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अभ्यर्थियों ने आयोग के सामने झाड़ू लगाकर कहा- 10 जून तक परिणाम जारी नहीं हुआ तो करेंगे आमरण अनशन

राजस्थान लोक सेवा आयोग की प्रधानाध्यापक भर्ती परीक्षा 2018 के अभ्यर्थी परीक्षा परिणाम की मांग को लेकर तीन जून से अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे हैं. क्षेत्र में धारा 144 लागू होने की वजह से अभ्यर्थियों ने सरकार तक अपनी बात पहुंचाने के लिए समाज सेवा का सहारा लिया है. अभ्यर्थियों ने आयोग के बाहर प्रदर्शन न करके वहां झाड़ू लगाई.

राजस्थान लोक सेवा आयोग के सामने झाड़ू लगाते हुए अभ्यर्थी
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Published : Jun 6, 2019, 4:39 PM IST

अजमेर. प्रधानाध्यापक भर्ती परीक्षा 2018 को नौ माह बीत चुके हैं. बावजूद इसके राजस्थान लोक सेवा आयोग परीक्षा का परिणाम जारी नहीं कर पाया है. परीक्षा परिणाम का इंतजार कर रहे अभ्यार्थियों का सब्र जवाब दे गया है. अभ्यर्थी अब आयोग की दहलीज पर खड़े होने को मजबूर हो गए हैं.

राजस्थान लोक सेवा आयोग के सामने झाड़ू लगाते हुए अभ्यर्थी

अभ्यर्थियों की मांग की है कि आयोग परीक्षा परिणाम जल्द जारी करें. ताकि उन्हें रोजगार मिल सके. आयोग भवन क्षेत्र में धारा 144 लागू होने की वजह से अभ्यर्थी अपनी मांग को लेकर वहां प्रदर्शन नहीं कर सकते. लिहाजा अपनी मांग को लेकर सरकार और आयोग का ध्यान आकर्षित करने के लिए अभ्यर्थियों ने समाज सेवा का सहारा लिया है.

आयोग भवन से कुछ दूर धरने पर बैठे अभ्यर्थियों ने गुरुवार को आयोग के बाहर झाड़ू लगाई. उनका कहना है कि सरकार रिक्त पदों को भरने की बात कह रही है. लेकिन परीक्षा होने के नौ माह बाद भी परिणाम जारी नहीं करवा पा रही. इससे शिक्षा की गुणवत्ता को तो नुकसान हो ही रहा है. साथ ही अभ्यर्थियों को भी मानसिक और आर्थिक नुकसान झेलना पड़ रहा है. अभ्यर्थियों ने चेतावनी दी कि 10 जून तक आयोग ने परिणाम जारी नहीं किए तो अभ्यर्थी आमरण अनशन करेंगे.

गौरतलब हो कि सितंबर 2018 में प्रधानाध्यापक भर्ती परीक्षा 2018 में 72000 अभ्यर्थियों ने 12100 पदों के लिए परीक्षा दी थी. इसके बाद से ही अभ्यर्थी कई बार आयोग सचिव से मिल चुके हैं. लेकिन कोई संतोषप्रद जवाब उन्हें नहीं मिल रहा है.

अजमेर. प्रधानाध्यापक भर्ती परीक्षा 2018 को नौ माह बीत चुके हैं. बावजूद इसके राजस्थान लोक सेवा आयोग परीक्षा का परिणाम जारी नहीं कर पाया है. परीक्षा परिणाम का इंतजार कर रहे अभ्यार्थियों का सब्र जवाब दे गया है. अभ्यर्थी अब आयोग की दहलीज पर खड़े होने को मजबूर हो गए हैं.

राजस्थान लोक सेवा आयोग के सामने झाड़ू लगाते हुए अभ्यर्थी

अभ्यर्थियों की मांग की है कि आयोग परीक्षा परिणाम जल्द जारी करें. ताकि उन्हें रोजगार मिल सके. आयोग भवन क्षेत्र में धारा 144 लागू होने की वजह से अभ्यर्थी अपनी मांग को लेकर वहां प्रदर्शन नहीं कर सकते. लिहाजा अपनी मांग को लेकर सरकार और आयोग का ध्यान आकर्षित करने के लिए अभ्यर्थियों ने समाज सेवा का सहारा लिया है.

