जयपुर. देशभर में कोरोना का कहर दिखाई दे रहा है. वहीं, कोरोना का असर ट्रांसपोर्टेशन पर भी देखने को मिल रहा है. इसके साथ ही कई लोगों के काम ठप्प हो गए हैं जिसके कारण बड़ी संख्या में युवा बेरोजगार हो चुके हैं. ऐसे में रेलवे प्रशासन की ओर से देश भर के सभी 17 जोनल रेलवेज में खाली पड़े हुए 1.40 लाख पदों पर जल्दी ही भर्ती परीक्षा का आयोजन किया जाना था. इसके लिए रेलवे ने पिछले साल की शुरुआत में भर्ती का नोटिफिकेशन जारी किया था, लेकिन 1.5 साल बाद भी रेलवे इस भर्ती परीक्षा का आयोजन नहीं कर पाया है.
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दरअसल, इन पदों के लिए भर्ती बोर्ड की ओर से ऑनलाइन आवेदन किए जा चुके हैं. देशभर में इन पदों के लिए करीब ढाई करोड़ से अधिक आवेदन प्राप्त किए थे. जिनमें से दो करोड़ 40 लाख 1 हजार 75 अभ्यर्थियों के आवेदन स्वीकार किए गए हैं, जो कि इस परीक्षा में भाग लेंगे. आरआरबी सभी जगह ऑनलाइन ही परीक्षा का आयोजन करेगा. अगर सब कुछ तय योजना के अनुसार चलता तो रेलवे इस परीक्षा का आयोजन करने के बाद एक बार फिर सबसे लंबी भर्ती परीक्षा का रिकॉर्ड बना सकती थी.
हालांकि, अभी तक भर्ती बोर्ड परीक्षा की तारीख ही घोषित नहीं हो पाई है तो वहीं आरआरबी अभी परीक्षा संचालन की एजेंसी की खोज भी कर रहा है. रेलवे से जुड़े सूत्रों की मानें तो फिलहाल मंत्रालय ने भर्ती प्रक्रिया को रोकने के संकेत दिए हैं. उत्तर पश्चिम रेलवे के आरआरबी अजमेर सहित देशभर में 21 भर्ती बोर्ड के जरिए इन पदों के लिए परीक्षा का आयोजन किया जाएगा. गौरतलब है कि आरआरबी को पिछले साल नवंबर दिसंबर के बीच परीक्षा का शेड्यूल जारी करना था.
एनटीपीसी कैटेगरी में 35 हजार पद...
इस भर्ती परीक्षा में टेक्निकल और नॉन टेक्निकल दोनों तरह के पदों पर भर्तियां की जानी थी. जिसमें नॉन टेक्निकल पॉपुलर केटेगरी में टीसी, बुकिंग क्लर्क, कमर्शियल क्लर्क, ईसीआरसी जैसे पद आते हैं. अकेले इस कैटेगरी में ही 35 हजार से अधिक पद हैं. वहीं, लेवल 1 पदों की संख्या 1.300000 से भी अधिक है.
15 भाषाओं में आयोजित होगी परीक्षा
बोर्ड के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि ये परीक्षा जब भी आयोजित की जाएगी तो 15 अलग-अलग क्षेत्रीय भाषाओं में आयोजित की जाएगी. कंप्यूटर आधारित टेस्ट में पूछे जाने वाले प्रश्न हिंदी, अंग्रेजी, कन्नड़, तेलुगू, बंगाली, उड़िया सहित 15 अलग-अलग क्षेत्रीय भाषाओं में पूछे जाएंगे. ऐसे में अभ्यर्थी जिस भाषा में चाहे उसमें प्रश्न का उत्तर दे सकता है.
करोड़ों अभ्यर्थियों का आवेदन शुल्क अटका
इस परीक्षा के लिए देशभर से करीब ढाई करोड़ आवेदन आए थे. ऐसे में परीक्षा की तारीख तय नहीं होने के कारण करोड़ों अभ्यार्थियों का आवेदन शुल्क अब रेलवे बोर्ड के पास अटक गया है.