बांसवाड़ा. यह जो तस्वीर आप देख रहे हैं. कुशलगढ़ इलाके की है. जहां भीषण पेयजल संकट खड़ा हो गया है. यहां लगा एकमात्र हैंडपंप अब पानी के स्थान पर हवा फेंकने लगा है.
लड़ाई-झगड़ों का सिलसिला हुआ आम
ग्रामीणों की समस्या यह है कि इसके अलावा उनके पास और कोई विकल्प नहीं है. ऐसे में रात-दिन यहां कतारें लगती है. हालत यह है कि अब पानी को लेकर लोगों के बीच झगड़े तक हो रहे है और लड़ाई-झगड़े का यह सिलसिला अब आम हो चुका है.
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रात में भी लगी रहती है पानी भरने की होड़
दूसरी तस्वीर घड़ी पंचायत समिति क्षेत्र की है. जहां पर लोगों के सामने दिन में पानी जुटाना मुश्किल हो गया है. ऐसे में यहां मध्यरात्रि के बाद भी पानी की तलाश जारी रहती है. कुल मिलाकर रात को भी यहां के लोगों को नींद नसीब नहीं है और पानी के जुगाड़ में ग्रामीण लगे रहते हैं.
ग्रामीणों की किसी ने नहीं सुनी
ऐसा भी नहीं की संबंधित अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों को इसका पता नहीं है. ग्रामीण इस संबंध में अधिकारियों को भी अवगत करा चुके हैं. लेकिन इन की सुनने वाला कोई नहीं है. ग्रामीणों की माने तो पंच सरपंच तक इस समस्या से भली भांति परिचित हैं. लेकिन अब तक इस समस्या को लेकर अब तक कोई आगे नहीं आया है.
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गढ़ी पंचायत समिति की नहाली पंचायत की बात करें, तो यहां नई आबादी के हालात पेयजल संकट की दृष्टि से दिन-ब-दिन बदतर होते जा रहे हैं. नई आबादी में एकमात्र हैंडपंप पर दूरदराज से लोग पानी लेने आते हैं. जबकि इस बस्ती क्षेत्र में 18 से अधिक परिवार रहता है. ऐसे में लोगों को अपना नंबर आने का इंतजार करना पड़ता है और इसमें कई बार घंटों तक इंतजार करना होता है.