बाड़मेर. कांग्रेस के वरिष्ठ विधायक हेमाराम चौधरी के इस्तीफा प्रकरण में सोमवार को ही विधानसभा के सचिव की ओर से नोटिस जारी करने की खबर आई थी. उसी को लेकर जब हेमाराम चौधरी से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि उनके पास में इस तरीके की कोई भी जानकारी नहीं है.
हेमाराम चौधरी ने कहा कि मुझे यह जानकारी सोशल मीडिया और अखबार के माध्यम से मिली है लेकिन अभी तक नोटिस जैसी कोई भी बात मेरे ध्यान में नहीं आई है. वही हेमाराम चौधरी ने 3 दिन के धरने के बाद मीडिया से बातचीत करते हुए वेदांता ग्रुप पर जमकर निशाना साधा.
यह भी पढ़ें. ये राजनीति है: पायलट गुट के विधायक ने बांधे CM की तारीफों के पुल, गहलोत ने भी प्रशंसा कर साधे एक तीर से दो निशाने
हेमाराम चौधरी के अनुसार जिस तरीके से सबसे पहले तेल गुड़ामालानी विधानसभा में निकला था उसके बाद लोगों को यह लगा था कि यहां के लोगों का जीवन स्तर सुधरेगा और कंपनी लोगों को रोजगार देगी साथ ही बेसिक संसाधनों में कंपनी पैसा खर्च करेगी लेकिन हकीकत यह है कि कंपनी के सीएसआर का फंड कहां पर खर्च होता है. यह विधायक को भी नहीं पता होता है तो आप सोच सकते हैं कि वहां की जनता को क्या पता होगा. इसी से खफा होकर हमने यह धरना प्रदर्शन किया था.
चौधरी के अनुसार जिन मांगों को लेकर धरना प्रदर्शन किया गया था, 3 दिन बाद कंपनी की अधिकारियों और गुडामालानी के जनप्रतिनिधियों के बीच में बातचीत हो गई है. कंपनी के अधिकारियों ने सहमति जता दी है. अगर कंपनियों ने जिन बातों पर सहमति जताई है, अगर उसे समय पर पूरा नहीं किया गया तो फिर से इस तरीके का धरना प्रदर्शन झेलने के लिए कंपनी तैयार रहे.