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Rajasthan Rajya Sabha Election : BJP के पास अतिरिक्त वोट, उतार सकते हैं दूसरा प्रत्याशी...नाराज विधायकों का करेंगे वेलकम - राजेन्द्र राठौड़

प्रदेश में राज्यसभा चुनाव को लेकर प्रतिपक्ष के उपनेता राजेन्द्र राठौड़ ने संकेत दिए हैं कि पार्टी दूसरा प्रत्याशी भी उतार सकती (BJP candidates in Rajasthan Rajya Sabha Election) है. राठौड़ ने कहा कि बीजेपी के पास अतिरिक्त वोट है. दूसरे प्रत्याशी को जीताने के लिए निर्दलीय और कांग्रेस से नाराज विधायक मदद करना चाहेंगे, तो उनका स्वागत किया जाएगा.

BJP के पास अतिरिक्त वोट, उतार सकते हैं दूसरा प्रत्याशी, नाराज विधायकों का करेंगे वेलकम-राजेन्द्र राठौड़
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Published : May 23, 2022, 10:21 PM IST

जयपुर. प्रदेश में राज्यसभा की 4 सीटों पर आगामी 10 जून को मतदान होना है. विधायकों की संख्या के लिहाज से एक सीट पर बीजेपी का प्रत्याशी जीतना तय है. लेकिन 30 विधायकों के अतिरिक्त वोट होने के कारण भाजपा ने दूसरा प्रत्याशी भी उतारने के संकेत दिए (Rathore hints second BJP candidate in Rajya Sabha Election) हैं. प्रदेश भाजपा नेता इस चुनाव में दूसरे प्रत्याशी को जिताने के लिए निर्दलीय विधायकों के साथ कांग्रेस सरकार और पार्टी से नाराज चल रहे विधायकों की भी मदद लेगी.

प्रतिपक्ष के उपनेता राजेन्द्र राठौड़ ने इसके संकेत दिए हैं. सोमवार को पार्टी मुख्यालय में पत्रकारों से रूबरू हुए राठौड़ ने कहा कि भाजपा प्रत्याशी उतारे जाने को लेकर एक रणनीति के तहत फैसला लेगी. फिलहाल प्रदेश कोर कमेटी ने इस मसले पर प्रारंभिक चर्चा कर ली है और पार्टी आलाकमान के निर्देश के बाद पार्टी अपने पत्ते खोलेगी. राठौड़ के अनुसार मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपनी सरकार और सत्ता बचाए रखने के लिए निर्दलीय व अन्य छोटे राजनीतिक दलों के विधायकों को मंत्रिमंडल और सरकार में कई पद देने का आश्वासन दिया था, लेकिन वह आश्वासन पूरा नहीं हुआ जिसके बाद विधायकों में आक्रोश है. राठौड़ ने कहा कि इसी आक्रोश के चलते यदि विधायकों के अंदर सरकार के प्रति नाराजगी है और वह बाहर आते हैं तो विपक्ष के नाते बीजेपी उनका वेलकम करेगी.

राजेन्द्र राठौड़ ने क्या कहा..

पढ़ें: BJP candidate for Rajasthan Rajya Sabha Election - निर्णायक मोड़ पर ओम माथुर का सियासी भविष्य, केंद्र में रहेंगे या राजस्थान में रखेंगे दखल

मदरसे के अनुदान पर देवनानी का बयान पार्टी का अधिकृत बयान नहीं: वहीं पूर्व शिक्षा मंत्री और भाजपा के विधायक वासुदेव देवनानी के मदरसों को मिलने वाले सरकारी अनुदान को लेकर किए गए ट्वीट पर भी राठौड़ ने प्रतिक्रिया दी है. राठौड़ ने देवनानी के इस बयान को उनका व्यक्तिगत बयान करार दिया (Rathore terms Devnani comment as personal) है. राठौड़ ने कहा कि हमारी मान्यता है कि मदरसों को आधुनिक शिक्षा से जोड़ना चाहिए और इनमें शिक्षा के अलावा और अन्य कोई गतिविधि नहीं होना चाहिए. बता दें कि वासुदेव देवनानी ने सोमवार को एक ट्वीट कर मदरसों को मिलने वाले सरकारी अनुदान पर सवाल खड़े किए थे और यह भी लिखा था कि जब सरकारी अनुदान से मदरसे संचालित हैं, तो उसमें एक ही धर्म विशेष की शिक्षा देना कितना उचित है.

पढ़ें: Rajasthan Rajyasabha Election : 4 में से 3 सीट पर कब्जा जमाना चाहती है कांग्रेस लेकिन नहीं होगा इतना आसान, जानिए क्यों...

मुख्यमंत्री का बयान है असत्य: राठौड़ ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर एक्साइज ड्यूटी की कटौती से राज्य सरकार को 1200 करोड़ रुपए प्रति वर्ष की हानि होने से जुड़े बयान को असत्य बताया है. राठौड़ ने सोमवार देर शाम इस मामले में ट्वीट कर कहा कि केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी यह स्पष्ट कर दिया है कि पेट्रोल और डीजल में केंद्र सरकार की ओर से आम उपभोक्ताओं को दी गई राहत से राज्यों पर किसी तरह का कोई भार नहीं आएगा. क्योंकि इसमें बेसिक एक्साइज ड्यूटी जिसमें राज्य सरकारों का हिस्सा है, उसे छुआ तक नहीं गया है.

