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अजमेर के जेएलएन अस्पताल में पानी भरने से कर्मचारी परेशान - गंदा पानी

अजमेर संभाग में लागातार बारिश के चलते जेएलएन अस्पताल के वस्त्र भंडार में 3 दिन से पानी भरा हुआ है. जिसके चलते कर्मचारियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. अस्पताल के गोदाम में एक से डेढ़ फीट बारिश का गंदा पानी भरा हुआ है.

ajmer jln hospital is full of water employees in trouble
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Published : Jul 31, 2019, 2:22 PM IST

अजमेर. जिले में तीन दिन हुई लागातार बारिश के चलते के जेएलएन अस्पताल के वस्त्र भंडार में 3 दिन से पानी भरा हुआ है. जिससे कर्मचारियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. अस्पताल के गोदाम में एक से डेढ़ फीट बारिश का गंदा पानी भरा हुआ है. जहां तीन सिलाई मशीनों से गॉज पट्टियां और एप्रेन की सिलाई की जा रही है.

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अजमेर संभाग के सबसे बड़े जवाहरलाल नेहरू अस्पताल के वस्त्र भंडार में बुधवार को भी पानी भरा होने से करीब एक हजार मीटर नया कपड़ा खराब हो गया जिसे सुखाने का प्रयास जारी है. साथ ही गॉज और एप्रिन में संक्रमण का खतरा बना हुआ है. गोदाम में भरे पानी को निकालने के लिए छोटी मोटर लगाई गई है जो 2 दिन चलने के बावजूद भी पानी नहीं निकाल पाई है.

अजमेर के जेएलएन अस्पताल में पानी भरने से कर्मचारी परेशान

पढ़े- सदन में पायलट और कटारिया हुए आमने-सामने, जानें पूरा मामला

विभागों की मांग के अनुसार एप्रिन, गॉज, और पट्टियों की आपूर्ति के लिए बुधवार को तीन महिला कार्मिक प्रभारी सहित एक पुरुष कार्मिक करीब 8 घंटे तक पानी में खड़े होकर सिलाई करते रहें.
अस्पताल अधीक्षक डॉ. अनिल जैन ने कहा कि अस्पताल की बिल्डिंग काफी पुरानी हो चुकी है और बिल्डिंग के पास ही आना सागर झील है जिसके चलते पानी का रिसाव हो कर अस्पताल में भर जाता है. साथ ही बिजली विभाग को भी सूचित किया गया है कि किसी तरह की दुर्घटना ना हो इसका ध्यान रखा जाए.

अजमेर. जिले में तीन दिन हुई लागातार बारिश के चलते के जेएलएन अस्पताल के वस्त्र भंडार में 3 दिन से पानी भरा हुआ है. जिससे कर्मचारियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. अस्पताल के गोदाम में एक से डेढ़ फीट बारिश का गंदा पानी भरा हुआ है. जहां तीन सिलाई मशीनों से गॉज पट्टियां और एप्रेन की सिलाई की जा रही है.

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अजमेर संभाग के सबसे बड़े जवाहरलाल नेहरू अस्पताल के वस्त्र भंडार में बुधवार को भी पानी भरा होने से करीब एक हजार मीटर नया कपड़ा खराब हो गया जिसे सुखाने का प्रयास जारी है. साथ ही गॉज और एप्रिन में संक्रमण का खतरा बना हुआ है. गोदाम में भरे पानी को निकालने के लिए छोटी मोटर लगाई गई है जो 2 दिन चलने के बावजूद भी पानी नहीं निकाल पाई है.

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विभागों की मांग के अनुसार एप्रिन, गॉज, और पट्टियों की आपूर्ति के लिए बुधवार को तीन महिला कार्मिक प्रभारी सहित एक पुरुष कार्मिक करीब 8 घंटे तक पानी में खड़े होकर सिलाई करते रहें.
अस्पताल अधीक्षक डॉ. अनिल जैन ने कहा कि अस्पताल की बिल्डिंग काफी पुरानी हो चुकी है और बिल्डिंग के पास ही आना सागर झील है जिसके चलते पानी का रिसाव हो कर अस्पताल में भर जाता है. साथ ही बिजली विभाग को भी सूचित किया गया है कि किसी तरह की दुर्घटना ना हो इसका ध्यान रखा जाए.

Intro:अजमेर संभाग के सबसे बड़े जेएलएन अस्पताल के ऑपरेशन थिएटर तक फैला है खतरा आखिर क्यों अजमेर मे तीन दिनों से लागातार बारिश के चलते जेएलएन अस्पताल के वस्त्र भंडार में 3 दिन से लगातार पानी भरा हुआ है जिसके चलते वहाँ कार्य करने वाले कर्मचारियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है


Body:भूतल से 1 फीट नीचे का कमरा और उसके अंदर बने गोदाम में एक से डेढ़ फिट बारिश के साथ गंदा पानी भरा हुआ है इसी पानी में डूबते हुए नए कपड़े कमरे में लगी तीन सिलाई मशीनों पर गॉज पट्टियां और एप्रेन सिलाई की जाती है


महिला कार्मिक द्वारा पानी निकालने के लिए चलती मोटर से करंट का डर भी बना हुआ है ऑपरेशन थिएटर में काम आने वाले का गॉज कपड़े सभी गंदे पानी एव गंदगी से संक्रमित होने का भय बना हुआ है


संभाग मुख्यालय के सबसे बड़े जवाहरलाल नेहरू अस्पताल में बारिश के पानी के साथ दूषित व गंदे पानी की चपेट में आने से गॉज व एप्रिन आदि से संक्रमण का खतरा बना हुआ है


वहीं बुधवार को दूसरे दिन भी पानी भरा होने से करीब एक हजार मीटर नया कपड़ा खराब हो गया हालांकि उसे सुखाने का प्रयास जारी है अस्पताल के इस वस्त्र भंडार में भी विभागों में मांग अनुसार एप्रिन , गॉज , पट्टियां , चददर, आदि की आपूर्ति करने के लिए बुधवार को भी तीन महिला कार्मिक प्रभारी सहित एक पुरुष कार्मिक करीब 8 घंटे तक पानी में पैर लटकाए व खड़े होकर सिलाई करते रहें ताकि ऑपरेशन थिएटर में इनकी कमी से काम प्रभावित ना हो


Conclusion:इस कमरे में गोदाम में भरे पानी को खाली करने के लिए छोटी मोटर लगाई गई है जो 2 दिन चलने के बावजूद भी पानी खाली नहीं कर पाई है


अस्पताल अधीक्षक डॉ अनिल जैन ने कहा कि अस्पताल की बिल्डिंग काफी पुरानी हो चुकी है वहीं अस्पताल की बिल्डिंग के समीप ही आना सागर झील है जिसके चलते पानी अंदर से रिसाव होने के कारण अस्पताल में बार-बार भर जाता है वही विद्युत विभाग को भी दिखाया गया है किसी तरह की दुर्घटना ना हो इसका भी खास ध्यान रखा जा रहा है


बाईट-अनिल जैन अस्पताल अधीक्षक
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