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Rajasthan State Legal Services Authority Order : खुले में सर्दी से मौत होने पर संबंधित अधिकारी की जिम्मेदारी होगी तय...

राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण ने मुख्य सचिव को निर्देश (Rajasthan State Legal Services Authority Order) जारी कर कहा है कि खुले में रहने से यदि सर्दी लगने के कारण किसी व्यक्ति की मौत होती है तो इसके लिए संबंधित निकाय या संबंधित प्राधिकृत अधिकारी को उत्तरदायी ठहराया जाएगा. इसके साथ ही प्राधिकरण ने बुधवार से तीन दिवसीय अभियान चलाकर खुले में रहने को मजबूर लोगों को तत्काल रैन बसेरों में कोविड प्रोटोकॉल के नियमों की पालना करते हुए पहुंचाना सुनिश्चित करने को कहा है.

Rajasthan State Legal Services Authority Order
राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देश
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Published : Dec 21, 2021, 6:05 PM IST

जयपुर. प्राधिकरण की ओर से मुख्य सचिव को निर्देश दिए गए हैं कि वे प्रदेश के सभी कलेक्टर, स्थानीय स्वायत्त शासन विभाग, नगर निगम और चिकित्सा विभाग सहित अन्य संबंधित अधिकारियों को इस संबंध में निर्देश जारी करे.

इसके अलावा ये सभी अधिकारी अपने क्षेत्र के जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष के निर्देशन में एक कार्य योजना तैयार कर 22 दिसंबर से 24 दिसंबर तक विशेष अभियान चलाएं. शाम छह बजे से रात दस बजे तक प्राधिकरण की मुख्य भूमिका में पर्याप्त संख्या में पुलिस, पैरा लीगल वोलियंटर्स, समाजसेवी और एनजीओ आदि दल बनाकर खुले में रहने को मजबूर गरीब व असहाय व्यक्तियों की पहचान करें और उन्हें तत्काल निकटतम रैन बसेरों में (Night Shelter Condition in Rajasthan) पहुंचाना सुनिश्चित करें.

पढ़ें : No Action on Trespassers in Bansur : अदालती आदेश की पालना नहीं करने पर SDO और तहसीलदार तलब

प्राधिकरण ने कहा है कि संबंधित अधिकारी रैन बसेरे या आश्रय स्थल (Night Shelter Condition in Rajasthan) में रह रहे व्यक्ति को उनके विधिक अधिकारों की जानकारी देते हुए उन्हें निशुल्क या रियायती दर पर भोजन सहित रैन बसेरे में आवश्यक सुविधाएं की व्यवस्था करें. इसके साथ ही महिला व पुरुषों के लिए अलग-अलग रेने बसेरे खोलने के निर्देश दिए गए हैं.

जयपुर. प्राधिकरण की ओर से मुख्य सचिव को निर्देश दिए गए हैं कि वे प्रदेश के सभी कलेक्टर, स्थानीय स्वायत्त शासन विभाग, नगर निगम और चिकित्सा विभाग सहित अन्य संबंधित अधिकारियों को इस संबंध में निर्देश जारी करे.

इसके अलावा ये सभी अधिकारी अपने क्षेत्र के जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष के निर्देशन में एक कार्य योजना तैयार कर 22 दिसंबर से 24 दिसंबर तक विशेष अभियान चलाएं. शाम छह बजे से रात दस बजे तक प्राधिकरण की मुख्य भूमिका में पर्याप्त संख्या में पुलिस, पैरा लीगल वोलियंटर्स, समाजसेवी और एनजीओ आदि दल बनाकर खुले में रहने को मजबूर गरीब व असहाय व्यक्तियों की पहचान करें और उन्हें तत्काल निकटतम रैन बसेरों में (Night Shelter Condition in Rajasthan) पहुंचाना सुनिश्चित करें.

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प्राधिकरण ने कहा है कि संबंधित अधिकारी रैन बसेरे या आश्रय स्थल (Night Shelter Condition in Rajasthan) में रह रहे व्यक्ति को उनके विधिक अधिकारों की जानकारी देते हुए उन्हें निशुल्क या रियायती दर पर भोजन सहित रैन बसेरे में आवश्यक सुविधाएं की व्यवस्था करें. इसके साथ ही महिला व पुरुषों के लिए अलग-अलग रेने बसेरे खोलने के निर्देश दिए गए हैं.

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