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Demand for MSP Law : जब तक एमएसपी कानून नहीं, तब तक घर वापसी नहीं : राजाराम मील

कृषि कानूनों के निरस्त (Farm Laws Repeal Bill 2021) होने का रास्ता साफ हो गया है. कृषि कानूनों को निरस्त करने संबंधी तीनों विधेयक लोक सभा के बाद राज्य सभा से भी पारित हो गए हैं. लेकिन अब भी कई किसान संगठन एमएसपी (Minimum Support Price) को लेकर अड़े हुए हैं. सोमवार को मीडिया से बात करते हुए भारतीय किसान मोर्चा के राजस्थान प्रदेश अध्यक्ष राजाराम मील (Rajaram Meel Comments on MSP) ने कहा कि किसान संगठन एमएसपी कानून लागू होने तक बॉर्डर से नहीं हटेंगे.

Rajaram Meel Comments on MSP
भारतीय किसान मोर्चा के राजस्थान प्रदेश अध्यक्ष
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Published : Nov 29, 2021, 8:56 PM IST

बहरोड़ (अलवर). संसद में कृषि कानूनों को निरस्त करने संबंधि विधेयक पारित (Farm Laws Repeal Bill 2021) होने के बाद भी किसान संगठनों ने घर वापसी के लिए मना कर दिया है. राजस्थान-हरियाणा बॉर्डर पर धरना देकर बैठे भारतीय किसान मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष राजाराम मील ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि केंद्र सरकार ने कृषि कानून निरस्त करने संबंधी तीनों विधेयक लोक सभा के बाद राज्य सभा से भी पारित किया है. सरकार के सामने मजबूरी थी, इसलिए ऐसा हुआ है और सरकार हार गई.

उन्होंने आगे कहा कि अब हमारी केंद्र सरकार से 6 मांगें हैं, जिनमें सबसे बड़ी मांग एमएसपी पर कानून बनाना, आंदोलन में 700 किसानों के शहीद परिजनों को सहायता राशि देना, उत्तर प्रदेश के राज्य मंत्री के बेटे पर हत्या का मामला दर्ज है, उसकी गिरफ्तारी सहित और मांगें हैं. लेकिन सबसे बड़ी मांग हमारी एमएसपी की है. MSP (न्यूनतम समर्थन मूल्य) पर केंद्र सरकार कानून बनाए तब जाकर कहीं बात बने. इससे पहले हम लोग कहीं नहीं जाने वाले हैं.

राजाराम मील ने क्या कहा, सुनिये....

आपको बता दें कि पिछले एक साल से ज्यादा का समय बीत जाने के बाद भी राजस्थान-हरियाणा बॉर्डर पर किसान कृषि कानूनों को रद्द करने की अपनी मांग को लेकर धरना दे रहे हैं. लेकिन इस दिशा में केंद्र की मोदी सरकार के अहम फैसले (Farm Laws Repeal Bill 2021) के बाद भी किसान संगठन अब एमएसपी पर कानून बनाने और उसे लागू करने की अपनी मांग पर अड़े हैं.

पढ़ें : कृषि कानूनों को रद्द करने के दौरान संसद में करवानी चाहिए थी चर्चा, अभी NDA में शामिल होने का मन नहीं: हनुमान बेनीवाल

पढ़ें : Rajya Sabha Suspension : कांग्रेस के 6 सांसदों समेत 12 राज्य सभा सदस्य निलंबित

बहरोड़ (अलवर). संसद में कृषि कानूनों को निरस्त करने संबंधि विधेयक पारित (Farm Laws Repeal Bill 2021) होने के बाद भी किसान संगठनों ने घर वापसी के लिए मना कर दिया है. राजस्थान-हरियाणा बॉर्डर पर धरना देकर बैठे भारतीय किसान मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष राजाराम मील ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि केंद्र सरकार ने कृषि कानून निरस्त करने संबंधी तीनों विधेयक लोक सभा के बाद राज्य सभा से भी पारित किया है. सरकार के सामने मजबूरी थी, इसलिए ऐसा हुआ है और सरकार हार गई.

उन्होंने आगे कहा कि अब हमारी केंद्र सरकार से 6 मांगें हैं, जिनमें सबसे बड़ी मांग एमएसपी पर कानून बनाना, आंदोलन में 700 किसानों के शहीद परिजनों को सहायता राशि देना, उत्तर प्रदेश के राज्य मंत्री के बेटे पर हत्या का मामला दर्ज है, उसकी गिरफ्तारी सहित और मांगें हैं. लेकिन सबसे बड़ी मांग हमारी एमएसपी की है. MSP (न्यूनतम समर्थन मूल्य) पर केंद्र सरकार कानून बनाए तब जाकर कहीं बात बने. इससे पहले हम लोग कहीं नहीं जाने वाले हैं.

राजाराम मील ने क्या कहा, सुनिये....

आपको बता दें कि पिछले एक साल से ज्यादा का समय बीत जाने के बाद भी राजस्थान-हरियाणा बॉर्डर पर किसान कृषि कानूनों को रद्द करने की अपनी मांग को लेकर धरना दे रहे हैं. लेकिन इस दिशा में केंद्र की मोदी सरकार के अहम फैसले (Farm Laws Repeal Bill 2021) के बाद भी किसान संगठन अब एमएसपी पर कानून बनाने और उसे लागू करने की अपनी मांग पर अड़े हैं.

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