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नगर निगम चुनावों में RLP का ऐसा हाल तो खुद हनुमान बेनीवाल ने भी नहीं सोचा होगा!

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Published : Nov 16, 2020, 3:38 PM IST

Updated : Nov 17, 2020, 12:09 PM IST

राजस्थान नगर निगम चुनावों में आरएलपी ने पहली बार जयपुर ग्रेटर और जोधपुर के दोनो निगमों में कुल 21 प्रत्याशियों को मैदान में उतारा था. लेकिन आरएलपी का एक भी प्रत्याशी इन चुनावों में जीत दर्ज नहीं कर सका. कई जगह पार्टी प्रत्याशियों को निर्दलीय से भी कम वोट मिले हैं. क्या कारण रहे आरएलपी के हार के पढ़ें पूरी रिपोर्ट...

hanuman beniwal,  rlp latest news
नगर निगम चुनावों RLP का प्रदर्शन

जयपुर. पिछले विधानसभा चुनाव में प्रदेश में 3 सीटें और लोकसभा चुनाव में एक सीट पर अपना विजय पताका लहराने वाली राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी ( RLP ) की स्थिति हाल ही में हुए 6 नगर निगम चुनाव में बेहद खराब रही. आलम ये रहा कि हनुमान बेनीवाल की पार्टी का एक भी प्रत्याशी चुनाव नहीं जीत पाया. यह स्थिति तब है जब राष्ट्रीय स्तर पर आरएलपी और बीजेपी का गठबंधन है.

आरएलपी को नगर निगम चुनावों में नहीं मिली एक भी सीट

6 में से तीन नगर निगमों में उतारे थे प्रत्याशी

हाल ही में संपन्न हुए जयपुर, जोधपुर और कोटा में नगर निगमों के चुनावों में आरएलपी ने जोधपुर कि दोनों नगर निगम और जयपुर के ग्रेटर नगर निगम में अपने प्रत्याशी उतारे थे. आरएलपी ने सबसे अधिक 21 प्रत्याशी जोधपुर में उतारे. इसमें जोधपुर दक्षिण में 15 और जोधपुर उत्तर में 6 प्रत्याशियों का उतारा गया. इसी तरह जयपुर में 11 प्रत्याशियों को अलग-अलग वार्डों से शहरी सरकार के चुनाव में खड़ा किया.

जोधपुर और जयपुर में कहीं भी आरएलपी का खाता नहीं खुला. हालांकि जोधपुर में 4 वार्ड ऐसे रहे जहां आरएलपी प्रत्याशी दूसरे नंबर पर रहे लेकिन दूसरे वार्डों में आरएलपी के प्रत्याशियों की हालत बहुत खराब रही. जयपुर के तो कुछ वार्डों में आरएलपी प्रत्याशियों को निर्दलीय से भी कम वोट मिले.

हनुमान बेनीवाल का प्रचार नहीं आया काम

जयपुर ग्रेटर नगर निगम में आरएलपी संयोजक और सांसद हनुमान बेनीवाल ने खुद पार्टी प्रत्याशियों के पक्ष में चुनाव प्रचार किया था. बेनीवाल ने वार्ड 71 और वार्ड 63 के प्रत्याशियों के लिए तो छोटी-छोटी जनसभाओं को भी संबोधित किया. लेकिन ना तो आरएलपी और ना ही हनुमान बेनीवाल का जादू मतदाताओं पर देखने को मिला.

अब पंचायत राज चुनाव में ताल ठोंक रही है आरएलपी

नगर निगम चुनावों में खराब प्रदर्शन के बाद अब आरएलपी पंचायत राज चुनाव में भी अपने प्रत्याशियों को उतार रही है. हनुमान बेनीवाल और उनकी पार्टी के पदाधिकारियों का मानना है कि ग्रामीण क्षेत्र में आरएलपी का अच्छा जनाधार है और उनकी पार्टी के कई प्रत्याशियों को जीत मिल सकती है. लेकिन ये तो आने वाला वक्त ही बता पाएगा क्या आरएलपी ग्रामीण क्षेत्रों में अपनी पकड़ बना पाती है या नहीं.

जयपुर. पिछले विधानसभा चुनाव में प्रदेश में 3 सीटें और लोकसभा चुनाव में एक सीट पर अपना विजय पताका लहराने वाली राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी ( RLP ) की स्थिति हाल ही में हुए 6 नगर निगम चुनाव में बेहद खराब रही. आलम ये रहा कि हनुमान बेनीवाल की पार्टी का एक भी प्रत्याशी चुनाव नहीं जीत पाया. यह स्थिति तब है जब राष्ट्रीय स्तर पर आरएलपी और बीजेपी का गठबंधन है.

आरएलपी को नगर निगम चुनावों में नहीं मिली एक भी सीट

6 में से तीन नगर निगमों में उतारे थे प्रत्याशी

हाल ही में संपन्न हुए जयपुर, जोधपुर और कोटा में नगर निगमों के चुनावों में आरएलपी ने जोधपुर कि दोनों नगर निगम और जयपुर के ग्रेटर नगर निगम में अपने प्रत्याशी उतारे थे. आरएलपी ने सबसे अधिक 21 प्रत्याशी जोधपुर में उतारे. इसमें जोधपुर दक्षिण में 15 और जोधपुर उत्तर में 6 प्रत्याशियों का उतारा गया. इसी तरह जयपुर में 11 प्रत्याशियों को अलग-अलग वार्डों से शहरी सरकार के चुनाव में खड़ा किया.

जोधपुर और जयपुर में कहीं भी आरएलपी का खाता नहीं खुला. हालांकि जोधपुर में 4 वार्ड ऐसे रहे जहां आरएलपी प्रत्याशी दूसरे नंबर पर रहे लेकिन दूसरे वार्डों में आरएलपी के प्रत्याशियों की हालत बहुत खराब रही. जयपुर के तो कुछ वार्डों में आरएलपी प्रत्याशियों को निर्दलीय से भी कम वोट मिले.

हनुमान बेनीवाल का प्रचार नहीं आया काम

जयपुर ग्रेटर नगर निगम में आरएलपी संयोजक और सांसद हनुमान बेनीवाल ने खुद पार्टी प्रत्याशियों के पक्ष में चुनाव प्रचार किया था. बेनीवाल ने वार्ड 71 और वार्ड 63 के प्रत्याशियों के लिए तो छोटी-छोटी जनसभाओं को भी संबोधित किया. लेकिन ना तो आरएलपी और ना ही हनुमान बेनीवाल का जादू मतदाताओं पर देखने को मिला.

अब पंचायत राज चुनाव में ताल ठोंक रही है आरएलपी

नगर निगम चुनावों में खराब प्रदर्शन के बाद अब आरएलपी पंचायत राज चुनाव में भी अपने प्रत्याशियों को उतार रही है. हनुमान बेनीवाल और उनकी पार्टी के पदाधिकारियों का मानना है कि ग्रामीण क्षेत्र में आरएलपी का अच्छा जनाधार है और उनकी पार्टी के कई प्रत्याशियों को जीत मिल सकती है. लेकिन ये तो आने वाला वक्त ही बता पाएगा क्या आरएलपी ग्रामीण क्षेत्रों में अपनी पकड़ बना पाती है या नहीं.

Last Updated : Nov 17, 2020, 12:09 PM IST
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