जयपुर. राजस्थान में कोरोना संक्रमण वाले जिलों में लॉकडाउन को ज्यादा सख्त बनाया जाएगा. जयपुर, जोधपुर, कोटा, उदयपुर अलवर, बीकानेर और अजमेर जिलों में अधिक सख्ती हो सकती है.
राजस्थान में 19 अप्रैल से ही कोरोना के सख्त कदम लागू कर दिए गए थे. इसमें 19 से 3 मई तक जन अनुशासन पखवाड़ा, 3 से 17 मई तक रेड अलर्ट जन अनुशासन पखवाड़ा और 10 मई से 24 मई तक के लिए सख्त लॉकडाउन लागू किया गया.
अब सरकार माइक्रो कंटेनमेंट जोन (Micro Containment Zone) बनाए बनाने की तैयारी कर रही है. 4 से ज्यादा मरीज एक जगह मिले तो इलाके को माइक्रो कंटेनमेंट जोन बनाकर आवाजाही रोक दी जाएगी. माइक्रो कंटेनमेंट जोन की संख्या बढ़ेगी. राजधानी के अलावा जिले के कस्बों में भी अब इसी रणनीति से काम करके पाबंदियों को बढ़ाया जाएगा.
बढ़ेंगे कंटेनमेंट जोन
चिकित्सा मंत्री रघु शर्मा ने कहा कि सरकार कोरोना के प्रसार को नियंत्रित करने की कोशिश कर रही है. इसके लिए हर संभव कोशिश की जा रही है. प्रदेश में पॉजिटिविटी रेट बढ़कर लगभग 24% तक जा पहुंची है. अब सरकार 10 प्रतिशत से ज्यादा संक्रमण रेट वाले कंटेनमेंट जोन का दायरा बढ़ाकर उनमें कर्फ्यू जैसी पाबंदियां लगाने पर भी विचार कर रही है. जिला प्रशासन और पुलिस कमिश्नरेट नई पाबंदियों पर जल्द आदेश जारी करेंगे. इसके अलावा संक्रमण को कम करने के लिए इन जिलों में वैक्सीनेशन की रफ्तार को भी बढ़ाया जाएगा.
24% से ज्यादा एक्टिव केस अकेले जयपुर में
सीएम अशोक गहलोत ने पहले ही कोविड समीक्षा बैठक में अधिकारियों की निर्देश दिए थे कि जयपुर में संक्रमण रोकने के लिए लिए अलग से रणनीति तैयार की जाए. इसके बाद जयपुर सहित 7 जिलों में सख्त लॉकडाउन के लिए अलग से रणनीति पर काम शुरू कर दिया है. जयपुर में संक्रमण बढ़ता जा रहा है. प्रदेश के कुल 24% से ज्यादा कोरोना एक्टिव केस अकेले जयपुर में हैं. प्रदेश में 2 लाख एक्टिव मरीजों में से 49 हजार जयपुर में हैं. सरकार इस बात को लेकर चिंता जाहिर कर चुकी है कि 2 लाख केस में से 1 लाख 85 हजार घरों में उपचार करा रहे हैं. 15 से 20 हजार अस्पताल में पहुंचे हैं. अगर यह संख्या बढ़ती है तो संभालना बढ़ा मुश्किल हो जाएगा.
एक्टिव केस में आई कमी
शनिवार और रविवार को प्रदेश में एक्टिव मरीजों की संख्या में कमी दर्ज की गई है. लॉकडाउन लगाने के बाद भी जिस तरह से पॉजिटिव केस 17 से 20 हजार के करीब पहुंचे थे, उस पर कुछ कंट्रोल हुआ है. दो दिन में संख्या में आई गिरावट इस बात और इशारा कर रही है कि ज्यादा सख्ती इन बढ़ते आंकड़ों को कंट्रोल कर सकती है. लिहाजा राजस्थान में लॉकडाउन की अवधि बढ़ाई जा सकती है. ग्रामीण इलाकों में भी सख्त पाबंदियां लगाई जा सकती हैं.