ETV Bharat / city

बजट 2020: पिछले बजट की घोषणाएं अधूरी, ऊर्जा विभाग की घोषणाओं का ये है सच - jaipur news

जल्द ही गहलोत सरकार अपना बजट पेश करेगी, जिससे जनता को कई उम्मीदें भी हैं. लेकिन, पिछले बजट की घोषणाएं अभी तक धरातल पर नहीं आई है, ऐसे में ईटीवी भारत ने ऊर्जा विभाग के तहत पिछले बजट में की गई घोषणाओं की पड़ताल की तो सामने आया कि अभी तक कई योजनाओं का काम अधूरा है. तो कई पर अभी तक काम शुरू ही नहीं हुआ है.

जयपुर न्यूज, jaipur news
ऊर्जा विभाग की बजट घोषणा का ये है सच
author img

By

Published : Feb 9, 2020, 6:50 PM IST

Updated : Feb 9, 2020, 7:04 PM IST

जयपुर. प्रदेश का आगामी बजट जल्द ही विधानसभा में पेश होने वाला है. आने वाले बजट से प्रदेश की जनता को कई उम्मीदें हैं. लेकिन, पिछले प्रदेश बजट में जो घोषणाएं गहलोत सरकार ने प्रदेशवासियों से की थी. उसमें से कितनी घोषणा पूरी हो पाई, यह भी देखना लाजमी होगा.

ऊर्जा विभाग के तहत की गई घोषणाओं में तो अधिकतर अब तक अधूरी है. कुछ पर काम शुरू हुआ, लेकिन वह धरातल पर दिख भी नहीं रहा. ईटीवी भारत ने ऊर्जा विभाग के तहत पिछले बजट में की गई घोषणाओं की पड़ताल की तो यह चौंकाने वाला सच सामने आया.

ऊर्जा विभाग की बजट घोषणा का ये है सच

पुष्कर नाथद्वारा में शुरू नहीं हुआ भूमिगत बिजली की लाइन बिछाने का काम

पिछले बजट में यह घोषणा की गई थी कि धार्मिक नगरी नाथद्वारा और पुष्कर में बिजली की लाइनों को भूमिगत किया जाएगा. लेकिन, एक साल होने वाला है और इस दिशा में अब तक धरातल पर कोई काम नहीं दिख रहा. अभी भी पुष्कर और राजसमंद के नाथद्वारा में बिजली की लाइन भूमिगत नहीं हुई है. हालांकि, इसको लेकर डीपीआर जरूर बनी है लेकिन, इसका काम अब तक किसी को भी नहीं दिया गया.

यह भी पढ़ें : बजट से आस : जयपुरवासियों की सरकार से क्या हैं उम्मीदें...जानिए

स्मार्ट मीटर का वादा भी रहा अधूरा

इसी तरह पिछले बजट में शहरी क्षेत्रों में 80,000 वितरण ट्रांसफॉमर्स पर स्मार्ट मीटर की स्थापना का लक्ष्य रखा गया है. अब यदि स्मार्ट मीटर प्रोजेक्ट के बात की जाए तो वह अब तक प्रदेश में ठंडे बस्ते में ही पड़ा है. ट्रांसफार्मर पर स्मार्ट मीटर लगाने की दिशा में भी ज्यादा कुछ काम नहीं हो पाया.

नई ऊर्जा नीति जारी लेकिन, धरातल पर नहीं फायदा

पिछले बजट में प्रदेश के लिए नई सौर और पवन ऊर्जा नीति जारी करने की घोषणा की गई थी. जिसे कुछ माह पहले ही सरकार ने जारी भी किया. लेकिन, नई नीति से आकर्षित होकर ना तो प्रदेश में पवन ऊर्जा और ना ही सौर ऊर्जा के क्षेत्र में कुछ ज्यादा निवेश आ पाया. हालांकि, प्रदेश सरकार के स्तर पर नई नीति के प्रचार-प्रसार को लेकर उचित कदम उठाए जाने के बाद संभवत इसका फायदा प्रदेश को मिल सकता है.

