जयपुर. बस्सी निवासी 14 साल के विशाल ने मरने के बाद चार लोगों को नई जिंदगी दी है. ब्रेन डेड होने के बाद विशाल की दोनों किडनियों को सवाई मानसिंह चिकित्सालय, लिवर को महात्मा गांधी अस्पताल जयपुर में प्रत्यारोपित किया गया. वहीं हार्ट और लंग्स दोनों ही चेन्नई के अपोलो हॉस्पिटल में 46 साल की महिला को प्रत्यारोपित किया जाएगा.
जानकारी के अनुसार हार्ट और लंग्स का राजस्थान में कोई भी मरीज ना होने के कारण ऑर्गन एंड टिश्यू ट्रांसप्लांट आर्गेनाइजेशन ने राजस्थान से बाहर नेशनल ऑर्गन एंड टिश्यू ट्रांसप्लांट आर्गेनाइजेशन, भारत सरकार की सहायता से हार्ट व लंग्स का ट्रांसप्लांट करने का फैसला किया. हार्ट और लंग्स दोनों ही चेन्नई के अपोलो हॉस्पिटल में 46 साल की महिला को प्रत्यारोपित किया जाएगा. विशाल के हार्ट और लंग्स को 1 फरवरी 2021 को देर रात 3 बजे ग्रीन कॉरिडोर की सहायता से SMS अस्पताल से एयरपोर्ट पंहुंचाने के लिए जयपुर ट्रैफिक पुलिस की सहायता ली.
सड़क हादसे में विशाल ने खो दी थी जिंदगी
बता दें कि विशाल 26 जनवरी 2021 को बस्सी जयपुर में अपने तीन दोस्तों के साथ बाइक से कहीं जा रहा था. तभी आगे चल रही बस के ड्राइवर ने अचानक ब्रेक लगा दिए. जिससे बाइक असंतुलित होकर बस से टकरा गई. हादसे में हेलमेट ना पहनने की वजह से विशाल गंभीर रूप से घायल हो गया. विशाल को घायल अवस्था में सवाई मानसिंह अस्पताल में भर्ती करवाया गया. 31 जनवरी को हालत नाजुक होने के कारण परीक्षण किए गए और विशाल को ब्रेन डेड घोषित कर दिया गया. जिसके बाद परिवार के सदस्यों ने विशाल के अंगों को दान देने का फैसला किया. जिससे अन्य लोगों को जिंदगी मिल सके.
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डॉ. सुधीर भंडारी, चेयरमैन सोटो और प्राचार्य सवाई मानसिंह मेडिकल कॉलेज ने बताया कि स्टेट में कार्यरत स्टेट ऑर्गन एंड टिश्यू ट्रांसप्लांट आर्गेनाइजेशन की टीम डॉ. अमरजीत मेहता, डॉ मनीष शर्मा, डॉ अजीत सिंह व रोशन बहादुर और सवाई मानसिंह अस्पताल के ट्रांसप्लांट कोऑर्डिनेटरों के अथक प्रयासों से विशाल के परिवारजन को अंगदान के लिए प्रेरित किया गया. साथ ही डॉ. सुधीर भंडारी ने अंगों के प्रत्यारोपण के लिए ट्रांसप्लांट सर्जन्स का भी आभार प्रकट किया. जिन्होंने देर रात तक अंगों का प्रत्यारोपण किया.