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रामगंज में Corona का कम्युनिटी स्प्रेडिंग रोकने के लिए भीलवाड़ा मॉडल अपनाएं : CM गहलोत

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शहर के रामगंज इलाके में कोरोना वायरस के संक्रमण के कम्युनिटी स्प्रेडिंग रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग और प्रशासन के अधिकारियों को युद्ध स्तर पर काम करने के निर्देश दिए हैं. उन्होंने कहा है कि जयपुर, जोधपुर, चुरू, टोंक, झुन्झुनूं इत्यादि जिलों में संक्रमित व्यक्तियों की संख्या तेजी से बढ़ रही है, जिसके लिए तुरन्त सैंपल कलेक्शन और टेस्टिंग की गति बढ़ाई जाए.

Bhilwara model of prevent community spreading of corona
रामगंज में कोरोना वायरस का कम्युनिटी स्प्रेडिंग रोकने के लिए भीलवाड़ा मॉडल अपनाएं
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Published : Apr 7, 2020, 8:26 AM IST

जयपुर. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शहर के रामगंज इलाके में कोरोना वायरस के संक्रमण के कम्युनिटी स्प्रेडिंग को रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग और प्रशासन के अधिकारियों को युद्ध स्तर पर काम करने के निर्देश दिए हैं. मुख्यमंत्री ने सोमवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए निर्देश दिए हैं कि इस वायरस के सामुदायिक प्रसार (कम्युनिटी स्प्रेडिंग) को रोकने के लिए आपात योजना (मास्टर प्लानिंग) लागू करने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि जयपुर, जोधपुर, चुरू, टोंक, झुन्झुनूं इत्यादि जिलों में संक्रमित व्यक्तियों की संख्या तेजी से बढ़ रही है, जिसके लिए तत्काल सैंपल कलेक्शन और टेस्टिंग की गति बढ़ाई जाए.

मुख्यमंत्री गहलोत ने वीसी में निर्देश दिए कि जयपुर में भीलवाड़ा की तर्ज पर बड़ी संख्या में संदिग्ध लोगों को आइसोलेट करना होगा. इसके लिए तयशुदा प्राटोकोल के अनुसार शहर में स्थित विभिन्न शिक्षा संस्थानों इत्यादि चिन्हित कर हॉस्टल सुविधाओं का उपयोग किया जाए. रामगंज में घर-घर सर्वे और पीसीआर टेस्टिंग सहित जांच की सुविधाएं बढ़ाई जाएं, ताकि मौके पर ही रेन्डम टेस्ट के लिए सैंपल लिए जा सकें.

स्वास्थ्य कर्मियों की आवाजाही होगी कम...

मुख्यमंत्री ने कहा कि जयपुर के जिन क्षेत्रों में कोरोना के पॉजिटिव मामले सामने आए हैं, वहां लोगों की आवाजाही को तुरन्त और अधिक सख्ती से रोका जाए. शहर के दूसरे हिस्सों में भी केवल अतिआवश्यक सेवाओं से जुड़े व्यक्ति ही अपने घरों से बाहर निकलें. इस दौरान शहर में स्वास्थ्य कर्मियों की अपने घर से कार्यस्थल तक आवाजाही को भी नियंत्रित कर न्यूनतम करने का सुझाव दिया गया.

यह भी पढ़ें- Corona Update: राजस्थान में 35 नए मामले, कुल संख्या 301

धर्मगुरुओं से अपील, लोगों को करें जागरूक...

मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा है कि मानवता की रक्षा के लिए धर्मगुरुओं, मौलवियों, जनप्रतिनिधियों और समुदाय के वरिष्ठ लोगों का कर्तव्य है कि वे लाउडस्पीकर, पर्चे, वीडियो संदेश इत्यादि के माध्यम से आम लोगों को स्वास्थ्य कर्मियों का सहयोग करने और उन्हें स्वास्थ्य और यात्रा संबंधी सही जानकारी देने के लिए प्रेरित करें.

15 दिन का आइसोलेशन जरूरी...

मुख्यमंत्री ने कहा कि क्वारेंटाइन में जाने वाले संदिग्ध व्यक्तियों को यह समझाना होगा कि जीवन बचाने के लिए 15 दिन का आइसोलेशन जरूरी है. वीडियो कॉन्फ्रेंस के दौरान जयपुर शहर के विधायकों ने कहा कि वे संक्रमण से बचाव के लिए आम लोगों को जागरूक करने और स्वास्थ्य कर्मियों को सर्वे अथवा जांच के दौरान पूरी जानकारी देने और संदिग्ध लोगों के आइसोलेशन में रहने के दौरान प्रोटोकॉल का पूरी तरह से पालन करने की शिक्षा देनेि में पूरा सहयोग देंगे.

यह भी पढ़ें- सीएम गहलोत ने पीएम को लिखा पत्र, राजस्व में गिरावट से कराया अवगत

बुजुर्गों को आइसोलेट रखना जरूरी...

स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने बताया कि बड़े परिवारों में बुजुर्गों को कोरोना के संक्रमण से बचाने के लिए छोटे बच्चों का मोह और लाड़-प्यार थोड़े समय के लिए छोड़ना होगा. कोरोना वायरस सांस से जुड़ी तकलीफ पैदा करता है और वृद्धजनों की दूसरी बीमारियों के खतरों को कई गुना बढ़ा देता है. ऐसे में बुजुर्गों को परिवार में आइसोलेट रखना जरूरी है.

वीसी में ये अफसर, जनप्रतिनिधि रहे मौजूद...

