शिव (बाड़मेर). जिले के शिव क्षेत्र के लखासर में पिछले 9 सालों से पानी का संकट बना हुआ है. पहले भियाड़ से जलापूर्ति की जा रही थी, लेकिन करीब 9 सालों से जलापूर्ति पूरी तरह से बाधित है. इसको लेकर कई बार अधिकारियों को सूचित किया गया, लेकिन पेयजल समस्या जस की तस बनी हुई है. ग्रामीणों को महंगे दामों पर बाहर से पानी मंगवाना पड़ रहा है.
जल समस्या के समाधान के लिए बनवाया गया था जीएलआर
जलदाय विभाग ने वर्षों पहले यहां लाखों रुपये खर्च कर ग्रामीणों की सुविधा के लिए जीएलआर बनवाया था. यहां के युवा बताते हैं कि उन्होंने कभी इसमें पानी आया हुआ नहीं देखा. अब तो इस जीएलआर के चारों ओर का सीमेंट प्लास्टर उखड़ आया है और लोहे के सरिए बार निकल आए हैं. वहां आसपास रहने वाले करीब 80 परिवार महंगे दामों पर पानी के टैंकर मंगवाकर अपनी जरूरतें पूरी करते हैं, लेकिन आवारा पशुओं को पानी के लिए दर-दर भटकना पड़ रहा है.
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जीएलआर से हादसे की आशंका
गांव के बीच स्थित जर्जर जीएलआर कभी भी धराशाई हो सकता है, इसके आसपास दिन में बच्चे और पशु घूमते रहते हैं. ऐसे में गिरने से कभी भी बड़ा हादसा हो सकता है. ग्रामीण मोती सिंह धारवी का कहना है कि आज तक जीएलआर कभी भी मरमत नहीं हुई और ना ही कभी पानी की आपूर्ति हुई.
2700 मीटर दूर है सरकारी ट्यूबवेल
लखासर गांव से जलदाय विभाग के महज 2700 मीटर दूर स्थित सरकारी ट्यूबवेल है. इसके बावजूद ग्रामीणों को पानी की समस्या से रूबरू होना पड़ रहा है. वर्तमान में जीएलआर के लिए लगी पाइप लाइन चोर खोल ले गए. ऐसे में पशु-पक्षी प्यास बुझाने के लिए दर-दर भटक रहे हैं.