जयपुर. राजस्थान में राज्यसभा चुनाव कि रणभेरी (Rajasthan Rajyasabha Election 2022) बज चुकी है. बहुमत के साथ ही भाजपा और कांग्रेस दोनों ही पार्टियां निर्दलीयों और अन्य पार्टियों का साथ चाहती हैं. हालांकि, अब तक की स्थिति देख कर लगता है कि हनुमान बेनीवाल की पार्टी को छोड़ चाहे निर्दलीय हो या बीटीपी समेत अन्य दल कांग्रेस को ही समर्थन देते रहे हैं. लेकिन भारतीय जनता पार्टी के नेताओं ने जब से यह दावा किया है कि राज्यसभा चुनाव में निर्दलीय उनके संपर्क में हैं, उसके बाद कांग्रेस पार्टी भी सक्रिय हो गई है.
भाजपा के नेताओं को जवाब देने के लिए एक ओर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सभी निर्दलीय विधायकों को मुख्यमंत्री आवास बुलाया, जिसमें 13 में से ज्यादा निर्दलीय विधायक मुख्यमंत्री आवास पहुंच भी गए और मुख्यमंत्री ने यह तस्वीरें भी जारी करवा दी. वहीं दूसरी ओर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने तो यहां तक कह दिया है कि कांग्रेस पार्टी लोकतंत्र में भरोसा करती है, नहीं तो राजस्थान सरकार के कामकाज को देखते हुए (Govind Singh Dotasra Praised Gehlot Government) भाजपा के आधे विधायक भी कांग्रेस को वोट देना चाहते हैं.
डोटासरा ने कहा कि भले ही भाजपा साम, दाम, दंड, भेद के आधार पर ईडी, सीबीआई, इनकम टैक्स का दुरुपयोग करते हुए राज्यसभा चुनाव में जीतने का प्रयास करती रही हो, लेकिन कांग्रेस पार्टी प्रजातंत्र और कानून में भरोसा करती है और हम यह चाहते हैं कि हर पार्टी का विधायक सिंबल के अनुसार अपनी ही पार्टी को वोट करे. डोटासरा ने कहा कि भाजपा का लोकतंत्र में विश्वास नहीं है और वह खरीद-फरोख्त और डरा धमका कर (PCC Chief Alleged Modi Government) चुनाव जीतना चाहती है. पिछले साल 8 साल से राज्यसभा चुनाव जब भी आते हैं, भाजपा इसी तरह से दूसरी पार्टी के विधायकों का इस्तीफा कराती है और लोकतांत्रिक व्यवस्था को खराब करने का प्रयास करती है. लेकिन कांग्रेस ऐसा नहीं करेगी.
4 में से 3 सीट कांग्रेस जीतेगी, बाड़ेबंदी की हमें नहीं 8 हिस्सों में बंटी भाजपा को जरूरत : डोटासरा ने कहा कि राजस्थान में 4 राज्यसभा सीटों पर चुनाव होना है. उनमें से भाजपा को 1 सीट और बाकी 3 सीट कांग्रेस पार्टी को मिलेगी, क्योंकि विधानसभा में निर्दलीय बीटीपी और अन्य समर्थक दल हमेशा की तरह कांग्रेस को ही समर्थन करेंगे. उन्होंने कहा कि भाजपा तोड़फोड़ का प्रयास करती है, लेकिन वह राजस्थान में सफल नहीं होगी.
क्योंकि कांग्रेस के विधायक एकजुट हैं और सरकार के गुड गवर्नेंस और फ्लैगशिप योजनाओं के चलते सभी विधायक संतुष्ट हैं. डोटासरा ने कहा कि कांग्रेस को बड़ेबंदी की कोई आवश्यकता नहीं है. बाड़ेबंदी की आवश्यकता तो भाजपा को है, जिसमें वसुंधरा राजे, सतीश पूनिया, गजेंद्र सिंह समेत अलग-अलग सात से आठ ग्रुप हैं. डोटासरा ने निर्दलीयों के समर्थन को लेकर कहा कि जब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के निवास पर 13 में से 12 निर्दलीय विधायक पहुंच गए तो फिर निर्दलीयों के समर्थन को लेकर किसी को कोई शंका नहीं होनी चाहिए.