यह भी पढे़ं : Special : पूरी पंचायत को करेंगे कचरा मुक्त.....पदभार ग्रहण करने से पहले सरपंच का स्वच्छता संकल्प

इसके अलावा प्रदेश में 1 साल में 1 लाख नए कृषि कनेक्शन जारी करने का लक्ष्य रखा गया था, जिसको डिस्कॉम ने हासिल कर लिया और एक लाख 20 हजार के करीब नए कृषि कनेक्शन भी जारी किए. लेकिन, इसके अलावा जो भी घोषणा पिछले बजट में ऊर्जा विभाग के तहत की गई थी. वह आगामी 3 वर्ष, 4 वर्ष, 5 वर्ष और 7 वर्षों के लिए की गई थी. अब उस दिशा में कुछ की शुरुआत होना बाकी है, तो कुछ पर काम शुरू हुआ है. मतलब, पिछले प्रदेश बजट में ऊर्जा के क्षेत्र में जो वादे किए गए थे वह शत-प्रतिशत पूरे नहीं हुए.

जयपुर. प्रदेश का आगामी बजट जल्द ही विधानसभा में पेश होने वाला है. आने वाले बजट से प्रदेश की जनता को कई उम्मीदें हैं. लेकिन, पिछले प्रदेश बजट में जो घोषणाएं गहलोत सरकार ने प्रदेशवासियों से की थी. उसमें से कितनी घोषणा पूरी हो पाई, यह भी देखना लाजमी होगा.

ऊर्जा विभाग के तहत की गई घोषणाओं में तो अधिकतर अब तक अधूरी है. कुछ पर काम शुरू हुआ, लेकिन वह धरातल पर दिख भी नहीं रहा. ईटीवी भारत ने ऊर्जा विभाग के तहत पिछले बजट में की गई घोषणाओं की पड़ताल की तो यह चौंकाने वाला सच सामने आया.

ऊर्जा विभाग की बजट घोषणा का ये है सच

पुष्कर नाथद्वारा में शुरू नहीं हुआ भूमिगत बिजली की लाइन बिछाने का काम

पिछले बजट में यह घोषणा की गई थी कि धार्मिक नगरी नाथद्वारा और पुष्कर में बिजली की लाइनों को भूमिगत किया जाएगा. लेकिन, एक साल होने वाला है और इस दिशा में अब तक धरातल पर कोई काम नहीं दिख रहा. अभी भी पुष्कर और राजसमंद के नाथद्वारा में बिजली की लाइन भूमिगत नहीं हुई है. हालांकि, इसको लेकर डीपीआर जरूर बनी है लेकिन, इसका काम अब तक किसी को भी नहीं दिया गया.

यह भी पढ़ें : बजट से आस : जयपुरवासियों की सरकार से क्या हैं उम्मीदें...जानिए

स्मार्ट मीटर का वादा भी रहा अधूरा

इसी तरह पिछले बजट में शहरी क्षेत्रों में 80,000 वितरण ट्रांसफॉमर्स पर स्मार्ट मीटर की स्थापना का लक्ष्य रखा गया है. अब यदि स्मार्ट मीटर प्रोजेक्ट के बात की जाए तो वह अब तक प्रदेश में ठंडे बस्ते में ही पड़ा है. ट्रांसफार्मर पर स्मार्ट मीटर लगाने की दिशा में भी ज्यादा कुछ काम नहीं हो पाया.

नई ऊर्जा नीति जारी लेकिन, धरातल पर नहीं फायदा

पिछले बजट में प्रदेश के लिए नई सौर और पवन ऊर्जा नीति जारी करने की घोषणा की गई थी. जिसे कुछ माह पहले ही सरकार ने जारी भी किया. लेकिन, नई नीति से आकर्षित होकर ना तो प्रदेश में पवन ऊर्जा और ना ही सौर ऊर्जा के क्षेत्र में कुछ ज्यादा निवेश आ पाया. हालांकि, प्रदेश सरकार के स्तर पर नई नीति के प्रचार-प्रसार को लेकर उचित कदम उठाए जाने के बाद संभवत इसका फायदा प्रदेश को मिल सकता है.

यह भी पढे़ं : Special : पूरी पंचायत को करेंगे कचरा मुक्त.....पदभार ग्रहण करने से पहले सरपंच का स्वच्छता संकल्प

इसके अलावा प्रदेश में 1 साल में 1 लाख नए कृषि कनेक्शन जारी करने का लक्ष्य रखा गया था, जिसको डिस्कॉम ने हासिल कर लिया और एक लाख 20 हजार के करीब नए कृषि कनेक्शन भी जारी किए. लेकिन, इसके अलावा जो भी घोषणा पिछले बजट में ऊर्जा विभाग के तहत की गई थी. वह आगामी 3 वर्ष, 4 वर्ष, 5 वर्ष और 7 वर्षों के लिए की गई थी. अब उस दिशा में कुछ की शुरुआत होना बाकी है, तो कुछ पर काम शुरू हुआ है. मतलब, पिछले प्रदेश बजट में ऊर्जा के क्षेत्र में जो वादे किए गए थे वह शत-प्रतिशत पूरे नहीं हुए.

