जयपुर. प्रदेश बीजेपी में अध्यक्ष के बदलाव के साथ अब संगठनात्मक परिवर्तन को लेकर चर्चाएं जोरों पर है. इन सब चर्चाओं के बीच बीजेपी के वरिष्ठ नेता और पूर्व राज्यसभा सदस्य ओम माथुर ने भी बड़े बदलाव के संकेत दिए हैं. ओम माथुर ने जयपुर में मंगलवार को मीडिया से बात करते हुए कहा कि अध्यक्ष के बदलाव की एक सतत प्रक्रिया है. अध्यक्ष के बदलाव के साथ संरचनात्मक परिवर्तन भी होंगे. माथुर ने राजस्थान बीजेपी के भविष्य को लेकर कहा कि सेंट्रल पार्लियामेंट्री बोर्ड सभी चीजें तय करता है. गुजरात में एक विधायक मुख्यमंत्री बन सकता है, तो अंदाजा लगा सकते हैं कि क्या कुछ हो सकता है.
राहुल नहीं रख रहें हैं अपनी भाषा पर संयमः पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की संसद से सदस्यता समाप्त होने को लेकर चल रहे विवाद पर ओम माथुर ने कहा कि राहुल गांधी को सुप्रीम कोर्ट ने सीधे-सीधे निर्देश दिया हुआ था, इसके बावजूद अपनी भाषा पर उन्होंने संयम नहीं रखा. आज भी उसी तरह के बयान दे रहे हैं. उन्हें ऐसा लगता है कि महात्मा गांधी आजादी के बाद चाहते थे कि कांग्रेस खत्म हो जाए. उन्हीं गांधी का फर्जी नाम लगाए हुए राहुल अब कांग्रेस को समाप्त करने के मूड में हैं.
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संगठनात्मक परिवर्तन भी होंगेः माथुर ने आगामी संगठनात्मक बदलावों को लेकर कहा कि अध्यक्ष के बदलाव के साथ हर एक के मन में अपेक्षा जगी है कि संरचनात्मक परिवर्तन भी होंगे. मोर्चा में परिवर्तन भी होंगे जो एक रूटीन प्रक्रिया है. राजनीतिक क्षेत्र का कार्यकर्ता अपेक्षा रखता है. गुलाब कटारिया के जाने के बाद नेता प्रतिपक्ष का पद खाली होने पर माथुर ने कहा कि सभी जगह जल्द नियुक्ति होगी. चुनाव आने वाला है तो चुनाव समिति भी बनेगी. चुनाव समिति के साथ चुनाव प्रबंधन समिति भी बनेगी. जिसमें कई तरीके के विभाग होंगे. हो सकता है कि कोर टीम की भी रचना हो. सब मिलकर के चुनाव लड़ते हैं. राजस्थान बीजेपी के भविष्य क्या होगा वो सेंट्रल पार्लियामेंट्री बोर्ड तय करता है और वही तय करेगा.
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कमल के फूल के साथ बढ़ना है आगेः ओम माथुर ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह और राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा का कहना है कि कमल के फूल के साथ आगे बढ़ना है. पार्टी में सभी फैसले सामूहिक नेतृत्व के जरिये होते हैं. पसंद नापसंद होती होंगी, लेकिन फैसले सामूहिक नेतृत्व से होते हैं. माथुर ने राजस्थान बीजेपी के भविष्य को लेकर कहा कि सेंट्रल पार्लियामेंट्री बोर्ड सभी चीजें तय करता है. फडणवीस या मनोहर लाल खट्टर सीएम बन जाएंगे किसी ने कल्पना की थी. गुजरात में पहली बार का विधायक भी मुख्यमंत्री बना है. कार्यकर्ता और नेता इच्छा जरूर रख सकता है, लेकिन फैसला सेंट्रल पार्लियामेंट्री बोर्ड ही करता है.
केंद्र की योजनाओं के साथ तुलना होगीः माथुर ने पार्टी के नए अध्यक्ष सीपी जोशी की तारीफ करते हुए कहा कि उन्होंने अपने पहले संबोधन में कार्यकर्ताओं को केंद्र की योजनाओं को लेकर दिशा दी है. आम मतदाता तक प्रधानमंत्री की योजनाओं को पहुंचाना बहुत अच्छी बात होती है. प्रधानमंत्री की 9 साल की जनकल्याण की योजनाओं का प्रचार करें. उन्हीं के पोस्टर बैनर्स लगाए जाएं, ये अच्छा फैसला है. उससे राज्य की कांग्रेस सरकार से तुलना होगी. देश की मोदी सरकार ने आम और खास को राहत देने के लिए योजनाएं चलाई हैं. आज गरीब के घर तक योजनाओं का लाभ पहुंच रहा है. आने वाले विधानसभा चुनाव में केंद्र की योजनाओं के साथ तुलना होगी. माथुर ने कहा कि मैने भी मध्यप्रदेश में दिग्विजय सिंह के सामने अटल बिहारी वाजपेई की योजनाओं को लेकर चुनाव जीता था.
3 साल में अध्यक्ष बदलने की सतत प्रक्रियाः प्रदेश में अध्यक्ष पद को लेकर हुए बदलाव पर ओम माथुर ने कहा कि हर अध्यक्ष का कार्यकाल 3 साल का होता है. यह सतत चलने वाला प्रोग्राम है. किसी को कभी कुछ वक्त ज्यादा तो किसी का नियमित समय पर बदलाव जो जाता है. हमारे यहां पर अध्यक्ष बदलता है. अन्य का आना, पुराने का जाना इसको कोई अलग दृष्टि से नहीं देखता. अब तक कितने अध्यक्ष आ गए कितने अध्यक्ष चले गए हैं. हमारी पार्टी संगठन और कार्यकर्ता बेस पार्टी है. युवा चेहरे को और नए चेहरे को मौका दिया गया है. प्रधानमंत्री खुद कह रहे हैं कि यह युवाओं का देश है. युवाओं के देश के नाते युवा को राजस्थान जैसे बड़े प्रदेश का दायित्व दिया.
पार्टी मेरी मां हैः माथुर ने कहा कि किसी के मन मे कोई गिला शिकवा नहीं है. स्वस्थ मन से सबको लेकर आगे बढ़ेंगे. मैं सतीश पूनिया के भी पदभार ग्रहण समारोह में उपस्थित था. पूरी ताकत से उपस्थित था आगे भी जो पार्टी निर्णय लेगी मैं साथ रहूंगा. पार्टी मेरी मां है, वो मां जिन्होंने मुझे सिखाया कि पार्टी के साथ रहें. किसी को भी पार्टी से ऊपर नहीं समझना चाहिए. एक व्यक्ति पार्टी नहीं चलाता है.