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एसडीएम ने आपसी समझाइश से कराया भरण पोषण प्रकरण का निस्तारण

कोटा के कनवास उपखंड क्षेत्र में भरण पोषण अधिनियम 2007 के एक प्रकरण में एसडीएम ने सुनवाई करते हुए मामले को सुलझाया. एसडीएम ने दोनों पक्षों को समझाइश करके प्रकरण का निस्तारण किया.

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Published : Sep 17, 2020, 8:34 PM IST

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एसडीएम ने आपसी समझाइश से कराया भरण पोषण प्रकरण का निस्तारण

सांगोद (कोटा). जिले के सांगोद क्षेत्र के कनवास उपखंड में एक भरण पोषण अधिनियम 2007 के प्रकरण को एसडीएम ने आपसी समझाइश के जरिए सुलझाया. मामले में पीड़िता की शिकायत पर एसडीएम ने दोनों पक्षों को उपस्थित होने के लिए नोटिस जारी किया था, जिस पर गुरुवार को दोनों पक्ष उपस्थित हुए और एसडीएम ने आपसी समझाइश के बाद मामले को सुलझाया.

जानकारी के अनुसार कांकरिया निवासी नंदुबाई पत्नी हेमराज बंजारा ने भरण पोषण अधिनियम के तहत मामला दर्ज कराया था. जिस पर उसने बताया था कि उसके पति हेमराज का निधन हो चुका है. नंदूबाई की 20 बीघा जमीन पर उसकी बेटी का बेटा खेती करता है, लेकिन भरण पोषण नहीं कर रहा है. साथ ही कभी-कभी गाली-गलौज भी करता है.

पढ़ें- चंबल नदी हादसाः सभी 13 मृतकों के शवों का किया गया अंतिम संस्कार

इस पर कनवास एसडीएम राजेश डागा ने भरण-पोषण अधिनियम 2007 के तहत कार्रवाई करते हुए भूरालाल को नोटिस जारी किया. जिस पर दोनों पक्ष एसडीएम के सामने उपस्थित हुए. एसडीएम ने मामले में सुनवाई करते हुए आपसी समझाइश कराई. कनवास एसडीएम की समझाइश अनुसार भूरालाल, नंदुबाई के देखभाल के साथ आवश्यक सामग्री भी उपलब्ध कराएगा और प्रतिदिन भरण पोषण व आवश्यकता पड़ने पर चिकित्सा उपचार भी कराएगा.

सांगोद (कोटा). जिले के सांगोद क्षेत्र के कनवास उपखंड में एक भरण पोषण अधिनियम 2007 के प्रकरण को एसडीएम ने आपसी समझाइश के जरिए सुलझाया. मामले में पीड़िता की शिकायत पर एसडीएम ने दोनों पक्षों को उपस्थित होने के लिए नोटिस जारी किया था, जिस पर गुरुवार को दोनों पक्ष उपस्थित हुए और एसडीएम ने आपसी समझाइश के बाद मामले को सुलझाया.

जानकारी के अनुसार कांकरिया निवासी नंदुबाई पत्नी हेमराज बंजारा ने भरण पोषण अधिनियम के तहत मामला दर्ज कराया था. जिस पर उसने बताया था कि उसके पति हेमराज का निधन हो चुका है. नंदूबाई की 20 बीघा जमीन पर उसकी बेटी का बेटा खेती करता है, लेकिन भरण पोषण नहीं कर रहा है. साथ ही कभी-कभी गाली-गलौज भी करता है.

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इस पर कनवास एसडीएम राजेश डागा ने भरण-पोषण अधिनियम 2007 के तहत कार्रवाई करते हुए भूरालाल को नोटिस जारी किया. जिस पर दोनों पक्ष एसडीएम के सामने उपस्थित हुए. एसडीएम ने मामले में सुनवाई करते हुए आपसी समझाइश कराई. कनवास एसडीएम की समझाइश अनुसार भूरालाल, नंदुबाई के देखभाल के साथ आवश्यक सामग्री भी उपलब्ध कराएगा और प्रतिदिन भरण पोषण व आवश्यकता पड़ने पर चिकित्सा उपचार भी कराएगा.

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