ETV Bharat / state

CM Gehlot का फार्मूला बजट तैयार, नए जिलों का गठन और ओपीएस के विस्तार की मिल सकती है सौगात - Rajasthan Budget live

राज्य के सीएम अशोक गहलोत शुक्रवार को अपना अंतिम बजट पेश (Rajasthan Budget 2023) करेंगे. उम्मीद जताई जा रही है कि इस बार गहलोत नए जिलों के गठन, ओपीएस स्कीम के विस्तार, महिलाओं के लिए विशेष योजनाओं सहित कई अन्य घोषणाएं कर सकते हैं.

CM Gehlot to present Rajasthan Budget 2023
CM Gehlot का फार्मूला बजट तैयार, नए जिलों का गठन और ओपीएस के विस्तार की मिल सकती है सौगात
author img

By

Published : Feb 9, 2023, 10:40 PM IST

Updated : Feb 10, 2023, 8:25 AM IST

जयपुर. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार को साल 2023-24 के बजट को अंतिम रूप दिया. मुख्यमंत्री गहलोत आज विधानसभा में बजट पेश करेंगे. बजट को गुरुवार को फाइनल टच दिया गया. माना जा रहा है कि इस चुनावी बजट में गहलोत किसान, युवा, महिलाओं के लिए खास सौगातें दे सकते हैं. अतिरिक्त वित्त सचिव अखिल अरोड़ा, सचिव राजस्व कृष्ण कांत पाठक, वित्त सचिव रोहित गुप्ता के अलावा नरेश कुमार ठकराल और बृजेश पाठक की मौजूदगी में मुख्यमंत्री ने दस्तखत करते हुए आने वाले वित्त वर्ष का लेखा-जोखा तैयार कर लिया है.

चुनावी साल के नाते माना जा रहा है कि यह बजट सौगातों से भरा होगा. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत भी इस बजट के सिलसिले में राहत, बचत और बढ़त के फॉर्मूले पर राजस्थान की भावी तस्वीर पेश करने का इरादा जता चुके हैं. उम्मीद है कि कि गहलोत बजट में लोकलुभावन घोषणाएं कर सकते हैं. गौरतलब है कि खुद मुख्यमंत्री ने बीते दिनों कहा था कि यह बजट कांग्रेस के लिए गेम चेंजर साबित होगा. बजट में इस बार राज्य सरकार युवाओं पर फोकस कर सकती है. सरकार बजट में नई भर्तियों का पिटारा खोल सकती है.

पढ़ें: Rajasthan Budget 2023: बजट को लेकर बोले राजस्व मंत्री, कल खुलेगा 'जादू का पिटारा'

राजे के रिकॉर्ड की होगी बराबरी: साल 2003 में वसुंधरा राजे जब पहली बार मुख्यमंत्री बनी थी, तब उन्होंने वित्त विभाग की कमान संभाली थी. इसके बाद गहलोत ने अपने दूसरे कार्यकाल में वित्त विभाग की कमान संभाली. तब से प्रदेश में वित्त जैसा महत्वपूर्ण महकमा मुख्यमंत्री के पास ही रहता है. बतौर सीएम वसुंधरा राजे ने 10 बार बजट पेश किया और अपने तीसरे कार्यकाल का आखिरी बजट पेश करने के बाद सीएम गहलोत भी इस रिकॉर्ड की बराबरी कर लेंगे.

एप बेस्ड वर्कर्स के लिए होंगे प्रावधान: राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा के दौरान मिले सुझाव के मुताबिक इस बजट में मुख्यमंत्री गहलोत गिग श्रमिकों के अधिकारों की रक्षा करने के लिए कानून लेकर आने वाले हैं. इस योजना के तहत मोबाइल एप्लीकेशन से जुड़ी रोजगार की स्कीम्स में काम कर रहे कर्मचारियों को विभिन्न राज्य कल्याणकारी योजनाओं का लाभार्थी बनाने के लिए एक कानून का प्रस्ताव कर सकती है. बजट में करीब एक लाख नई भर्तियों की घोषणा के आसार हैं. नए रोजगार शुरू करने के लिए सरकार भारी भरकम छूट और पैकेज देने की योजना लाएगी.

