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आंगनबाड़ी केंद्रों पर दिए जाने वाले पोषाहार में बदलाव, हनुमानगढ़ से हुई शुरुआत

आंगनबाड़ी केंद्रों पर दिए जाने वाले पोषाहार की रेसिपी में परिवर्तन किया गया है. इस परिवर्तन की शुरुआत हनुमानगढ़ के आंगनबाड़ी केंद्र से की गई. जहां पर पार्षद ने बच्चों को अंकुरित भोजन देकर नए पोषाहार की शुरुआत की.

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आंगनबाड़ी केंद्रों पर दिए जाने वाले पोषाहार में बदलाव
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Published : Feb 15, 2020, 3:33 PM IST

हनुमानगढ़. आंगनबाड़ी केंद्रों पर दिए जाने वाले पोषाहार की रेसिपी में बदलाव कर दिया गया है. इस बदलाव की शुरुआत हनुमानगढ़ के आंगनबाड़ी केंद्र से की गई. जहां पर पार्षद ने बच्चों को अंकुरित भोजन देकर नई रेसिपी की शुरुआत की गई.

आंगनबाड़ी केंद्रों पर दिए जाने वाले पोषाहार में बदलाव

शनिवार से जिले के 1248 आंगनबाड़ी केंद्रों पर हर दिन अलग-अलग रेसिपी परोसी जाएगी. महिला एवं बाल विकास विभाग की ओर से चलाए जाने वाले आंगनबाड़ी केंद्रों पर 3 से 6 साल के करीब 16 हजार पंजीकृत बच्चों को यह सुविधा दी जाएगी. पोषाहार रेसिपी में बदलाव होने से बच्चों को और ताकत मिलने के साथ-साथ कुपोषण को दूर किया जा सकेगा.

पढ़ें. Special : भूखे और असहाय लोगों का पेट भर रही 'मां की रसोई', सप्ताह में दो दिन नमकीन और मिठाई भी

बता दें, कि पहले बच्चों को गर्म खाने में दलिया, खिचड़ी और नाश्ते में चावल, मुरमुरे, गुड़ चना और हलवा दिया जा रहा था. लेकिन अब नई रेसिपी के अनुसार सभी आंगनबाड़ी केंद्रों पर नाश्ते में अंकुरित उबले हुई मूंग, मोठ चना दिया जा रहा है और गर्म भोजन में खिचड़ी दी जा रही है.

नए मेन्यू के हिसाब से बच्चों की अच्छी डाइट होगी इसलिए विभाग की तरफ से पहल की गई है. अंकुरित भोजन मिलने से बच्चों का स्वास्थ्य अच्छा रहेगा और बच्चों में कुपोषण जैसी शिकायत नहीं रहेगी.

हनुमानगढ़. आंगनबाड़ी केंद्रों पर दिए जाने वाले पोषाहार की रेसिपी में बदलाव कर दिया गया है. इस बदलाव की शुरुआत हनुमानगढ़ के आंगनबाड़ी केंद्र से की गई. जहां पर पार्षद ने बच्चों को अंकुरित भोजन देकर नई रेसिपी की शुरुआत की गई.

आंगनबाड़ी केंद्रों पर दिए जाने वाले पोषाहार में बदलाव

शनिवार से जिले के 1248 आंगनबाड़ी केंद्रों पर हर दिन अलग-अलग रेसिपी परोसी जाएगी. महिला एवं बाल विकास विभाग की ओर से चलाए जाने वाले आंगनबाड़ी केंद्रों पर 3 से 6 साल के करीब 16 हजार पंजीकृत बच्चों को यह सुविधा दी जाएगी. पोषाहार रेसिपी में बदलाव होने से बच्चों को और ताकत मिलने के साथ-साथ कुपोषण को दूर किया जा सकेगा.

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बता दें, कि पहले बच्चों को गर्म खाने में दलिया, खिचड़ी और नाश्ते में चावल, मुरमुरे, गुड़ चना और हलवा दिया जा रहा था. लेकिन अब नई रेसिपी के अनुसार सभी आंगनबाड़ी केंद्रों पर नाश्ते में अंकुरित उबले हुई मूंग, मोठ चना दिया जा रहा है और गर्म भोजन में खिचड़ी दी जा रही है.

नए मेन्यू के हिसाब से बच्चों की अच्छी डाइट होगी इसलिए विभाग की तरफ से पहल की गई है. अंकुरित भोजन मिलने से बच्चों का स्वास्थ्य अच्छा रहेगा और बच्चों में कुपोषण जैसी शिकायत नहीं रहेगी.

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