बूंदी. देश में शनिवार को सबसे बड़े वैक्सीन ड्राइव की शुरुआत पीएम मोदी ने की. वहीं राजस्थान में सीएम अशोक गहलोत ने वैक्सीनेशन की शुरुआत की. इस वैक्सीनेशन ड्राइव के तहत बूंदी में भी 300 हेल्थ वर्कर्स को कोरोना वैक्सीन का पहला टीका लगाया गया.
बूंदी में कोविड-19 टीकाकरण का पहला चरण शुरू हो गया है. यहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से वैक्सीनेशन कार्यक्रम की शुरूआत की. आरंभिक चरण में हेल्थ केयर वर्कर्स और फ्रंटलाइन वर्कर्स को वैक्सीन लगाई जा रही है. पहले दिन बूंदी में तीन केंद्रों पर टीके लगाए जा रहे हैं. बूंदी में जिला अस्पताल, तालेड़ा और हिंडोली सीएचसी पर टीकाकरण हुआ.
उत्साहित दिखें स्वास्थ्य कर्मी
बूंदी में कोरोना की वैक्सीन पहले डॉक्टर नीरज गुप्ता, डॉ. रघुवीर, डॉ. डीडी मीणा और साहिल खान को लगाई गई है. इन हेल्थ वर्कर ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि हम बड़े गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं और हमें यह टीका लगाया गया है. हेल्थ वर्कर्स ने कहा कि टीका लगाने के साथ कोई साइड इफेक्ट हमें नजर नहीं आ रहा है, जो लोग इतने दिनों से अफवाह फैलाई हुए थे. वह लोग अफवाह पर ध्यान नहीं दें और भारत जो आज विश्व में अपना बड़ा नाम कमाया है, वह किसी से छिपा नहीं है.
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वहीं बूंदी जिला कलेक्टर आशीष गुप्ता ने कहा कि कोरोना वैक्सीन का विधिवत तरीके से आज शुभारंभ कर दिया गया है. बूंदी में 300 लोगों का टीकाकरण किया गया है. साथ अब तक नौ हजार के करीब डोज जिले में पहुंच चुकी है.
तीन केंद्रों पर हुआ वैक्सीनेशन
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. महेंद्र त्रिपाठी ने बताया कि हिंडौली और तालेड़ा सीएचसी में टीकाकरण के लिए वैक्सीन सुरक्षा के बीच रवाना किया गया. उन्होंने बताया कि प्रारंभिक चरण में तीनों केंद्रों पर 100 -100 व्यक्तियों को टीकाकरण किया जा रहा है. निर्देशानुसार प्राथमिकता से हेल्थ केयर वर्कर्स और फ्रंटलाइन वर्कर्स को टीकाकरण किया जाना है. अन्य पात्र व्यक्ति पंजीकरण के आधार पर प्राप्त सूचना के अनुसार निर्धारित स्थान और नियत समय पर टीकाकरण के लिए पहुंचना सुनिश्चित करें.
स्वयं की सुरक्षा और बीमारी का प्रसार रोकने के वैक्सीन जरूरी
मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने जानकारी देते हुए बताया कि कोरोना के लिए वैक्सीनेशन स्वैच्छिक है. हालांकि, स्वयं की सुरक्षा और बीमारी के प्रसार को सीमित करने के लिए कोरोना वैक्सीन की पूरी खुराक आवश्यक है. पहले से संक्रमित होने के बावजूद वैक्सीन की पूरी खुराक लेना आवश्यक है क्योंकि यह एक मजबूत प्रतिक्रिया तंत्र विकसित करने में मदद करेगा. संक्रमित व्यक्तियों को लक्षण खत्म होने के 14 दिन बाद तक वैक्सीनेशन स्थगित करना चाहिए क्योंकि वे वैक्सीनेशन स्थल पर दूसरों में वायरस फैलाने का जोखिम बढ़ा सकते हैं.