जयपुर. ईटीवी भारत से खास बातचीत के दौरान नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया (Rajasthan Leader of Opposition) ने कहा कि पूर्व में मैंने जो बयान दिया था, मैं उस पर आज भी कायम हूं. मंत्रिमंडल पुनर्गठन (Rajasthan Cabinet Reshuffle) के बाद जिस प्रकार के असंतोष के स्वर उठने लगे हैं, वह सब देख भी रहे हैं.
कटारिया ने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने जिस सचिन पायलट को नकारा, निकम्मा और अंग्रेजी में बोलने वाला कहा था, इस मंत्रिमंडल पुनर्गठन में मुख्यमंत्री को उनके आगे झुकना ही पड़ा. हालांकि, पार्टी आलाकमान के कहने पर ही सही, लेकिन मंत्रिमंडल पुनर्गठन में पायलट समर्थित विधायकों (Pilot Camp) को भरपूर जगह मिली, जो इस बात को दर्शाता है कि मुख्यमंत्री पहले से कमजोर हुए हैं.
पहले के सभी मुख्यमंत्री कैपेबल थे, लेकिन ये कमजोर हुए जो सलाहकार की जरूरत पड़ी : कटारिया
वहीं, से विधायकों को मुख्यमंत्री सलाहकार के रूप में नियुक्ति देने पर भी गुलाबचंद कटारिया ने कटाक्ष किया. कटारिया ने कहा कि गहलोत से पहले तो किसी भी मुख्यमंत्री को सलाहकार नियुक्त करने की जरूरत नहीं पड़ी, क्योंकि वह सभी मुख्यमंत्री सामर्थ्यवान थे. लेकिन ढाई साल से ज्यादा का समय निकलने के बाद हमारे मुख्यमंत्री को सलाहकार की जरूरत पड़ी. शायद राजनीतिक रूप से इतनी अफरा-तफरी के कारण परेशान हो गए होंगे. इसी तकलीफ में सलाहकार नियुक्त कर लिए, ताकि इनके बचे हुए दिन अच्छे प्रकार से गुजार सके.
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नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि किसी प्रकार के सलाहकार लगाने का कोई वैधानिक प्रावधान तो नहीं है, लेकिन जनता के टैक्स के पैसों को खर्च करके चाहे जितने सलाहकार लगाओ और संसदीय सचिव बनाओ. कटारिया ने कहा कि जनप्रतिनिधियों का दायित्व है कि जनता के पैसों का उपयोग सही जगह करें.
मेरी गारंटी है, यह सरकार 5 साल नहीं चलेगी : कटारिया
नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने यह भी कहा कि जिस प्रकार नए मंत्री 5 साल सरकार चलने और 2023 में वापस कांग्रेस की सरकार बनाए जाने का दावा कर रहे हैं, यह बहुत ही जल्दबाजी वाले दावे हैं. लेकिन मेरी गारंटी है कि जिस प्रकार यह सरकार धक्के खाकर चल रही है, 5 साल नहीं गुजार पाएगी. यह कब गिरेगी, इसका इंतजार करिए. कटारिया ने कहा कि कमजोर सरकार का खामियाजा प्रदेश की जनता को भुगतना पड़ रहा है.