महिलाओं की सुरक्षा पर भी होगा फोकस: मुख्यमंत्री अशोक गहलोत इस बजट में प्रदेश की महिलाओं के उत्थान को लेकर भी कुछ घोषणाएं कर सकते हैं. महिलाओं के लिए बजट में बहुत सी प्रत्यक्ष मुनाफे वाली योजनाओं का एलान हो सकता है. महिलाओं के रसोई का बजट कम करने के लिए उज्जवला योजना में पात्र परिवारों को 500 रुपए में गैस सिलेंडर देने की घोषणा का बजट देना तय माना जा रहा है. हर परिवार को महंगाई से राहत देने के लिए उड़ीसा सरकार की तर्ज पर राशन का किट देने की योजना आने के आसार है.

पढ़ें: BARC On Rajasthan Budget: खेती किसानी का बजट ला रहा है राजस्थान! गहलोत के तीन मंत्र कर रहे इशारा

इसके अलावा महिलाओं के लिए रोडवेज के सफर में 50 फीसदी तक छूट का प्रावधान हो सकता है, जो फिलहाल 30% है. कामकाजी महिलाओं को पीरियड के दौरान work-from-home की सौगात भी मिल सकती है. बीते दिनों समाज कल्याण विभाग ने इस सिलसिले में मुख्यमंत्री को सुझाव दिया था. माना जा रहा है कि सरकार इस सिलसिले में कोई फैसला कर सकती है.

ओल्ड पेंशन स्कीम का बढ़ सकता है दायरा: ओपीएस आने वाले चुनाव में राजस्थान के लिए एक टर्निंग प्वाइंट साबित हो सकता है. इस लिहाज से सीएम गहलोत प्रदेश में इस स्कीम का विस्तार कर सकते हैं. बोर्ड, निगमों और ऑटोनोमस कर्मचारियों को भी ओपीएस का लाभ बजट में दिया जा सकता है. ओल्ड पेंशन स्कीम्स से वंचित बोर्ड, निगम, यूनिवर्सिटी और सरकारी सहायता से चलने वाली ऑटोनोमस संस्थाओं के कर्मचारियों को भी ओपीएस का लाभ दिया जा सकता है.

सीएम ने पिछले बजट में सरकारी कर्मचारियों को ओपीएस देने की घोषणा की थी. लेकिन अब भी बोर्ड, निगमों और यूनिवर्सिटीज के कर्मचारी ओपीएस से वंचित हैं, उन्हें एनपीएस ही मिल रहा है. प्रदेश में विद्युत कर्मियों की संख्या 65 हजार और रोडवेज कर्मियों की संख्या 15 हजार है. अन्य उपकर्मों के कार्मिकों की संख्या को मिलाकर कुल 90 हजार ऐसे कर्मचारी हैं जो राज्य कर्मचारियों की तरह ओल्ड पेंशन के हकदार है.

नए जिलों पर भी संभव हो सकता है फैसला: राजस्थान में प्रतापगढ़ के बाद किसी नए जिले का ऐलान नहीं हुआ है. जबकि भौगोलिक विस्तार और आबादी के साथ-साथ दूरियों को देखते हुए माना जा रहा है कि इस बजट में नए जिलों के गठन को लेकर अशोक गहलोत सरकार फैसला लेगी. गौरतलब है कि सरकार ने रामलुभाया की अध्यक्षता में कमेटी बना रखी है, जिसकी रिपोर्ट आना बाकी है. नए जिलों, नए संभागों और उपखंडों के लिए सरकार बजट में प्रावधान करेगी. यह भी संभव है कि सीएम बजट बहस के जवाब में इनकी घोषणा करें, फिलहाल कमेटी की रिपोर्ट नहीं आई है.

पढ़ें: Ashok Gehlot In Assembly : तो क्या गहलोत ने वसुंधरा से सीखा अंदाज ए बयां!

बजट में ये घोषणाएं भी हो सकती हैं: अशोक गहलोत सरकार अपने चुनावी बजट में नए अंग्रेजी मीडियम स्कूल खोलेगी. साथ ही स्कूलों में लैब खोले जाएंगे. नए खोले गए और प्रमोट हुए स्कूलों की बिल्डिंग बनाने की घोषणा भी हो सकती है. स्वास्थ्य की दिशा में नए अस्पताल खोलने की घोषणा के अलावा दूर दराज के इलाकों में इलाज की सुविधा उपलब्ध करवाने के लिए मेडिकल वैन की सुविधा दे सकती है. सरकार अलग-अलग विभागों में करीब एक लाख नई भर्तियों की घोषणा कर सकती है. वहीं स्किल डेवलपमेंट के लिए नए सेंटर खोलने, स्किल डेवलपमेंट और रोजगार के लिए पैकेज के साथ ही स्टार्ट अप प्रोत्साहन पैकेज का ऐलान किया जा सकता है.

