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निपाह का ट्रीटमेंट नहीं, इसलिए बचाव पर जोर देते हुए राजस्थान स्वास्थ्य महकमा अलर्ट मोड पर

निपाह वायरस का कोई ट्रीटमेंट नहीं, इसलिए बचाव पर जोर देते हुए राजस्थान में अलर्ट जारी किया गया है. केरल में निपाह वायरस से दो लोगों की मौत और पांच लोगों के संक्रमित मिलने के बाद प्रदेश के चिकित्सा महकमे ने एडवाइजरी जारी की है.

Rajasthan Health Department
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Sep 16, 2023, 9:55 AM IST

डॉ. रवि प्रकाश माथुर ने क्या कहा....

जयपुर. अब बुखार, सिर दर्द, गला खराब होने, सांस लेने में तकलीफ होने, उल्टी होने को हल्के में ना लें. क्योंकि देश में एक बार फिर निपाह वायरस में दस्तक दी है. केरल में निपाह संक्रमित मरीज के सामने आने के बाद अब राजस्थान का स्वास्थ्य महकमा भी अलर्ट मोड पर आ गया है. जन स्वास्थ्य निदेशक डॉ. रवि प्रकाश माथुर ने बताया कि ये एक जूनोटिक डिजीज है. इस बीमारी में मरीज के दौरे पड़ने, कोमा में आने और दिमाग में सूजन आने की संभावना रहती है.

इसके कुछ मामले केरल में सामने आए. उसे ध्यान में रखते हुए राजस्थान में एडवाइजरी जारी की गई है. जिसके तहत सारे मेडिकल कॉलेज और अस्पतालों को अलर्ट रहने के निर्देश दिए गए हैं और नेशनल सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल की गाइडलाइन की ओर इंगित किया है, ताकि सभी को इसके लक्षण, बचाव, उपचार और प्रोटोकॉल की जानकारी हो और वो अलर्ट रहे. उन्होंने स्पष्ट किया कि इसका अभी कोई ट्रीटमेंट नहीं है. ऐसे में बचाव पर ही जोर देना है. इसके साथी केरल से आने वाले यात्रियों पर निगरानी रख, किसी तरह के सिम्टम्स पाए जाने पर उनकी जांच करते हुए जानकारी निदेशालय में उपलब्ध कराने के भी निर्देश दिए गए हैं.

पढ़ें : Kerala Nipah outbreak: ICMR DG ने कहा, निपाह का प्रकोप केरल के कोझिकोड जिले तक ही सीमित

एडवाइजरी के अनुसार निपाह वायरस से बचाव के लिए हाइजीन का पालन करना जरूरी है. ये वाइरस फ्रूट बैट्स के जरिए ह्यूमन तक पहुंच सकता है. ऐसे में फलों और सब्जियों को अच्छी तरह धोकर खाने, संक्रमित मरीजों से दूर रहने, अच्छा आहार लेने और सतर्क रहने के निर्देश जारी किए गए हैं.

विभाग की ओर से सभी जोन के संयुक्त निदेशकों और मेडिकल कॉलेज के प्राचार्यों को संदिग्ध केस के सैंपल लेने और रिपोर्ट पॉजीटिव आने पर सूचना निदेशालय को देने के निर्देश जारी किए हैं. वहीं, केरल और आसपास के क्षेत्र से आने वाले यात्रियों पर भी निगरानी रखने के लिए निर्देशित किया गया है.

डॉ. रवि प्रकाश माथुर ने क्या कहा....

जयपुर. अब बुखार, सिर दर्द, गला खराब होने, सांस लेने में तकलीफ होने, उल्टी होने को हल्के में ना लें. क्योंकि देश में एक बार फिर निपाह वायरस में दस्तक दी है. केरल में निपाह संक्रमित मरीज के सामने आने के बाद अब राजस्थान का स्वास्थ्य महकमा भी अलर्ट मोड पर आ गया है. जन स्वास्थ्य निदेशक डॉ. रवि प्रकाश माथुर ने बताया कि ये एक जूनोटिक डिजीज है. इस बीमारी में मरीज के दौरे पड़ने, कोमा में आने और दिमाग में सूजन आने की संभावना रहती है.

इसके कुछ मामले केरल में सामने आए. उसे ध्यान में रखते हुए राजस्थान में एडवाइजरी जारी की गई है. जिसके तहत सारे मेडिकल कॉलेज और अस्पतालों को अलर्ट रहने के निर्देश दिए गए हैं और नेशनल सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल की गाइडलाइन की ओर इंगित किया है, ताकि सभी को इसके लक्षण, बचाव, उपचार और प्रोटोकॉल की जानकारी हो और वो अलर्ट रहे. उन्होंने स्पष्ट किया कि इसका अभी कोई ट्रीटमेंट नहीं है. ऐसे में बचाव पर ही जोर देना है. इसके साथी केरल से आने वाले यात्रियों पर निगरानी रख, किसी तरह के सिम्टम्स पाए जाने पर उनकी जांच करते हुए जानकारी निदेशालय में उपलब्ध कराने के भी निर्देश दिए गए हैं.

पढ़ें : Kerala Nipah outbreak: ICMR DG ने कहा, निपाह का प्रकोप केरल के कोझिकोड जिले तक ही सीमित

एडवाइजरी के अनुसार निपाह वायरस से बचाव के लिए हाइजीन का पालन करना जरूरी है. ये वाइरस फ्रूट बैट्स के जरिए ह्यूमन तक पहुंच सकता है. ऐसे में फलों और सब्जियों को अच्छी तरह धोकर खाने, संक्रमित मरीजों से दूर रहने, अच्छा आहार लेने और सतर्क रहने के निर्देश जारी किए गए हैं.

विभाग की ओर से सभी जोन के संयुक्त निदेशकों और मेडिकल कॉलेज के प्राचार्यों को संदिग्ध केस के सैंपल लेने और रिपोर्ट पॉजीटिव आने पर सूचना निदेशालय को देने के निर्देश जारी किए हैं. वहीं, केरल और आसपास के क्षेत्र से आने वाले यात्रियों पर भी निगरानी रखने के लिए निर्देशित किया गया है.

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