झुंझुनू. शेखावाटी के झुंझुनू जिले में लगातार 24 साल से आयोजित हो रहे शेखावाटी हस्तशिल्प एवं पर्यटन मेला 2020 का आगाज शुक्रवार को ग्रामीण हाट आबूसर में हुआ. कार्यक्रम में वक्ताओं ने कहा कि यह जिला हर क्षेत्र में अपना अलग मुकाम रखता है. उद्योग, सेना, सर्विस, भामाशाह किसी भी क्षेत्र की बात हो, जिले का नाम जरूर लिया जाता है.
इसी प्रकार पारंपरिक खेल जो वर्तमान में लुप्त होते जा रहे हैं इस मेले के माध्यम से उनको आम जन तक पहुंचाना अनुकरणीय कार्य है. दस्तकार हस्तशिल्प कारों के लिए यह मेला एक बड़ा प्लेटफार्म साबित होगा ऐसी आशा है.
यह मेला जिले वासियों के लिए मनोरंजन एवं अपनी संस्कृति को याद करने का उचित माध्यम बनता जा रहा है. एक ही जगह विभिन्न उत्पादों मनोरंजन के साधन मिलना काफी फायदेमंद है, यहां अन्य राज्यों से भी लोग अपने अपने उत्पादों की बिक्री के लिए आए हुए हैं. एक दिन यह मेला राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अपना परचम लहराएगा.
इतिहास को मिलता है बढ़ावा
समारोह को विदेशी सैलानियों को निवासी इतिहास के शिक्षकों ने संबोधित कर कहा कि हिंदुस्तान की संस्कृति अभी भी जिंदा है और ऐसे आयोजनों से यहां के कल्चर को बढ़ावा मिलता है. उन्होंने कहा कि वे बहुत खुश हैं कि उन्हें ऐसे आयोजन में आने का मौका मिला.
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समारोह में उद्योग केंद्र के महाप्रबंधक नानूराम गहनोलिया ने बताया कि 24 साल पहले शुरू हुआ यह सफर अपनी ऊंचाइयों की ओर बढ़ रहा है और वह दिन दूर नहीं जब ऐसे आयोजनों के लिए इससे भी बड़ी जगह की जरूरत महसूस होगी.
प्रस्तुत किया नृत्य
समारोह में राजस्थानी शिशु मंदिर के छात्रों द्वारा गणेश वंदना, रानी सती बालिका उच्च माध्यमिक विद्यालय द्वारा सरस्वती वंदना एवं स्वागत गीत, रामादेवी महिला पीजी महाविद्यालय द्वारा युगल नृत्य, न्यू राजस्थान बालिका स्नातकोत्तर महाविद्यालय द्वारा मारवाड़ी, डाबड़ी धीर सिंह के नथुराम भट्ट द्वारा कठपुतली नृत्य पेश किया गया. अतिथियों के साथ बैठे विदेशी सैलानी भी आकर्षण का केंद्र रहे, समारोह के बाद अतिथियों ने विभिन्न स्टॉलों का अवलोकन किया और उनके उत्पादों की जानकारी प्राप्त की.