युवाओं के अलावा किसान पर भी सरकार का फोकस बताया जा रहा है. इस लिहाज से किसानों को कर्ज से राहत दिलाने के लिए कई घोषणाएं हो सकती हैं. मौजूदा योजनाओं में सब्सिडी बढ़ाई जा सकती है. किसानों को प्रोसेसिंग यूनिट लगाने और एग्री बिजनेस शुरू करने के लिए सब्सिडी और छूट की योजना का दायरा बढ़ाया जा सकता है. सवाईमाधोपुर में अमरूद प्रोसेसिंग यूनिट और गंगानगर जिले में किन्नू प्रोसेसिंग यूनिट की घोषणा हो सकती है. किसानों को पेंशन देने की योजना का विस्तार होगा. सभी छोटे किसानों के लिए पेंशन योजना की घोषणा होने के आसार हैं. इस पेंशन योजना से लाखों किसानों को फायदा पहुंचाने का टारगेट है.

गांव से लेकर राजधानी तक होगा बजट प्रसारण: मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बजट भाषण का ग्राम पंचायत से लेकर राजधानी तक प्रसारण किया जाएगा. प्रदेश में करीब 14400 जगहों पर राज्य बजट के लाइव को सुनने के लिए करीब 40 लाख लोग मौजूद रहेंगे. प्रदेशभर के राजकीय और निजी कॉलेजों, जिला मुख्यालय, ब्लॉक मुख्यालय, नगरपालिका क्षेत्रों और कृषि विज्ञान केंद्रों पर बजट Live होगा. पंचायतीराज विभाग के माध्यम से सभी जिला परिषदों, ब्लॉक मुख्यालयों और ग्राम पंचायत स्तर पर 11500 स्थानों पर बजट का सीधा प्रसारण किया जाएगा.

इसी तरह कृषि विभाग के माध्यम से 200 कृषि विज्ञान केंद्रों, उच्च शिक्षा विभाग की ओर से 2350 राजकीय और निजी कॉलेजों और स्वायत्त शासन विभाग की ओर से सभी नगर निगम, नगर परिषद और नगरपालिका क्षेत्रों में 350 स्थानों पर राज्य बजट दिखाया जाएगा. इसके अलावा ई-मित्र प्लस केंद्रों पर भी बजट का लाइव प्रसारण किया जाएगा.

जयपुर. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार को साल 2023-24 के बजट को अंतिम रूप दिया. मुख्यमंत्री गहलोत आज विधानसभा में बजट पेश करेंगे. बजट को गुरुवार को फाइनल टच दिया गया. माना जा रहा है कि इस चुनावी बजट में गहलोत किसान, युवा, महिलाओं के लिए खास सौगातें दे सकते हैं. अतिरिक्त वित्त सचिव अखिल अरोड़ा, सचिव राजस्व कृष्ण कांत पाठक, वित्त सचिव रोहित गुप्ता के अलावा नरेश कुमार ठकराल और बृजेश पाठक की मौजूदगी में मुख्यमंत्री ने दस्तखत करते हुए आने वाले वित्त वर्ष का लेखा-जोखा तैयार कर लिया है.

चुनावी साल के नाते माना जा रहा है कि यह बजट सौगातों से भरा होगा. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत भी इस बजट के सिलसिले में राहत, बचत और बढ़त के फॉर्मूले पर राजस्थान की भावी तस्वीर पेश करने का इरादा जता चुके हैं. उम्मीद है कि कि गहलोत बजट में लोकलुभावन घोषणाएं कर सकते हैं. गौरतलब है कि खुद मुख्यमंत्री ने बीते दिनों कहा था कि यह बजट कांग्रेस के लिए गेम चेंजर साबित होगा. बजट में इस बार राज्य सरकार युवाओं पर फोकस कर सकती है. सरकार बजट में नई भर्तियों का पिटारा खोल सकती है.

