चूरू. लॉकडाउन में फंसे प्रवासी श्रमिकों को लेकर अब भाजपा कांग्रेस आमने-सामने हैं. दो दिन पहले जहां प्रदेश सरकार ने लॉकडाउन में फंसे प्रवासी श्रमिकों को उनके गतंव्य तक पहुंचाने के लिए उनका किराया खुद वहन करने की बात कही है, तो विधानसभा में उपनेता प्रतिपक्ष राजेन्द्र राठौड़ ने कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष पर ओछी राजनीति का आरोप लगाया है.
कोविड-19 महामारी की दहशत के चलते जहां देश भर में लॉकडाउन लगाया गया है और इस लॉकडाउन की वजह से लंबे समय से दूसरे राज्यों में फंसे प्रवासी मजदूर अपने घर पहुंचने की राह ताक रहे हैं. ऐसे में अब इन प्रवासियों पर भी राजनीति बयानबाजी का दौर शुरू हो गया हैं.
लॉकडाउन में इन मजदूरों के किराए को लेकर कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी के दिए बयान के बाद राजनीतिक शुरू हो गई. विधानसभा में उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष पर तीखा हमला बोला है. राठौड़ ने कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी पर ओछी राजनीति करने का आरोप लगाते हुए प्रदेश सरकार की कार्यशैली पर सवाल खड़े कर दिए.
विधानसभा में उप नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि भारत सरकार द्वारा किसी भी प्रवासी श्रमिक का 85 फीसदी किराया वहन करना और राज्य सरकार को 15 फीसदी तय करने के बाद इस तरह के बयान देना उचित नहीं है.
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उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार अभी तक प्रवासी श्रमिकों को लेकर कोई रोडमैप तैयार नहीं कर पाई है, कि 16 लाख से ज्यादा प्रवासी श्रमिक किस तरह गतंव्य तक पहुंचेंगे. राठौड़ ने कहा कि हमने राज्य सरकार से मांग की है कि प्रवासी श्रमिकों को बीपीएल का भी दर्जा दिया जाए.