बारां. तेल फैक्ट्री रोड के निकट स्थित तलाई मोहल्ले की हालत गंदगी के कारण बेहद खराब है. यहां मोहल्लों में भरी पड़ी गंदगी लोगों की जिंदगी पर विपरीत प्रभाव डाल रही है. इस इलाके के लोगों की मानी जाए तो घर-घर में बच्चे बीमार पड़े हुए हैं लेकिन नगर परिषद द्वारा यहां पर साफ सफाई की कोई व्यवस्था नहीं की गई है.
आलम यह है कि लोगों को अपने घरों से बाहर भी गंदगी से होकर ही गुजरना पड़ता है. यहां की हालत देखकर ऐसा लगता है कि बारां जिले बनने के बाद यहां कभी नगर परिषद की ओर से साफ सफाई अभियान चलाया ही नहीं गया है.
यह कॉलोनी करीब 15 वर्ष पहले बनाई गई थी. इस कॉलोनी के लोगों ने नगद राशि देकर प्लाट को खरीदे थे लेकिन उसके बाद से आज तक यहां के लोगों को मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध नहीं हो पाई. ऐसा लगता है कि मानो गंदगी के बीच में लोगों के घर बने हुए हैं. यहां पर घर-घर में बीमारियों ने जन्म ले रखा है. यहां रहने के पूर्व लोगों ने अच्छा जीवन व्यतीत करने का सपना संजो कर अपने आशियाने तैयार करवाए थे लेकिन इस बस्ती के लोग आज बेहद खराब जीवन यापन करने को मजबूर हो रहे हैं.
इस कॉलोनी के लोगों के द्वारा कई बार वार्ड पार्षद और नगर परिषद को शिकायत की जा चुकी है लेकिन नगर परिषद का इस और कोई ध्यान नहीं है. इस कॉलोनी में अधिकतर गलियां तो विकसित की जा चुकी है लेकिन आज भी एक बड़ा भाग विकास से अछूता है.इस कॉलोनी का विकास नहीं होने के पीछे एक कारण अतिक्रमण में बनाए गए मकान भी हैं. नगर परिषद के सभापति का साफ तौर पर कहना है कि लोगों ने तलाई के अंदर अपने मकान विकसित कर रखें ऐसे में वहां पानी भर आना लाजमी है. लेकिन अगर यहां अतिक्रमण है तो उस अतिक्रमण को हटाने की जिम्मेदारी भी नगर परिषद की है.
सवाल यह है कि समय रहते लोगों के अतिक्रमण नगर परिषद ने नहीं हटाए लेकिन अब क्या केवल अतिक्रमण बताकर लोगों को मौत के मुंह में धकेला जा सकता है क्योंकि लोगों को स्वस्थ जीवन उपलब्ध करवाना नगर परिषद का दायित्व है और स्वस्थ जीवन यापन करना लोगों का मूल अधिकार है. ऐसे में यहां लोगों के अधिकारों के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है.