आयोग भवन से कुछ दूर धरने पर बैठे अभ्यर्थियों ने गुरुवार को आयोग के बाहर झाड़ू लगाई. उनका कहना है कि सरकार रिक्त पदों को भरने की बात कह रही है. लेकिन परीक्षा होने के नौ माह बाद भी परिणाम जारी नहीं करवा पा रही. इससे शिक्षा की गुणवत्ता को तो नुकसान हो ही रहा है. साथ ही अभ्यर्थियों को भी मानसिक और आर्थिक नुकसान झेलना पड़ रहा है. अभ्यर्थियों ने चेतावनी दी कि 10 जून तक आयोग ने परिणाम जारी नहीं किए तो अभ्यर्थी आमरण अनशन करेंगे.

गौरतलब हो कि सितंबर 2018 में प्रधानाध्यापक भर्ती परीक्षा 2018 में 72000 अभ्यर्थियों ने 12100 पदों के लिए परीक्षा दी थी. इसके बाद से ही अभ्यर्थी कई बार आयोग सचिव से मिल चुके हैं. लेकिन कोई संतोषप्रद जवाब उन्हें नहीं मिल रहा है.

Intro:अजमेर। राजस्थान लोक सेवा आयोग की प्रधान अध्यापक भर्ती परीक्षा 2018 के अभ्यर्थी परीक्षा परिणाम की मांग को लेकर 3 जून से अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे हैं। आयोग क्षेत्र में धारा 144 लागू होने की वजह से अभ्यर्थियों ने सरकार तक अपनी बात पहुंचाने के लिए समाज सेवा का सहारा लिया है। अभ्यर्थियों ने आयोग के बाहर प्रदर्शन नहीं कर के वहां झाड़ू लगाई।


Body:प्रधानाध्यापक भर्ती परीक्षा 2018 को 9 माह बीत चुके हैं। बावजूद इसके राजस्थान लोक सेवा आयोग परीक्षा का परिणाम जारी नहीं कर पाया है। परीक्षा परिणाम का इंतजार कर रहे अभ्यार्थियों का सब्र जवाब दे गया है और अभ्यार्थी अब आयोग की दहलीज पर खड़े होने को मजबूर हो गए हैं। अभ्यार्थियों की मांग की है कि आयोग परीक्षा परिणाम जल्द जारी करें। ताकि उन्हें रोजगार मिल सके। आयोग भवन क्षेत्र में धारा 144 लागू होने की वजह से अभ्यर्थी अपनी मांग को लेकर वहां प्रदर्शन नहीं कर सकते। लिहाजा अपनी मांग को लेकर सरकार और आयोग का ध्यान आकर्षित करने के लिए अभ्यर्थियों ने समाज सेवा का सहारा लिया है। आयोग भवन से कुछ दूर धरने पर बैठे अभ्यार्थियों ने आज आयोग के बाहर झाड़ू लगाई। अभ्यर्थियों का कहना है कि सरकार रिक्त पदों को भरने की बात कह रही है लेकिन परीक्षा होने के 9 माह बाद भी परिणाम जारी नहीं करवा पा रही। इससे शिक्षा की गुणवत्ता को तो नुकसान हो ही रहा है साथ ही अभ्यार्थियों को भी मानसिक और आर्थिक नुकसान झेलना पड़ रहा है। अभ्यर्थियों ने चेतावनी दी कि 10 जून तक आयोग ने परिणाम जारी नहीं किए तो अभ्यार्थी आमरण अनशन करेंगे...
बाइट- हनुमान बुरडक- अभ्यार्थी
बाइट-जितेंद्र सोनी-अभ्यार्थी

बता दें सितंबर 2018 को प्रधान अध्यापक भर्ती परीक्षा 2018 में 72000 अभ्यर्थियों ने 12100 पदों के लिए परीक्षा दी थी। इसके बाद से ही अभ्यार्थी कई बार आयोग सचिव से मिल चुके हैं लेकिन कोई संतोषप्रद जवाब उन्हें नहीं मिल रहा है।


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