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प्रदेश में बढ़ते कोरोना पर CM गहलोत ने जताई चिंता, कहा- माइक्रो कंटेनमेंट जोन के निर्धारण और SOP की सख्त हो पालना

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत गुरुवार रात को मुख्यमंत्री निवास पर उच्च स्तरीय बैठक में कोरोना संक्रमण की स्थिति की समीक्षा कर रहे थे. सीएम अशोक गहलोत ने देश के कई राज्यों के साथ-साथ प्रदेश में कोरोना संक्रमितों की संख्या में वृद्धि के चलते निर्देश दिए हैं कि माइक्रो कंटेनमेंट जोन के निर्धारण और एसओपी की कड़ाई से पालना की जाए.

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प्रदेश में बढ़ते कोरोना पर CM गहलोत ने जताई चिंता
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Published : Apr 9, 2021, 3:37 AM IST

जयपुर. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने देश के कई राज्यों के साथ-साथ प्रदेश में कोरोना संक्रमितों की संख्या में वृद्धि के चलते निर्देश दिए हैं कि माइक्रो कंटेनमेंट जोन के निर्धारण और एसओपी की कड़ाई से पालना की जाए. उन्होंने कहा कि संक्रमण रोकने के लिए जरूरी है कि सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क पहनने के नियम की पालना में कोई कोताही न हो. गहलोत ने निर्देश दिए कि जयपुर, जोधपुर, उदयपुर, कोटा, चित्तौडगढ़, अलवर और भीलवाड़ा जिले, जहां कि कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं, वहां संक्रमण रोकने के लिए जिला कलेक्टर माइक्रो कंटेंनमेंट जोन सहित सघन काॅन्टेक्ट ट्रेसिंग और अधिक टेस्टिंग के लिए विशेष योजना तैयार कर अमल में लाएं.

सीएम अशोक गहलोत गुरुवार रात को मुख्यमंत्री निवास पर उच्च स्तरीय बैठक में कोरोना संक्रमण की स्थिति की समीक्षा कर रहे थे. उन्होंने प्रदेश में संक्रमितों की संख्या लगातार बढ़ने पर गहरी चिंता व्यक्त की. मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि स्थिति पर नियंत्रण के लिए प्रदेश के शहरी क्षेत्रों में धारा 144 के तहत 5 से अधिक व्यक्तियों के इकट्ठा होने पर रोक लगाने की कड़ाई से पालना हो. मुख्यमंत्री ने कहा कि स्थिति नियंत्रण में रहे, इसके लिए जरूरी है कि एसओपी की कड़ाई से पालना हो. उन्होंने कहा कि जिला कलेक्टर माइक्रो कंटेनमेंट जोन में ट्रेसिंग, टेस्टिंग और होम आइसोलेशन की प्रभावी पालना कराने के लिए आरएएस अधिकारियों को जिम्मेदारी दें.

पढ़ें: कोरोना पर PM मोदी की VC में बोले CM गहलोत: गांवों में संक्रमण फैलने से पहले रोकना बेहद जरूरी

चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सचिव सिद्धार्थ महाजन ने कोरोना संक्रमण की स्थिति, एक्टिव केसेज की संख्या तथा संक्रमण रोकने के उपायों पर प्रस्तुतीकरण दिया. उन्होंने कहा कि बीते 24 घंटे में प्रदेश में 3526 पाॅजिटिव केस आए हैं. कोरोना का हाॅटस्पाॅट बन रहे उदयपुर में स्वास्थ्य विभाग के दो वरिष्ठ अधिकारियों को भेजा गया है. बैठक में राजस्थान हैल्थ यूनिवर्सिटी के कुलपति डाॅ. राजा बाबू पंवार, एसएमएस मेडिकल काॅलेज के प्राचार्य डाॅ. सुधीर भण्डारी, वरिष्ठ चिकित्सा विशेषज्ञ डाॅ. वीरेन्द्र सिंह ने कहा कि यदि लोग कोरोना गाइडलाइन की पालना में कोताही बरतेंगे, तो आने वाले दिनों में स्थिति और अधिक खराब हो सकती है. उन्होंने कहा कि वैक्सीन से जान जाने का खतरा कम जरूर होता है. इसके बावजूद संक्रमण से बचाव के लिए हमें सोशल डिस्टेसिंग बनाए रखने, मास्क पहनने के नियम की कड़ाई से पालना करनी होगी और इसे जन अभियान बनाना होगा. बैठक में चिकित्सा राज्यमंत्री डाॅ. सुभाष गर्ग, मुख्य सचिव निरंजन आर्य, पुलिस महानिदेशक एमएल लाठर, प्रमुख गृह सचिव अभय कुमार, प्रमुख सचिव वित्त अखिल अरोरा, चिकित्सा शिक्षा सचिव वैभव गालरिया, सूचना एवं जनसंपर्क आयुक्त महेन्द्र सोनी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे.

