जयपुर. लॉकडाउन के बाद शहर के बाजारों में पहले जैसी रौनक अभी भी नहीं लौट पाई है. हालांकि, लोगों ने अब सब्जी मंडियों का रुख करना जरूर शुरू कर दिया है. यही वजह है कि लाल कोठी सब्जी मंडी हो मुहाना मंडी या फिर जयपुर की 30 साल पुरानी गोविंद देवजी के निकट जनता मार्केट सब्जी मंडी. यहां सुबह 4 बजने के साथ ही सब्जी के रिटेल और थोक विक्रेताओं का जमावड़ा लगना शुरू हो जाता है.
बता दें कि गोविंद देवजी मंदिर की मंगला झांकी के साथ ही मंडियों में खरीदार भी पहुंचने लगते हैं, लेकिन फिलहाल मंदिर बंद है. ऐसे में अब 7 बजे तक उपभोक्ता इस मंडी में पहुंचते हैं. कोरोना के बढ़ते मामलों के मद्देनजर यहां पहुंचने वाले उपभोक्ता सोशल डिस्टेंसिंग के साथ-साथ मास्क लगाने का भी पूरा ध्यान रखते हैं.
लेकिन कुछ एक अपवाद यहां भी मिल जाते हैं जो मोलभाव के दौरान चेहरे से मास्क हटा देते हैं. हालांकि, मंडी के एसोसिएशन इस पर निगरानी बरतते हुए उनसे समझाइश भी करते हैं और नहीं मानने पर निगम प्रशासन और पुलिस प्रशासन का सहारा भी लेते हैं.
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एसोसिएशन से जुड़े पदाधिकारियों ने बताया कि यहां तकरीबन 250 रिटेल और थोक विक्रेता हैं, जहां हजारों खरीददार पहुंचते हैं. सभी को मास्क लगाने और सैनिटाइजर का इस्तेमाल करने के लिए समझाइश की जाती है.
वहीं, मंडी में पहुंचने वाले सब्जी वाहनों को भी सैनिटाइज करवाया जाता है. हालांकि, उन्होंने सब्जी के कैरेट और बोरी को सैनिटाइज करने में असमर्थता जाहिर की. सब्जी विक्रेताओं ने बताया कि अब आम जनता खुद ही सोशल डिस्टेंसिंग का ध्यान रखती है. जो ध्यान नहीं रखते उन्हें डिस्टेंस बनाए रखने के लिए कहा भी जाता है.
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उधर, खरीददार भी तमाम एहतियात बरतते नजर आते हैं. फिर चाहे बात मास्क लगाने की हो, या सोशल डिस्टेंसिंग की. इसके अलावा सब्जी लेने के बाद उन्हें घर जाकर सोडे और नमक के पानी में धोना भी नहीं भूलते. बहरहाल, इन मंडियों में कुछ उपभोक्ता और विक्रेताओं को जागरूक होने की भी दरकार है. ताकि सब्जी मंडी जैसा स्थान जहां हर दिन सैकड़ों-हजारों लोग घर के लिए सब्जी लेने पहुंचते हैं, वो मंडी कम्युनिटी स्प्रेड या कोरोना संक्रमण को फैलाने का कारण ना बने.