वीडियो कॉन्फ्रेंस के दौरान स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा, परिवहन मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास, मुख्य सचेतक महेश जोशी, विधायक रफीक खान और अमीन कागजी, मुख्य सचिव डी.बी. गुप्ता, अतिरिक्त मुख्य सचिव गृह राजीव स्वरूप, अतिरिक्त मुख्य सचिव स्वास्थ्य रोहित कुमार सिंह, प्रमुख शासन सचिव ऊर्जा अजिताभ शर्मा, जयपुर पुलिस आयुक्त आनन्द श्रीवास्तव, शासन सचिव चिकित्सा शिक्षा वैभव गालरिया, राजस्थान स्वास्थ्य विज्ञान विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. राजाबाबू पंवार, एसएमएस मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. सुधीर भण्डारी, जिला कलक्टर जयपुर जोगाराम सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे.

जयपुर. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शहर के रामगंज इलाके में कोरोना वायरस के संक्रमण के कम्युनिटी स्प्रेडिंग को रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग और प्रशासन के अधिकारियों को युद्ध स्तर पर काम करने के निर्देश दिए हैं. मुख्यमंत्री ने सोमवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए निर्देश दिए हैं कि इस वायरस के सामुदायिक प्रसार (कम्युनिटी स्प्रेडिंग) को रोकने के लिए आपात योजना (मास्टर प्लानिंग) लागू करने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि जयपुर, जोधपुर, चुरू, टोंक, झुन्झुनूं इत्यादि जिलों में संक्रमित व्यक्तियों की संख्या तेजी से बढ़ रही है, जिसके लिए तत्काल सैंपल कलेक्शन और टेस्टिंग की गति बढ़ाई जाए.

मुख्यमंत्री गहलोत ने वीसी में निर्देश दिए कि जयपुर में भीलवाड़ा की तर्ज पर बड़ी संख्या में संदिग्ध लोगों को आइसोलेट करना होगा. इसके लिए तयशुदा प्राटोकोल के अनुसार शहर में स्थित विभिन्न शिक्षा संस्थानों इत्यादि चिन्हित कर हॉस्टल सुविधाओं का उपयोग किया जाए. रामगंज में घर-घर सर्वे और पीसीआर टेस्टिंग सहित जांच की सुविधाएं बढ़ाई जाएं, ताकि मौके पर ही रेन्डम टेस्ट के लिए सैंपल लिए जा सकें.

स्वास्थ्य कर्मियों की आवाजाही होगी कम...

मुख्यमंत्री ने कहा कि जयपुर के जिन क्षेत्रों में कोरोना के पॉजिटिव मामले सामने आए हैं, वहां लोगों की आवाजाही को तुरन्त और अधिक सख्ती से रोका जाए. शहर के दूसरे हिस्सों में भी केवल अतिआवश्यक सेवाओं से जुड़े व्यक्ति ही अपने घरों से बाहर निकलें. इस दौरान शहर में स्वास्थ्य कर्मियों की अपने घर से कार्यस्थल तक आवाजाही को भी नियंत्रित कर न्यूनतम करने का सुझाव दिया गया.

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धर्मगुरुओं से अपील, लोगों को करें जागरूक...

मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा है कि मानवता की रक्षा के लिए धर्मगुरुओं, मौलवियों, जनप्रतिनिधियों और समुदाय के वरिष्ठ लोगों का कर्तव्य है कि वे लाउडस्पीकर, पर्चे, वीडियो संदेश इत्यादि के माध्यम से आम लोगों को स्वास्थ्य कर्मियों का सहयोग करने और उन्हें स्वास्थ्य और यात्रा संबंधी सही जानकारी देने के लिए प्रेरित करें.

15 दिन का आइसोलेशन जरूरी...

मुख्यमंत्री ने कहा कि क्वारेंटाइन में जाने वाले संदिग्ध व्यक्तियों को यह समझाना होगा कि जीवन बचाने के लिए 15 दिन का आइसोलेशन जरूरी है. वीडियो कॉन्फ्रेंस के दौरान जयपुर शहर के विधायकों ने कहा कि वे संक्रमण से बचाव के लिए आम लोगों को जागरूक करने और स्वास्थ्य कर्मियों को सर्वे अथवा जांच के दौरान पूरी जानकारी देने और संदिग्ध लोगों के आइसोलेशन में रहने के दौरान प्रोटोकॉल का पूरी तरह से पालन करने की शिक्षा देनेि में पूरा सहयोग देंगे.

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बुजुर्गों को आइसोलेट रखना जरूरी...

स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने बताया कि बड़े परिवारों में बुजुर्गों को कोरोना के संक्रमण से बचाने के लिए छोटे बच्चों का मोह और लाड़-प्यार थोड़े समय के लिए छोड़ना होगा. कोरोना वायरस सांस से जुड़ी तकलीफ पैदा करता है और वृद्धजनों की दूसरी बीमारियों के खतरों को कई गुना बढ़ा देता है. ऐसे में बुजुर्गों को परिवार में आइसोलेट रखना जरूरी है.

वीसी में ये अफसर, जनप्रतिनिधि रहे मौजूद...

वीडियो कॉन्फ्रेंस के दौरान स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा, परिवहन मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास, मुख्य सचेतक महेश जोशी, विधायक रफीक खान और अमीन कागजी, मुख्य सचिव डी.बी. गुप्ता, अतिरिक्त मुख्य सचिव गृह राजीव स्वरूप, अतिरिक्त मुख्य सचिव स्वास्थ्य रोहित कुमार सिंह, प्रमुख शासन सचिव ऊर्जा अजिताभ शर्मा, जयपुर पुलिस आयुक्त आनन्द श्रीवास्तव, शासन सचिव चिकित्सा शिक्षा वैभव गालरिया, राजस्थान स्वास्थ्य विज्ञान विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. राजाबाबू पंवार, एसएमएस मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. सुधीर भण्डारी, जिला कलक्टर जयपुर जोगाराम सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे.

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