जयपुर. प्रदेश में अब पूर्ववर्ती वसुंधरा सरकार के भामाशाह कार्ड की जगह जन आधार कार्ड मान्य होगा. यह योजना आगमी वित्तिय वर्ष में 1 अप्रैल से प्रदेशभर में लागू होगी. इससे पहले सरकार ने इसे लागू करने की तैयारियां शुरू कर दी हैं. आइए आपको बताते हैं जन आधार कार्ड से जुड़ी तमाम जानकारियां जो भामाशाह कार्ड धारकों के लिए जानना बेहद जरूरी है...
इस योजना के तहत खाद्य सुरक्षा से जुड़े प्रदेश के एक करोड़ 16 लाख लोगों को शुरुआती चरण में निशुल्क जन आधार कार्ड दिया जाएगा. इसके बाद शेष लोगों को द्वितीय चरण में कार्ड का वितरण होगा. यह कार्ड 1 अप्रैल से काम करना शुरू करेगा वहीं 31 मार्च के बाद भामाशाह कार्ड को बंद कर दिया जाएगा. सूत्रों के अनुसार 1.16 करोड़ परिवारों के लिए नए जन आधार कार्ड बनाने पर 20 करोड़ रुपए से ज्यादा का खर्चा होगा. इसके साथ ही डाटाबेस मैनेजमेंट, नई मशीनें व अन्य संसाधनों पर भी 20 करोड़ रुपए खर्च होंगे.
जन आधार कार्ड योजना के अंतर्गत मिलने वाले लाभ
- राशन कार्ड से मिलने वाली तमाम सुविधाओं का लाभ जन आधार कार्ड से मिल सकेगा.
- पेंशनकर्मियों को हर साल जीवित प्रमाण पत्र बनवाना पड़ता है, लेकिन जन आधार कार्ड के बाद यह प्रमाण पत्र हर साल नहीं बनवाना पड़ेगा.
- जन आधार कार्ड में भामाशाह कार्डधारी परिवार के प्रत्येक सदस्यों का नाम ऑटोमेटिक एड हो जाएगा, बार-बार नाम जुड़वाने की जरूरत नहीं होगी.
- जन आधार कार्ड एक परिवार की एक पहचान बनेगा यानि एक कार्ड, एक नम्बर, एक पहचान.
- ई-कॉमर्स और बीमा सुविधाओं का लाभ भी इसी कार्ड के जरिए मिल सकेगा.
पढ़ेंः राजस्थान की नई उद्योग नीति जारीः उद्यमियों को मिली नई सौगातें, 7 साल तक स्टेट GST पर 75 फीसदी छूट
जन आधार कार्ड की खास बातें
- भामाशाह कार्ड की तरह यह कार्ड भी महिला के नाम से बनेगा.
- अगर किसी परिवार में महिला नहीं है तो पुरूष के नाम से भी जन आधार कार्ड बनाया जा सकता है.
- इस कार्ड में परिवार के सभी सदस्यों को जोड़ा जाएगा.
- जन आधार कार्ड में आपको 10 अंक का एक पंजीयन नम्बर दिया जायेगा.
- जिनका भामाशाह कार्ड पहले से बना हुआ है उसे जन आधार कार्ड बनवाने की जरूरत नहीं है. ऐसे परिवारों को मोबाइल नम्बर पर SMS या फोन करके 10 अंक का पंजीयन नम्बर भेजा जायेगा.
- जिस परिवार का भामाशाह कार्ड नहीं बना हुआ है उसे ही नया कार्ड जन आधार कार्ड बनवाना पड़ेगा.