बाड़मेर. मारवाड़ के रेगिस्तान में शनिवार को लंबे समय बाद बारिश हुई. जिसके बाद किसानों ने राहत की सांस ली क्योंकि पिछले कई दिनों से लगातार किसान इसी बारिश का इंतजार कर रहे थे. आलम यह था कि अकाल जैसे हालात हो गई थी. शनिवार देर शाम बाड़मेर जिले के सैकड़ों गांव में करीब 2 महीने बाद इंद्र देवता मेहरबान हो गए.
बाड़मेर जिले के लोग लगातार इंद्र देवता को प्रसन्न करने के लिए कई जतन कर रहे थे. आखिरकार देर शाम समदड़ी, सिवाना, बालोतरा, बायतु, धोरीमना, चौहटन से बाड़मेर सहित कई उपखंड मुख्यालय के साथ ही दर्जनों गांव में बारिश हुई है. जिसके बाद वहां के किसानों ने राहत की सांस ली है.
यह भी पढ़ें. मानसून अपडेट : राजस्थान में एक बार फिर सक्रिय मानसून, जानिये बीते 24 घंटे में कहां हुई बारिश
जानकारों का माने तो किसानों के लिए फसल की लिहाज से यह बारिश कोई बड़ी बारिश नहीं है लेकिन फसलों को इससे फायदा मिलेगा. बारिश नहीं होने से फसलें जल गई थी. सबसे बड़ी चुनौती बाड़मेर जिले के पशुधन को बचाने के लिए चारा और पानी ना के बराबर रह गया था. ऐसे में इस बारिश में अब पशुधन के लिए चारे और पानी के लिए बड़ी राहत भरी खबर दी है.
समदड़ी और उसके आसपास के इलाकों में बारिश के साथ तेज हवा होने के कारण कई जगहों पर पेड़ भी गिर गए. जिसके चलते पेड़ के नीचे. मौसम विभाग की चेतावनी सटीक साबित हुई मौसम विभाग ने पहले ही कहा था कि बाड़मेर जिले में शनिवार को बारिश हो सकती है और अगले 72 घंटा में जोरदार बारिश की संभावना जताई है.