जयपुर. चौमू विधायक रामलाल शर्मा ने कहा, कि प्रदेश के शिक्षा मंत्री के विधानसभा क्षेत्र में ही स्थित कॉलेज में 7 पद व्याख्याताओं के स्वीकृत हैं और वर्तमान में ये पद खाली पड़े हैं. रामलाल शर्मा ने यह भी कहा, कि प्रदेश के महाविद्यालयों में 34 फीसदी से ज्यादा व्याख्याताओं के पद भी खाली पड़े है. रामलाल शर्मा ने विधानसभा में बजट सत्र में सोमवार को मीडिया से रूबरू होते हुए यह जानकारी दी.
रामलाल शर्मा ने कहा, कि मैंने सदन में पूछा था, कि प्रदेश के महाविद्यालयों में व्याख्याताओं के कितने पद स्वीकृत हैं और कितने पद भरे हुए हैं. सदन में उन्हें बताया गया, कि प्रदेश में 6900 व्याख्याताओं के पद स्वीकृत हैं. इनमें से 2400 पद रिक्त पड़े हुए हैं. यानि प्रदेश में 34 फीसदी से ज्यादा पद खाली पड़े है. इसके अलावा 300 व्याख्याताओं के पद प्रतिनियुक्ति से भरे गए हैं.
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रामलाल शर्मा ने कहा, कि एक तरफ सरकार कहती है, कि शिक्षा को बढ़ावा दिया जा रहा है. दूसरी तरफ सरकार की मंशा नहीं है, कि माकूल व्यवस्था कर शिक्षा की गुणवत्ता को सुधारा जाए. अभी तक कई महाविद्यालयों के लिए भूमि आवंटन का काम पूरा नहीं हुआ है और कुछ महाविद्यालय तो ऐसे हैं, जिनमें निर्माण कार्य भी शुरू नहीं हुआ है. प्रदेश में 61 महाविद्यालय ऐसे हैं, जहां अबतक निर्माण कार्य शुरू नहीं हुआ है. 30 से 35 महाविद्यालय ऐसे हैं, जिन्हें अबतक भूमि का आवंटन भी नहीं हुआ है.
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विधायक रामलाल शर्मा ने कहा, कि प्रदेश में ऐसे कई कॉलेज हैं, जहां 7 या 9 पद स्वीकृत हैं और वहां सभी पद रिक्त पड़े हुए हैं. उन्होंने कहा, कि शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा के विधानसभा क्षेत्र लक्ष्मणगढ़ के कॉलेज में भी 7 पद स्वीकृत हैं और सातों ही पद खाली पड़े हैं. इस पर कटाक्ष करते हुए रामलाल शर्मा ने कहा, कि जब शिक्षा मंत्री के विधानसभा क्षेत्र में ही ऐसी स्थिति है तो बाकी विधायकों की क्षेत्र में क्या स्थिति हो सकती है. रामलाल शर्मा ने व्याख्याताओं के पद जल्द भरकर शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने की मांग की है.