उदयपुर. कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण के बाद सरकारी विभागों में राजस्व की कमी एक बड़ी समस्या बन गई है. इसी समस्या को लेकर अब उदयपुर नगर निगम ने भी कवायद शुरू कर दी है और अनावश्यक खर्चों में कटौती के साथ ही राजस्व प्राप्ति के लक्ष्य को तय करने के लिए लगातार जनप्रतिनिधि और अधिकारी कोशिशों में जुट गए हैं.
गुरुवार को उदयपुर नगर निगम की राजस्व समिति की बैठक आयोजित की गई. बैठक की अध्यक्षता उदयपुर के उपमहापौर पारस सिंघवी ने की.
फिजूल खर्च करना होगा बंद
बैठक में फैसला लिया गया कि नगर निगम द्वारा मान मनुहार और अन्य कार्यक्रमों में साज-सज्जा और अल्पाहार जैसे जो फिजूल खर्च किए जाते हैं, इन सभी खर्चों पर पूरी तरह कटौती की जाएगी. साथ ही नगर निगम राजस्व प्राप्ति के लक्ष्य उसे प्राप्त करने के लिए हर अधिकारी को टारगेट दिया जाएगा.
पार्षदों का जीवन बीमा कराने का फैसला
वहीं लक्ष्य प्राप्त नहीं करने वाले अधिकारी पर कार्रवाई भी की जाएगी. बैठक में कोरोना वायरस के बाद पार्षदों का जीवन बीमा कराने का भी फैसला लिया गया है. राजस्व समिति के अध्यक्ष रुचिका चौधरी ने बताया कि कोरोना के दौर में भी पार्षदों ने जनता की सेवा की और जनता के बीच हैं. ऐसे में उदयपुर नगर निगम के सभी पार्षदों का भी बीमा होना जरूरी है.
इस चर्चा का निष्कर्ष क्या निकलता है?
बता दें कि ऐसा पहली बार हो रहा है, जब उदयपुर नगर निगम द्वारा अपने खर्चों में कटौती कर राजस्व बढ़ाने की चर्चा की जा रही है. ऐसे में अब देखना होगा निगम जनप्रतिनिधि और अधिकारियों की इस चर्चा का निष्कर्ष क्या निकलता है?