जयपुर. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने देश के कई राज्यों के साथ-साथ प्रदेश में कोरोना संक्रमितों की संख्या में वृद्धि के चलते निर्देश दिए हैं कि माइक्रो कंटेनमेंट जोन के निर्धारण और एसओपी की कड़ाई से पालना की जाए. उन्होंने कहा कि संक्रमण रोकने के लिए जरूरी है कि सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क पहनने के नियम की पालना में कोई कोताही न हो. गहलोत ने निर्देश दिए कि जयपुर, जोधपुर, उदयपुर, कोटा, चित्तौडगढ़, अलवर और भीलवाड़ा जिले, जहां कि कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं, वहां संक्रमण रोकने के लिए जिला कलेक्टर माइक्रो कंटेंनमेंट जोन सहित सघन काॅन्टेक्ट ट्रेसिंग और अधिक टेस्टिंग के लिए विशेष योजना तैयार कर अमल में लाएं.

सीएम अशोक गहलोत गुरुवार रात को मुख्यमंत्री निवास पर उच्च स्तरीय बैठक में कोरोना संक्रमण की स्थिति की समीक्षा कर रहे थे. उन्होंने प्रदेश में संक्रमितों की संख्या लगातार बढ़ने पर गहरी चिंता व्यक्त की. मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि स्थिति पर नियंत्रण के लिए प्रदेश के शहरी क्षेत्रों में धारा 144 के तहत 5 से अधिक व्यक्तियों के इकट्ठा होने पर रोक लगाने की कड़ाई से पालना हो. मुख्यमंत्री ने कहा कि स्थिति नियंत्रण में रहे, इसके लिए जरूरी है कि एसओपी की कड़ाई से पालना हो. उन्होंने कहा कि जिला कलेक्टर माइक्रो कंटेनमेंट जोन में ट्रेसिंग, टेस्टिंग और होम आइसोलेशन की प्रभावी पालना कराने के लिए आरएएस अधिकारियों को जिम्मेदारी दें.

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चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सचिव सिद्धार्थ महाजन ने कोरोना संक्रमण की स्थिति, एक्टिव केसेज की संख्या तथा संक्रमण रोकने के उपायों पर प्रस्तुतीकरण दिया. उन्होंने कहा कि बीते 24 घंटे में प्रदेश में 3526 पाॅजिटिव केस आए हैं. कोरोना का हाॅटस्पाॅट बन रहे उदयपुर में स्वास्थ्य विभाग के दो वरिष्ठ अधिकारियों को भेजा गया है. बैठक में राजस्थान हैल्थ यूनिवर्सिटी के कुलपति डाॅ. राजा बाबू पंवार, एसएमएस मेडिकल काॅलेज के प्राचार्य डाॅ. सुधीर भण्डारी, वरिष्ठ चिकित्सा विशेषज्ञ डाॅ. वीरेन्द्र सिंह ने कहा कि यदि लोग कोरोना गाइडलाइन की पालना में कोताही बरतेंगे, तो आने वाले दिनों में स्थिति और अधिक खराब हो सकती है. उन्होंने कहा कि वैक्सीन से जान जाने का खतरा कम जरूर होता है. इसके बावजूद संक्रमण से बचाव के लिए हमें सोशल डिस्टेसिंग बनाए रखने, मास्क पहनने के नियम की कड़ाई से पालना करनी होगी और इसे जन अभियान बनाना होगा. बैठक में चिकित्सा राज्यमंत्री डाॅ. सुभाष गर्ग, मुख्य सचिव निरंजन आर्य, पुलिस महानिदेशक एमएल लाठर, प्रमुख गृह सचिव अभय कुमार, प्रमुख सचिव वित्त अखिल अरोरा, चिकित्सा शिक्षा सचिव वैभव गालरिया, सूचना एवं जनसंपर्क आयुक्त महेन्द्र सोनी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे.

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