पढ़ें: Rajasthan Rajyasabha Election : राज्यसभा चुनाव के लिए 24 मई को अधिसूचना जारी होने के साथ शुरू होंगे नामांकन, 10 जून को मतदान और मतगणना

वहीं, राठौड़ ने कहा कि दिल्ली, पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और हिमाचल प्रदेश से अधिक वैट राजस्थान में वसूला जा रहा है. वहीं देश में तेलंगाना और महाराष्ट्र के बाद तीसरे नंबर पर राजस्थान ही है, जिसमें सर्वाधिक वैट वसूला जा रहा है. राठौड़ ने कहा कि दुर्भाग्य इस बात का है कि गहलोत सरकार अब तक वैट में कमी का साहस नहीं जुटा पाई.

जयपुर. प्रदेश में राज्यसभा की 4 सीटों पर आगामी 10 जून को मतदान होना है. विधायकों की संख्या के लिहाज से एक सीट पर बीजेपी का प्रत्याशी जीतना तय है. लेकिन 30 विधायकों के अतिरिक्त वोट होने के कारण भाजपा ने दूसरा प्रत्याशी भी उतारने के संकेत दिए (Rathore hints second BJP candidate in Rajya Sabha Election) हैं. प्रदेश भाजपा नेता इस चुनाव में दूसरे प्रत्याशी को जिताने के लिए निर्दलीय विधायकों के साथ कांग्रेस सरकार और पार्टी से नाराज चल रहे विधायकों की भी मदद लेगी.

प्रतिपक्ष के उपनेता राजेन्द्र राठौड़ ने इसके संकेत दिए हैं. सोमवार को पार्टी मुख्यालय में पत्रकारों से रूबरू हुए राठौड़ ने कहा कि भाजपा प्रत्याशी उतारे जाने को लेकर एक रणनीति के तहत फैसला लेगी. फिलहाल प्रदेश कोर कमेटी ने इस मसले पर प्रारंभिक चर्चा कर ली है और पार्टी आलाकमान के निर्देश के बाद पार्टी अपने पत्ते खोलेगी. राठौड़ के अनुसार मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपनी सरकार और सत्ता बचाए रखने के लिए निर्दलीय व अन्य छोटे राजनीतिक दलों के विधायकों को मंत्रिमंडल और सरकार में कई पद देने का आश्वासन दिया था, लेकिन वह आश्वासन पूरा नहीं हुआ जिसके बाद विधायकों में आक्रोश है. राठौड़ ने कहा कि इसी आक्रोश के चलते यदि विधायकों के अंदर सरकार के प्रति नाराजगी है और वह बाहर आते हैं तो विपक्ष के नाते बीजेपी उनका वेलकम करेगी.

राजेन्द्र राठौड़ ने क्या कहा..

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मदरसे के अनुदान पर देवनानी का बयान पार्टी का अधिकृत बयान नहीं: वहीं पूर्व शिक्षा मंत्री और भाजपा के विधायक वासुदेव देवनानी के मदरसों को मिलने वाले सरकारी अनुदान को लेकर किए गए ट्वीट पर भी राठौड़ ने प्रतिक्रिया दी है. राठौड़ ने देवनानी के इस बयान को उनका व्यक्तिगत बयान करार दिया (Rathore terms Devnani comment as personal) है. राठौड़ ने कहा कि हमारी मान्यता है कि मदरसों को आधुनिक शिक्षा से जोड़ना चाहिए और इनमें शिक्षा के अलावा और अन्य कोई गतिविधि नहीं होना चाहिए. बता दें कि वासुदेव देवनानी ने सोमवार को एक ट्वीट कर मदरसों को मिलने वाले सरकारी अनुदान पर सवाल खड़े किए थे और यह भी लिखा था कि जब सरकारी अनुदान से मदरसे संचालित हैं, तो उसमें एक ही धर्म विशेष की शिक्षा देना कितना उचित है.

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मुख्यमंत्री का बयान है असत्य: राठौड़ ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर एक्साइज ड्यूटी की कटौती से राज्य सरकार को 1200 करोड़ रुपए प्रति वर्ष की हानि होने से जुड़े बयान को असत्य बताया है. राठौड़ ने सोमवार देर शाम इस मामले में ट्वीट कर कहा कि केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी यह स्पष्ट कर दिया है कि पेट्रोल और डीजल में केंद्र सरकार की ओर से आम उपभोक्ताओं को दी गई राहत से राज्यों पर किसी तरह का कोई भार नहीं आएगा. क्योंकि इसमें बेसिक एक्साइज ड्यूटी जिसमें राज्य सरकारों का हिस्सा है, उसे छुआ तक नहीं गया है.

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वहीं, राठौड़ ने कहा कि दिल्ली, पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और हिमाचल प्रदेश से अधिक वैट राजस्थान में वसूला जा रहा है. वहीं देश में तेलंगाना और महाराष्ट्र के बाद तीसरे नंबर पर राजस्थान ही है, जिसमें सर्वाधिक वैट वसूला जा रहा है. राठौड़ ने कहा कि दुर्भाग्य इस बात का है कि गहलोत सरकार अब तक वैट में कमी का साहस नहीं जुटा पाई.

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