पढ़ें: Rajasthan Budget 2023: बजट को लेकर बोले राजस्व मंत्री, कल खुलेगा 'जादू का पिटारा'

राजे के रिकॉर्ड की होगी बराबरी: साल 2003 में वसुंधरा राजे जब पहली बार मुख्यमंत्री बनी थी, तब उन्होंने वित्त विभाग की कमान संभाली थी. इसके बाद गहलोत ने अपने दूसरे कार्यकाल में वित्त विभाग की कमान संभाली. तब से प्रदेश में वित्त जैसा महत्वपूर्ण महकमा मुख्यमंत्री के पास ही रहता है. बतौर सीएम वसुंधरा राजे ने 10 बार बजट पेश किया और अपने तीसरे कार्यकाल का आखिरी बजट पेश करने के बाद सीएम गहलोत भी इस रिकॉर्ड की बराबरी कर लेंगे.

एप बेस्ड वर्कर्स के लिए होंगे प्रावधान: राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा के दौरान मिले सुझाव के मुताबिक इस बजट में मुख्यमंत्री गहलोत गिग श्रमिकों के अधिकारों की रक्षा करने के लिए कानून लेकर आने वाले हैं. इस योजना के तहत मोबाइल एप्लीकेशन से जुड़ी रोजगार की स्कीम्स में काम कर रहे कर्मचारियों को विभिन्न राज्य कल्याणकारी योजनाओं का लाभार्थी बनाने के लिए एक कानून का प्रस्ताव कर सकती है. बजट में करीब एक लाख नई भर्तियों की घोषणा के आसार हैं. नए रोजगार शुरू करने के लिए सरकार भारी भरकम छूट और पैकेज देने की योजना लाएगी.

महिलाओं की सुरक्षा पर भी होगा फोकस: मुख्यमंत्री अशोक गहलोत इस बजट में प्रदेश की महिलाओं के उत्थान को लेकर भी कुछ घोषणाएं कर सकते हैं. महिलाओं के लिए बजट में बहुत सी प्रत्यक्ष मुनाफे वाली योजनाओं का एलान हो सकता है. महिलाओं के रसोई का बजट कम करने के लिए उज्जवला योजना में पात्र परिवारों को 500 रुपए में गैस सिलेंडर देने की घोषणा का बजट देना तय माना जा रहा है. हर परिवार को महंगाई से राहत देने के लिए उड़ीसा सरकार की तर्ज पर राशन का किट देने की योजना आने के आसार है.

पढ़ें: BARC On Rajasthan Budget: खेती किसानी का बजट ला रहा है राजस्थान! गहलोत के तीन मंत्र कर रहे इशारा

इसके अलावा महिलाओं के लिए रोडवेज के सफर में 50 फीसदी तक छूट का प्रावधान हो सकता है, जो फिलहाल 30% है. कामकाजी महिलाओं को पीरियड के दौरान work-from-home की सौगात भी मिल सकती है. बीते दिनों समाज कल्याण विभाग ने इस सिलसिले में मुख्यमंत्री को सुझाव दिया था. माना जा रहा है कि सरकार इस सिलसिले में कोई फैसला कर सकती है.

ओल्ड पेंशन स्कीम का बढ़ सकता है दायरा: ओपीएस आने वाले चुनाव में राजस्थान के लिए एक टर्निंग प्वाइंट साबित हो सकता है. इस लिहाज से सीएम गहलोत प्रदेश में इस स्कीम का विस्तार कर सकते हैं. बोर्ड, निगमों और ऑटोनोमस कर्मचारियों को भी ओपीएस का लाभ बजट में दिया जा सकता है. ओल्ड पेंशन स्कीम्स से वंचित बोर्ड, निगम, यूनिवर्सिटी और सरकारी सहायता से चलने वाली ऑटोनोमस संस्थाओं के कर्मचारियों को भी ओपीएस का लाभ दिया जा सकता है.

सीएम ने पिछले बजट में सरकारी कर्मचारियों को ओपीएस देने की घोषणा की थी. लेकिन अब भी बोर्ड, निगमों और यूनिवर्सिटीज के कर्मचारी ओपीएस से वंचित हैं, उन्हें एनपीएस ही मिल रहा है. प्रदेश में विद्युत कर्मियों की संख्या 65 हजार और रोडवेज कर्मियों की संख्या 15 हजार है. अन्य उपकर्मों के कार्मिकों की संख्या को मिलाकर कुल 90 हजार ऐसे कर्मचारी हैं जो राज्य कर्मचारियों की तरह ओल्ड पेंशन के हकदार है.

