जयपुर. राजस्थान में बर्ड फ्लू का कहर लगातार जारी है. पक्षियों की मौत का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. प्रदेश में अब तक 5540 पक्षियों की मौत हो चुकी है. जिनमें 3915 कौए, 293 मोर, 432 कबूतर और 900 अन्य पक्षियों की मौत हुई है. बर्ड फ्लू से सबसे ज्यादा कौओं की मौत हो रही है. प्रदेश में सोमवार को 245 पक्षियों की मौत हुई है. जिनमें 175 कौए, 3 मोर, 13 कबूतर और 54 अन्य पक्षी शामिल हैं.
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राजस्थान में करीब 17 जिले बर्ड फ्लू से प्रभावित हैं. 18 जनवरी को प्राप्त रिपोर्ट के अनुसार 17 जिलों में 67 नमूने पॉजिटिव पाए गए हैं. प्रदेश में 27 जिलों से 267 सैंपल जांच के लिए भोपाल लैब में भेजे जा चुके हैं. जयपुर में एक दिन में ही 58 पक्षियों की मौत हुई है, जिनमें 49 कौए, 4 कबूतर और 5 अन्य पक्षियों की मौत हुई है. जयपुर में अब तक 1128 पक्षियों की मौत हो चुकी है, जिनमें 976 कौए, 9 मोर, 70 कबूतर, 4 मुर्गी और 69 अन्य पक्षी शामिल हैं.
कहां कितने पक्षी मरे
जयपुर में 58, अलवर में 20, दौसा में 2, झुंझुनू में 27, सीकर में 0, अजमेर में 5, भीलवाड़ा में 10, नागौर में 0, कुचामन सिटी में 2, टोंक में 18, भरतपुर में 8, धौलपुर में 1, करौली में 1, सवाई माधोपुर में 31, बीकानेर में 0, श्रीगंगानगर में 11, जोधपुर में 6, बाड़मेर में 7, जैसलमेर में 0, जालोर में 3, पाली में 5, कोटा में 15, बारां में 6, बूंदी में 7, झालावाड़ में 1, बांसवाड़ा में 0, चित्तौड़गढ़ में 0 और डूंगरपुर में 1 पक्षियों की मौत हुई है.
प्रदेश के सभी चिड़ियाघरों में विशेष निगरानी और सतर्कता बरती जा रही है. मृत पक्षियों के डिस्पोजल और सैंपल कलेक्शन के दौरान पूर्ण सावधानी बरतने के भी निर्देश दिए गए हैं. पोल्ट्री फार्म पर विशेष निगरानी रखी जा रही है. सबसे पहले झालावाड़ में बर्ड फ्लू की पुष्टि हुई थी. 25 दिसंबर को पहली बार झालावाड़ में कौए के मरने की सूचना मिली थी. जिसके बाद 27 दिसंबर को मारने के कारणों की जांच के लिए सैंपल भोपाल में भेजे गए.
जयपुर चिड़ियाघर में बर्ड फ्लू की पुष्टि होने के बाद वन विभाग ने विशेष सतर्कता बरतने के निर्देश दिए हैं. साथ ही जू में हाइपोक्लोराइट सोडियम का छिड़काव भी किया जा रहा है और पर्यटकों के लिए चिड़ियाघर को बंद भी किया गया है. इसके साथ ही वन कर्मियों को भी पीपीई किट पहनकर पक्षियों की देखरेख करने के लिए निर्देशित किया गया है.