जयपुर. ग्रेटर नगर निगम में सोमवार सुबह एसीबी की टीम (acb action in jaipur nagar nigam) के पहुंचते ही हड़कंप मच गया. हालांकि एसीबी की टीम यहां किसी अधिकारी-कर्मचारी को ट्रेप करने नहीं, बल्कि हाल ही में ट्रैप हुए वित्तीय सलाहकार अचलेश्वर मीणा (Financial Advisor Achaleshwar Meena Jaipur ACB) के कमरे में फाइलों और रिकॉर्ड्स को खंगालने पहुंची थी.
निगम में कमीशन का खेल !
इस दौरान टीम ने अचलेश्वर मीणा के कमरे से निकलकर फ़ाइल जिन-जिन स्तर पर मूव होती है, उन सभी जगह कर्मचारियों से पूछताछ भी की. साथ ही टेंडर देने से लेकर कार्यों के निरीक्षण, माप, बिल पास करने और भुगतान से संबंधित सभी फाइलों को जांचा गया. दरअसल, अचलेश्वर मीणा के पास से एक डायरी मिलने की बात सामने आई है जिसमें उच्च अधिकारी का भी 3% कमीशन (Jaipur Greater Municipal Corporation Corruption) होने का जिक्र है.
पुराने ठेकेदार को एक्सटेंशन देने की प्लानिंग
पूछताछ में सामने आया था कि एक टेंडर को 7% कमीशन के बदले एक्सटेंशन देने की फाइल तैयार की गई थी. आगामी दिनों में उसी ठेकेदार का टेंडर एक्सटेंशन किया जाना था. ऐसे में वित्तीय सलाहकार ने बिना टेंडर प्रक्रिया के ही कमिश्नर से सांठगांठ करके पुराने ठेकेदार को एक्सटेंशन दिलवाने की प्लानिंग की थी. एसीबी ने ग्रेटर निगम पहुंच आरोपी के कमरे से इससे जुड़े दस्तावेज भी जब्त किए हैं.
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जानकारी के अनुसार एसीबी की टीम सितंबर से इनका पीछा कर रही थी और करीब डेढ़ महीने पहले आरोपियों ने निगम ऑफिस में एसीबी के एक कर्मचारी को भी पकड़ लिया था. हालांकि एसीबी अधिकारियों ने मोर्चा संभालते हुए पकड़े कर्मचारी को छुड़ा लिया था.