अपनाएगा. मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. सुकुमार कश्यप ने जानकारी देते हुए बताया कि नागौर में कोरोना संक्रमित हो चुके ज्यादा से ज्यादा लोगों की जान बचाई जा सके, इसके लिए जर्मनी के योजनाओं को अपनाया जाएगा.

नागौर में लागू हुआ जर्मनी मॉडल

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. सुकुमार कश्यप ने जानकारी देते हुए बताया कि पूरे विश्व में जर्मनी एकमात्र ऐसा देश है, जहां करोना का संक्रमण से बाकी देशों के मुकाबले लोगों की मृत्यु दर बहुत कम है. जिला प्रशासन और चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की प्राथमिकता कोरोना के संक्रमण को रोकने के साथ-साथ ज्यादा से ज्यादा लोगों की जान बचाना भी है. डॉक्टर कश्यप ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि इसके लिए 6 टीमें बना दी गई है. इन टीमों को पल्स ऑक्सीमीटर दिए गए हैं, जो कि लोगों की जांच में सहायक होगा. इस ऑक्सीमीटर की सहायता से संदिग्ध लोगों को आसानी से पहचाना जा सकेगा.

यह भी पढ़ें. नागौर के JLN अस्पताल से 14 मरीजों को भेजा गया घर, अब तक 27 लोगों ने जीती कोरोना से जंग

डॉ. सुकुमार कश्यप ने जानकारी देते हुए बताया कि इस योजना के तहत बासनी गांव में बीमारी से पीड़ित लोगों को चयनित कर लिया गया है. चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की टीम ने गंभीर बीमारी से पीड़ित लोगों के सैंपल लिए जाने के साथ-साथ उनकी विशेष मॉनिटरिंग की जा रही है. इसके अलावा इलाकों में रहने वाले गर्भवती महिलाएं, हृदय रोग के साथ डायबिटीज, रक्तचाप के रोगियों के साथ बच्चों को विशेष निगरानी में रखा गया है. कोरोना वायरस से निपटने के लिए जर्मनी ने टेस्टिंग टैक्सियां चलाई थी. इसके बाद बड़ी भूमिका हॉटलाइन और मोबाइल टेस्टिंग यूनिट ने निभाई थी. अब नागौर में भी मोबाइल मेडिकल ओपीडी वैन में नियुक्त चिकित्सक एवं पैरामेडिकल स्टाफ सर्दी ,जुखाम, बुखार मधुमेह हाइपरटेंशन की जांच और करेंगे. ये उपचार के साथ साथ गर्भवती महिलाओं की ANC तक की जांच कर रहे हैं.

यह भी पढ़ें. स्पेशल रिपोर्ट: गहलोत के गृहनगर पैर पसार रहा कोरोना, पॉजिटिव मरीजों का ऑकड़ा पहुंचा 500 के पार

जिले में अब तक 3048 सैंपल लिए गए हैं. जिनमें से नागौर जिले में 117 कोरोना वायरस के संक्रमित मरीज पाए गए हैं. जिले में अब तक 2075 सैंपल की रिपोर्ट नेगेटिव पाई गई है . साथ ही 856 की रिपोर्ट आना शेष है. नागौर जिले में अब तक 2 कोरोना वायरस मरीजों की मौत हो चुकी है. दोनों मृतक बासनी गांव के निवासी थे.

नागौर. कोरोना वायरस संक्रमण के चलते नागौर अब रेड जोन में आ चुका है. ऐसे में नागौर अब कोरोना के खिलाफ जंग में जर्मनी द्वारा अमल में लाई गई योजनाओं को अपनाएगा. मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. सुकुमार कश्यप ने जानकारी देते हुए बताया कि नागौर में कोरोना संक्रमित हो चुके ज्यादा से ज्यादा लोगों की जान बचाई जा सके, इसके लिए जर्मनी के योजनाओं को अपनाया जाएगा.

नागौर में लागू हुआ जर्मनी मॉडल

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. सुकुमार कश्यप ने जानकारी देते हुए बताया कि पूरे विश्व में जर्मनी एकमात्र ऐसा देश है, जहां करोना का संक्रमण से बाकी देशों के मुकाबले लोगों की मृत्यु दर बहुत कम है. जिला प्रशासन और चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की प्राथमिकता कोरोना के संक्रमण को रोकने के साथ-साथ ज्यादा से ज्यादा लोगों की जान बचाना भी है. डॉक्टर कश्यप ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि इसके लिए 6 टीमें बना दी गई है. इन टीमों को पल्स ऑक्सीमीटर दिए गए हैं, जो कि लोगों की जांच में सहायक होगा. इस ऑक्सीमीटर की सहायता से संदिग्ध लोगों को आसानी से पहचाना जा सकेगा.

यह भी पढ़ें. नागौर के JLN अस्पताल से 14 मरीजों को भेजा गया घर, अब तक 27 लोगों ने जीती कोरोना से जंग

डॉ. सुकुमार कश्यप ने जानकारी देते हुए बताया कि इस योजना के तहत बासनी गांव में बीमारी से पीड़ित लोगों को चयनित कर लिया गया है. चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की टीम ने गंभीर बीमारी से पीड़ित लोगों के सैंपल लिए जाने के साथ-साथ उनकी विशेष मॉनिटरिंग की जा रही है. इसके अलावा इलाकों में रहने वाले गर्भवती महिलाएं, हृदय रोग के साथ डायबिटीज, रक्तचाप के रोगियों के साथ बच्चों को विशेष निगरानी में रखा गया है. कोरोना वायरस से निपटने के लिए जर्मनी ने टेस्टिंग टैक्सियां चलाई थी. इसके बाद बड़ी भूमिका हॉटलाइन और मोबाइल टेस्टिंग यूनिट ने निभाई थी. अब नागौर में भी मोबाइल मेडिकल ओपीडी वैन में नियुक्त चिकित्सक एवं पैरामेडिकल स्टाफ सर्दी ,जुखाम, बुखार मधुमेह हाइपरटेंशन की जांच और करेंगे. ये उपचार के साथ साथ गर्भवती महिलाओं की ANC तक की जांच कर रहे हैं.

यह भी पढ़ें. स्पेशल रिपोर्ट: गहलोत के गृहनगर पैर पसार रहा कोरोना, पॉजिटिव मरीजों का ऑकड़ा पहुंचा 500 के पार

जिले में अब तक 3048 सैंपल लिए गए हैं. जिनमें से नागौर जिले में 117 कोरोना वायरस के संक्रमित मरीज पाए गए हैं. जिले में अब तक 2075 सैंपल की रिपोर्ट नेगेटिव पाई गई है . साथ ही 856 की रिपोर्ट आना शेष है. नागौर जिले में अब तक 2 कोरोना वायरस मरीजों की मौत हो चुकी है. दोनों मृतक बासनी गांव के निवासी थे.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.