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वाद्य यंत्र बजा कर लोक कलाकारों ने मांगी आर्थिक सहायता, जिला कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन

कोरोना काल में कई लोग बेरोजगार हो चुके हैं. वहीं, चित्तौड़गढ़ में भी कुछ कलाकार है जिनका काम बंद हो चुका है. इन कलाकारों ने बुधवार को बेरोजगार हुए लोक कलाकारों की सहायता की मांग को लेकर जिला कलेक्टर को राज्यपाल और मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा.

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Published : Oct 7, 2020, 8:58 PM IST

rajasthan news, chittaurgarh news
बेरोजगार हुए कलाकारों ने उनकी सहायता के लिए जिला कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन

चित्तौड़गढ़. जिला लोक कलाकार संस्थान चित्तौड़गढ़ के कलाकारों ने बुधवार को कार्यवाहक जिला कलक्टर को कोरोना के लॉकडाउन से बेरोजगार हुए लोक कलाकारों को सहायता देने और रोजगार की मांग को लेकर राज्यपाल और मुख्यमंत्री के नाम एक ज्ञापन सौंपा. इस दौरान कलाकारों ने वाद्य यंत्र बजा कर रोजगार मांगा.

जानकारी के अनुसार जिला लोक कलाकार संस्थान चित्तौड़गढ़ के लोक कलाकारों ने कोरोना महामारी से बेरोजगार हुए लोक कलाकारों को सहायता उपलब्ध कराने की मांग की है. इस सम्बंध में सौंपे ज्ञापन में बताया कि पिछले 7 महीनों से कोरोना काल के चलते लोक कलाकार बेरोजगार होकर गरीबी से जूझ रहे हैं. उनके परिवार का पालन पोषण भी नहीं हो पा रहा है. उसमें से कई कलाकार अब आत्महत्या करने को भी मजबूर हो रहे हैं.

उन्होंने सरकार से मांग की है कि अगर इस संकट की घड़ी में राज्य सरकार उनकी मांगों को अनसुना करती है तो कई कलाकारों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ेगा और इसके साथ ही राजस्थान की कई लोक कलाएं जिसमें कठपुतली, बगड़ावत, गवरी नृत्य, तुर्रा कलंगी जैसी विशाल कला प्रदर्शनी भी समाप्त हो जाएगी.

पढ़ें- किसानों ने की अधिक बिजली के बिल की शिकायत, सांसद ने अफसरों को दिए समाधान के निर्देश

ज्ञापन देने वाले कलाकारों में कई ऐसे नामचीन कलाकार भी शामिल थे, जो राजस्थान के अलावा गुजरात, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश सहित कई राज्यों में अपनी प्रस्तुतियां दे चुके हैं. इसके अलावा कुछ कलाकार संभाग स्तर से लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर तक भी अपनी कला का प्रदर्शन कर चुके हैं. इन्होंने बुधवार को कलक्ट्रेट स्थित पार्क में वाद्य यंत्र बजा कर सरकार से रोजगार मांगा है.

चित्तौड़गढ़. जिला लोक कलाकार संस्थान चित्तौड़गढ़ के कलाकारों ने बुधवार को कार्यवाहक जिला कलक्टर को कोरोना के लॉकडाउन से बेरोजगार हुए लोक कलाकारों को सहायता देने और रोजगार की मांग को लेकर राज्यपाल और मुख्यमंत्री के नाम एक ज्ञापन सौंपा. इस दौरान कलाकारों ने वाद्य यंत्र बजा कर रोजगार मांगा.

जानकारी के अनुसार जिला लोक कलाकार संस्थान चित्तौड़गढ़ के लोक कलाकारों ने कोरोना महामारी से बेरोजगार हुए लोक कलाकारों को सहायता उपलब्ध कराने की मांग की है. इस सम्बंध में सौंपे ज्ञापन में बताया कि पिछले 7 महीनों से कोरोना काल के चलते लोक कलाकार बेरोजगार होकर गरीबी से जूझ रहे हैं. उनके परिवार का पालन पोषण भी नहीं हो पा रहा है. उसमें से कई कलाकार अब आत्महत्या करने को भी मजबूर हो रहे हैं.

उन्होंने सरकार से मांग की है कि अगर इस संकट की घड़ी में राज्य सरकार उनकी मांगों को अनसुना करती है तो कई कलाकारों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ेगा और इसके साथ ही राजस्थान की कई लोक कलाएं जिसमें कठपुतली, बगड़ावत, गवरी नृत्य, तुर्रा कलंगी जैसी विशाल कला प्रदर्शनी भी समाप्त हो जाएगी.

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ज्ञापन देने वाले कलाकारों में कई ऐसे नामचीन कलाकार भी शामिल थे, जो राजस्थान के अलावा गुजरात, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश सहित कई राज्यों में अपनी प्रस्तुतियां दे चुके हैं. इसके अलावा कुछ कलाकार संभाग स्तर से लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर तक भी अपनी कला का प्रदर्शन कर चुके हैं. इन्होंने बुधवार को कलक्ट्रेट स्थित पार्क में वाद्य यंत्र बजा कर सरकार से रोजगार मांगा है.

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