Intro:Special story वादा तेरा वादा: ऊर्जा विभाग की बजट घोषणा का ये है सच पुष्कर और नाथद्वारा में नहीं हुई बिजली की भूमिगत लाइन नई सौर व पवन उर्जा तो घोषित हुई लेकिन काम नहीं हो पाया शुरू स्मार्ट मीटर लगाने की घोषणा भी रही अधूरी जयपुर (इंट्रो) प्रदेश का आगामी बजट जल्द ही विधानसभा में पेश होने वाला है । आने वाले बजट से प्रदेश की जनता को कई उम्मीदें है लेकिन पिछले प्रदेश बजट में जो घोषणाए गहलोत सरकार ने प्रदेशवासियों से की थी उसमें से कितनी घोषणा पूरी हो पाई, यह भी देखना लाजमी होगा। ऊर्जा विभाग के तहत की गई घोषणाओं में तो अधिकतर अब तक अधूरी है। कुछ पर काम शुरू हुआ लेकिन वह धरातल पर दिख भी नहीं रहा। ईटीवी भारत ने ऊर्जा विभाग के तहत पिछले बजट में की गई घोषणाओं की पड़ताल की तो यह चौंकाने वाला सच सामने आया... पुष्कर नाथद्वारा में शुरू नहीं हुआ भूमिगत बिजली की लाइन बिछाने का काम- पिछले बजट में यह घोषणा की गई थी कि धार्मिक नगरी नाथद्वारा और पुष्कर में बिजली की लाइनों को भूमिगत किया जाएगा। एक साल होने वाला है लेकिन इस दिशा में धरातल पर कोई काम नहीं दिख रहा। अभी भी पुष्कर और राजसमंद के नाथद्वारा में बिजली की लाइन भूमिगत नहीं हुई । हालांकि इसको लेकर डीपीआर जरूर बनी है लेकिन इसका काम अब तक किसी को भी नहीं दिया गया। स्मार्ट मीटर का वादा भी रहा अधूरा- इसी तरह पिछले बजट में शहरी क्षेत्रों में 80000 वितरण ट्रांसफॉमर्स पर स्मार्ट मीटर की स्थापना का लक्ष्य रखा गया। अब यदि स्मार्ट मीटर प्रोजेक्ट के बात की जाए तो वह अब तक प्रदेश में ठंडे बस्ते में ही पड़ा है। ट्रांसफार्मर पर स्मार्ट मीटर लगाने की दिशा में भी ज्यादा कुछ काम नहीं हो पाया। नई उर्जा नीति जारी लेकिन धरातल पर नहीं फायदा- पिछले बजट में प्रदेश के लिए नई सौर और पवन ऊर्जा नीति जारी करने की घोषणा की गई थी। जिसे कुछ माह पहले ही सरकार ने जारी भी किया । लेकिन नई नीति से आकर्षित होकर ना तो प्रदेश में पवन ऊर्जा और ना ही सौर ऊर्जा के क्षेत्र में कुछ ज्यादा निवेश आ पाया। हालांकि प्रदेश सरकार के स्तर पर नई नीति के प्रचार-प्रसार को लेकर उचित कदम उठाए जाने के बाद संभवत इसका फायदा प्रदेश को मिल सकता है। इसके अलावा प्रदेश में 1 साल में 1 लाख नए कृषि कनेक्शन जारी करने का लक्ष्य रखा गया था, जिसको डिस्कॉम ने हासिल कर लिया और एक लाख 20 हजार के करीब नए कृषि कनेक्शन भी जारी किए। लेकिन इसके अलावा जो भी घोषणा पिछले बजट में ऊर्जा विभाग के तहत की गई थी ,वह आगामी 3 वर्ष 4 वर्ष, 5 वर्ष और 7 वर्षों के लिए की गई थी । अब उस दिशा में कुछ की शुरुआत होना बाकी है तो कुछ पर काम शुरू हुआ है। मतलब पिछले प्रदेश बजट में ऊर्जा के क्षेत्र में जो वादे किए गए थे वह शत प्रतिशत पूरे नहीं हुए। (Edited vo pkg)


Body:(Edited vo pkg)


Conclusion:
Last Updated : Feb 9, 2020, 7:04 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.