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दौसा में टिड्डियों का मंडराने लगा खतरा, बचाव के लिए बनाया गया कंट्रोल रूम

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Published : Jun 4, 2020, 3:58 PM IST

देश में फैली कोरोना वायरस महामारी के बीच राजस्थान के कई जिलों में टिड्डियों ने आतंक मचाना शुरू कर दिया है. ऐसे में दौसा में भी टिड्डियों ने अनेक हमले किए है. जिसकों देखते हुए टिड्डी कंट्रोल रूम बनाया गया है. जिसमे कृषि पर्यवेक्षक और सहायक कृषि अधिकारी प्रत्येक 4 घंटे में कंट्रोल रूम को क्षेत्र में टिड्डियों के मूवमेंट के बारे में जानकारी देंगे.

Control room built to stop locust, दौसा में बनाया गया कंट्रोल रूम
टिड्डी को रोकने के लिए बनाया नियंत्रण कक्ष

दौसा. प्रदेश में इन-दिनों टिड्डियों का प्रकोप लगातार जारी है. ऐसे में मई माह के अंतिम सप्ताह में दौसा में भी टिड्डियों के अनेक हमले हुए और अब जून माह में भी भारी संख्या में टिड्डियों के आने की संभावना जताई जा रही है.

टिड्डियों को रोकने के लिए नियंत्रण कक्ष

पहली बार दौसा में इतने बड़े स्तर पर टिड्डियों के हमले को देखते हुए जिले में टिड्डी नियंत्रण कक्ष बनाया गया है, जिससे टिड्डियों के मूवमेंट पर नजर रखी जा सके. इसके लिए दौसा जिला मुख्यालय पर स्थित कृषि विभाग में टिड्डी कंट्रोल रूम बनाया गया है. जिसका प्रभारी कृषि अनुसंधान अधिकारी मनोज मीणा को बनाया गया है.

पढ़ेंः सेंट्रल टीम ने चिकित्सा मंत्री से की मुलाकात, कोरोना रोकथाम कार्यों की हुई सराहना

इस कंट्रोल रूम में 24 घंटे कार्मिक क्षेत्र से सूचनाएं लेने का कार्य करेंगे. इसके लिए दौसा जिले में कृषि विभाग के 156 कृषि पर्यवेक्षक और 27 सहायक कृषि अधिकारी प्रत्येक 4 घंटे में कंट्रोल रूम को क्षेत्र में टिड्डियों के मूवमेंट के बारे में जानकारी देंगे. साथ ही कृषि विभाग द्वारा कंट्रोल रूम के बेसिक नंबर और मोबाइल नंबर भी जारी किए हैं, जिनके माध्यम से कोई भी किसान, कृषक मित्र या जनप्रतिनिधि क्षेत्र में टिड्डियों के मूवमेंट और टिड्डियों के पड़ाव के बारे में कृषि विभाग को जानकारी दे सकता है.

जिससे कृषि विभाग की जिला स्तरीय टीम मौके पर पहुंचे और टिड्डियों को नियंत्रण करने का कार्य कर सके. पहली बार पूर्वी राजस्थान में टिड्डियों का बड़े स्तर पर हमला हुआ है. टिड्डियों ने पूर्वी राजस्थान के सीमावर्ती राज्य गुजरात, मध्य प्रदेश और हरियाणा तक भी मूवमेंट किया है. अभी भी संभावना जताई जा रही है कि सीमा पार से 15 जून के आसपास भारी संख्या में टिड्डियों का मूवमेंट हो सकता है.

ऐसे में आगामी दिनों में राजस्थान के अलावा मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, हरियाणा और दिल्ली तक टिड्डी टेरर का असर दिखाई दे सकता है. कनिष्ठ वैज्ञानिक सहायक राकेश शर्मा का कहना है कि हाल ही में हुई बारिश टिड्डियों के लिए अंडे देने का समय होता है. ऐसे में अभी भी पश्चिमी राजस्थान के बॉर्डर वाले एरिया में टिड्डियों के दल की जानकारी मिली है.