नए जिलों पर भी संभव हो सकता है फैसला: राजस्थान में प्रतापगढ़ के बाद किसी नए जिले का ऐलान नहीं हुआ है. जबकि भौगोलिक विस्तार और आबादी के साथ-साथ दूरियों को देखते हुए माना जा रहा है कि इस बजट में नए जिलों के गठन को लेकर अशोक गहलोत सरकार फैसला लेगी. गौरतलब है कि सरकार ने रामलुभाया की अध्यक्षता में कमेटी बना रखी है, जिसकी रिपोर्ट आना बाकी है. नए जिलों, नए संभागों और उपखंडों के लिए सरकार बजट में प्रावधान करेगी. यह भी संभव है कि सीएम बजट बहस के जवाब में इनकी घोषणा करें, फिलहाल कमेटी की रिपोर्ट नहीं आई है.

पढ़ें: Ashok Gehlot In Assembly : तो क्या गहलोत ने वसुंधरा से सीखा अंदाज ए बयां!

बजट में ये घोषणाएं भी हो सकती हैं: अशोक गहलोत सरकार अपने चुनावी बजट में नए अंग्रेजी मीडियम स्कूल खोलेगी. साथ ही स्कूलों में लैब खोले जाएंगे. नए खोले गए और प्रमोट हुए स्कूलों की बिल्डिंग बनाने की घोषणा भी हो सकती है. स्वास्थ्य की दिशा में नए अस्पताल खोलने की घोषणा के अलावा दूर दराज के इलाकों में इलाज की सुविधा उपलब्ध करवाने के लिए मेडिकल वैन की सुविधा दे सकती है. सरकार अलग-अलग विभागों में करीब एक लाख नई भर्तियों की घोषणा कर सकती है. वहीं स्किल डेवलपमेंट के लिए नए सेंटर खोलने, स्किल डेवलपमेंट और रोजगार के लिए पैकेज के साथ ही स्टार्ट अप प्रोत्साहन पैकेज का ऐलान किया जा सकता है.

युवाओं के अलावा किसान पर भी सरकार का फोकस बताया जा रहा है. इस लिहाज से किसानों को कर्ज से राहत दिलाने के लिए कई घोषणाएं हो सकती हैं. मौजूदा योजनाओं में सब्सिडी बढ़ाई जा सकती है. किसानों को प्रोसेसिंग यूनिट लगाने और एग्री बिजनेस शुरू करने के लिए सब्सिडी और छूट की योजना का दायरा बढ़ाया जा सकता है. सवाईमाधोपुर में अमरूद प्रोसेसिंग यूनिट और गंगानगर जिले में किन्नू प्रोसेसिंग यूनिट की घोषणा हो सकती है. किसानों को पेंशन देने की योजना का विस्तार होगा. सभी छोटे किसानों के लिए पेंशन योजना की घोषणा होने के आसार हैं. इस पेंशन योजना से लाखों किसानों को फायदा पहुंचाने का टारगेट है.

गांव से लेकर राजधानी तक होगा बजट प्रसारण: मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बजट भाषण का ग्राम पंचायत से लेकर राजधानी तक प्रसारण किया जाएगा. प्रदेश में करीब 14400 जगहों पर राज्य बजट के लाइव को सुनने के लिए करीब 40 लाख लोग मौजूद रहेंगे. प्रदेशभर के राजकीय और निजी कॉलेजों, जिला मुख्यालय, ब्लॉक मुख्यालय, नगरपालिका क्षेत्रों और कृषि विज्ञान केंद्रों पर बजट Live होगा. पंचायतीराज विभाग के माध्यम से सभी जिला परिषदों, ब्लॉक मुख्यालयों और ग्राम पंचायत स्तर पर 11500 स्थानों पर बजट का सीधा प्रसारण किया जाएगा.

इसी तरह कृषि विभाग के माध्यम से 200 कृषि विज्ञान केंद्रों, उच्च शिक्षा विभाग की ओर से 2350 राजकीय और निजी कॉलेजों और स्वायत्त शासन विभाग की ओर से सभी नगर निगम, नगर परिषद और नगरपालिका क्षेत्रों में 350 स्थानों पर राज्य बजट दिखाया जाएगा. इसके अलावा ई-मित्र प्लस केंद्रों पर भी बजट का लाइव प्रसारण किया जाएगा.

Last Updated : Feb 10, 2023, 8:25 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.