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संस्कृत में शुरू से कमजोर छात्र रहा, लेकिन आज इसका प्रेमी हूं : सीएम गहलोत

संस्कृत दिवस पर बुधवार को शिक्षा विभाग की ओर से राज्य स्तरीय में संस्कृत दिवस मनाया गया. समारोह में संस्कृत क्षेत्र अहम योगदान देने वाले विद्वानों का सम्मान किया गया. रविंद्र मंच सभागार में आयोजित समारोह में सीएम अशोक गहलोत, संस्कृत शिक्षा मंत्री सुभाष गर्ग, मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा, उच्च शिक्षा मंत्री भंवर सिंह भाटी मौजूद रहे.

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Published : Aug 14, 2019, 6:34 PM IST

jaipur news, पंडित रामस्वरूप दोतोलिया जयपुर में सम्मानित

जयपुर. संस्कृत दिवस समारोह में बुधवार को सीएम गहलोत द्वारा आशुकवि पंडित रामस्वरूप दोतोलिया को संस्कृत साधना शिखर सम्मान से नवाजा और एक लाख रुपये की पुरस्कार राशि दी गई. वहीं, डॉ. हुकुमचंद भारिल्ल और जुम्मा खान शास्त्री को साधना सम्मान से दिया गया और 51 हजार रुपये की राशि से सम्मानित किया गया.

संस्कृत सम्मान समारोह में गहलोत ने आरएसएस पर साधा निशाना

समारोह में ऐसे 16 संस्कृत के विद्वानों को अलग-अलग सम्मान से सम्मानित किया गया. इस दौरान सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि संस्कृत भाषा कई भाषाओं की जननी है. पूरा विश्व संस्कृत को मानता है. आजादी के बाद संस्कृत भाषा को बढ़ाने में कांग्रेस सरकार की अहम भूमिका रही है. इस दौरान सीएम ने अपने जीवन से जुड़े पल बताते हुए कहा कि वह शुरू से ही संस्कृत और अंग्रेजी में कमजोर छात्र रहे, लेकिन आज वह संस्कृत के प्रेमी बन गए हैं. सीएम ने कहा कि मेरी कलम हमेशा संस्कृत के पक्ष में ही चलेगी.

पढ़ें: जयपुर में कश्मीरी विद्यार्थियों से ईटीवी भारत की खास-बातचीत

इस दौरान सीएम गहलोत ने आरएसएस पर निशाना साधते हुए कहा कि संघ को 100 साल पूरे होने वाले हैं. संघ हमेशा हिंदू राष्ट्र की बात करता है, लेकिन यह सब एक सीमा तक जा कर रुक जाता है. सीएम ने कहा कि जिसको संस्कृत भाषा का ज्ञान है वह कभी नहीं सोचेंगा कि धर्म के आधार पर बंटवारा होना चाहिए. संघ को हिंदुत्व की जगह संस्कृत का प्रचार करना चाहिए. आरएसएस को अब अपनी भूमिका बदल लेनी चाहिए.

जयपुर. संस्कृत दिवस समारोह में बुधवार को सीएम गहलोत द्वारा आशुकवि पंडित रामस्वरूप दोतोलिया को संस्कृत साधना शिखर सम्मान से नवाजा और एक लाख रुपये की पुरस्कार राशि दी गई. वहीं, डॉ. हुकुमचंद भारिल्ल और जुम्मा खान शास्त्री को साधना सम्मान से दिया गया और 51 हजार रुपये की राशि से सम्मानित किया गया.

संस्कृत सम्मान समारोह में गहलोत ने आरएसएस पर साधा निशाना

समारोह में ऐसे 16 संस्कृत के विद्वानों को अलग-अलग सम्मान से सम्मानित किया गया. इस दौरान सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि संस्कृत भाषा कई भाषाओं की जननी है. पूरा विश्व संस्कृत को मानता है. आजादी के बाद संस्कृत भाषा को बढ़ाने में कांग्रेस सरकार की अहम भूमिका रही है. इस दौरान सीएम ने अपने जीवन से जुड़े पल बताते हुए कहा कि वह शुरू से ही संस्कृत और अंग्रेजी में कमजोर छात्र रहे, लेकिन आज वह संस्कृत के प्रेमी बन गए हैं. सीएम ने कहा कि मेरी कलम हमेशा संस्कृत के पक्ष में ही चलेगी.

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इस दौरान सीएम गहलोत ने आरएसएस पर निशाना साधते हुए कहा कि संघ को 100 साल पूरे होने वाले हैं. संघ हमेशा हिंदू राष्ट्र की बात करता है, लेकिन यह सब एक सीमा तक जा कर रुक जाता है. सीएम ने कहा कि जिसको संस्कृत भाषा का ज्ञान है वह कभी नहीं सोचेंगा कि धर्म के आधार पर बंटवारा होना चाहिए. संघ को हिंदुत्व की जगह संस्कृत का प्रचार करना चाहिए. आरएसएस को अब अपनी भूमिका बदल लेनी चाहिए.

Intro:जयपुर- संस्कृत दिवस पर आज शिक्षा विभाग की ओर से राज्य स्तरीय में संस्कृत दिवस मनाया गया। समारोह में संस्कृत क्षेत्र अहम योगदान देने वाले विद्वानों का सम्मान किया गया। रविंद्र मंच सभागार में आयोजित समारोह में सीएम अशोक गहलोत, संस्कृत शिक्षा मंत्री सुभाष गर्ग, मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा, उच्च शिक्षा मंत्री भंवर सिंह भाटी मौजूद रहे। इस दौरान समारोह में सीएम गहलोत ने आशुकवि पंडित रामस्वरूप दोतोलिया को संस्कृत साधना शिखर सम्मान से नवाजा गया और एक लाख रुपए की पुरस्कार राशि दी गई। डॉ हुकुमचंद भारिल्ल और जुम्मा खान शास्त्री को साधना सम्मान से दिया गया और 51 हजार रुपए की राशि से सम्मानित किया गया।


Body:समारोह में ऐसे 16 संस्कृत के विद्वानों को अलग-अलग सम्मान से सम्मानित किया गया। इस दौरान सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि संस्कृत भाषा कई भाषाओं की जननी है। पूरा विश्व संस्कृत को मानता है। आजादी के बाद संस्कृत भाषा को बढ़ाने में कांग्रेस सरकार की अहम भूमिका रही है। इस दौरान सीएम ने अपने जीवन से जुड़े पल बताते हुए कहा कि वह शुरू से ही संस्कृत और अंग्रेजी में कमजोर छात्र रहे, लेकिन आज वह संस्कृत के प्रेमी बन गए है, सीएम ने कहा कि मेरी कलम हमेशा संस्कृत के पक्ष में ही चलेगी।

इस दौरान सीएम गहलोत ने आरएसएस पर निशाना साधते हुए कहा कि संघ को 100 साल पूरे होने वाले है। संघ हमेशा हिंदू राष्ट्र की बात करता है लेकिन यह सब एक सीमा तक जा कर रुक जाते हैं। सीएम ने कहा कि जिसको संस्कृत की भाषा का ज्ञान है वह कभी नहीं सोचेंगे कि धर्म के आधार पर बंटवारा होना चाहिए। संघ को हिंदुत्व की जगह संस्कृत का प्रचार करना चाहिए, आरएसएस को अब अपनी भूमिका बदल लेनी चाहिए।

बाईट- अशोक गहलोत, मुख्यमंत्री
बाईट- पंडित रामस्वरूप दोतोलिया, सम्मानित विद्धान


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