पढ़ेंः कोरोना मामलों में देश की स्थिति चिंताजनक : सीएम गहलोत

इस मौसम में टिड्डियां अंडे देकर आयात में हो जाएंगी. ऐसे में जल्द ही पूर्वी राजस्थान की ओर इनका मुवमेंट होगा. उसी को देखते हुए कंट्रोल रूम स्थापित कर पूरे जिले पर नजर रखी जा रही है. कंट्रोल रूम में आने वाली जानकारी को आसपास के जिलों में भी भेजा जाएगा. 24 घंटे काम करने वाले कंट्रोल रूम से जहां पर भी दल के आने की सूचना मिलेगी. उस स्थान पर तुरंत कृषि विभाग की टीम को भेजकर टिड्डी दल को नष्ट करने का कार्य किया जाएगा.

दौसा. प्रदेश में इन-दिनों टिड्डियों का प्रकोप लगातार जारी है. ऐसे में मई माह के अंतिम सप्ताह में दौसा में भी टिड्डियों के अनेक हमले हुए और अब जून माह में भी भारी संख्या में टिड्डियों के आने की संभावना जताई जा रही है.

टिड्डियों को रोकने के लिए नियंत्रण कक्ष

पहली बार दौसा में इतने बड़े स्तर पर टिड्डियों के हमले को देखते हुए जिले में टिड्डी नियंत्रण कक्ष बनाया गया है, जिससे टिड्डियों के मूवमेंट पर नजर रखी जा सके. इसके लिए दौसा जिला मुख्यालय पर स्थित कृषि विभाग में टिड्डी कंट्रोल रूम बनाया गया है. जिसका प्रभारी कृषि अनुसंधान अधिकारी मनोज मीणा को बनाया गया है.

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इस कंट्रोल रूम में 24 घंटे कार्मिक क्षेत्र से सूचनाएं लेने का कार्य करेंगे. इसके लिए दौसा जिले में कृषि विभाग के 156 कृषि पर्यवेक्षक और 27 सहायक कृषि अधिकारी प्रत्येक 4 घंटे में कंट्रोल रूम को क्षेत्र में टिड्डियों के मूवमेंट के बारे में जानकारी देंगे. साथ ही कृषि विभाग द्वारा कंट्रोल रूम के बेसिक नंबर और मोबाइल नंबर भी जारी किए हैं, जिनके माध्यम से कोई भी किसान, कृषक मित्र या जनप्रतिनिधि क्षेत्र में टिड्डियों के मूवमेंट और टिड्डियों के पड़ाव के बारे में कृषि विभाग को जानकारी दे सकता है.

जिससे कृषि विभाग की जिला स्तरीय टीम मौके पर पहुंचे और टिड्डियों को नियंत्रण करने का कार्य कर सके. पहली बार पूर्वी राजस्थान में टिड्डियों का बड़े स्तर पर हमला हुआ है. टिड्डियों ने पूर्वी राजस्थान के सीमावर्ती राज्य गुजरात, मध्य प्रदेश और हरियाणा तक भी मूवमेंट किया है. अभी भी संभावना जताई जा रही है कि सीमा पार से 15 जून के आसपास भारी संख्या में टिड्डियों का मूवमेंट हो सकता है.

ऐसे में आगामी दिनों में राजस्थान के अलावा मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, हरियाणा और दिल्ली तक टिड्डी टेरर का असर दिखाई दे सकता है. कनिष्ठ वैज्ञानिक सहायक राकेश शर्मा का कहना है कि हाल ही में हुई बारिश टिड्डियों के लिए अंडे देने का समय होता है. ऐसे में अभी भी पश्चिमी राजस्थान के बॉर्डर वाले एरिया में टिड्डियों के दल की जानकारी मिली है.

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इस मौसम में टिड्डियां अंडे देकर आयात में हो जाएंगी. ऐसे में जल्द ही पूर्वी राजस्थान की ओर इनका मुवमेंट होगा. उसी को देखते हुए कंट्रोल रूम स्थापित कर पूरे जिले पर नजर रखी जा रही है. कंट्रोल रूम में आने वाली जानकारी को आसपास के जिलों में भी भेजा जाएगा. 24 घंटे काम करने वाले कंट्रोल रूम से जहां पर भी दल के आने की सूचना मिलेगी. उस स्थान पर तुरंत कृषि विभाग की टीम को भेजकर टिड्डी दल को नष्ट करने का कार्य किया जाएगा.

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