जयपुर. एआईएमआईएम चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने उदयपुर (Asaduddin Owaisi targeted RSS) कन्हैया लाल हत्याकांड मामले की घटना को प्रदेश सरकार का फेलियर करार दिया. लेकिन पीएफआई पर प्रतिबंध से जुड़े सवाल पर चुप्पी साधी. जयपुर आए ओवैसी के निशाने पर आरएसएस और केंद्र की मोदी सरकार रही. ओवैसी ने यह तक कह दिया कि वो दिन दूर नहीं जब श्रीलंका की तरह यहां भी हालात बन जाए और जनता प्रधानमंत्री आवास में घुस जाए.
रविवार देर शाम ओवैसी जयपुर में चल रहे टॉक जर्नलिज्म के फाइनल सेशन में चर्चा कर रहे थे. चर्चा के बाद मीडिया से रूबरू हुए ओवैसी ने कहा कि एनएसए प्रमुख अजीत डोभाल को यह जवाब देना चाहिए कि देश में कट्टरवाद कौन फैला रहा है. वो चंद लोग कौन हैं उनके नाम बताएं जाएं? ओवैसी ने कहा कि आप सभी की नजरों में मैं सबसे ज्यादा कट्टर हूं. वहीं आरएसएस प्रचारक इंद्रेश कुमार के बयान पर ओवैसी ने पलटवार करते हुए कहा जो एक जमाने में खुद समझौता ट्रेन ब्लास्ट मामले में आरोपी था उससे सर्टिफिकेट लेने की मुझे आवश्यकता नहीं है. ओवैसी ने कहा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ में कौन सी प्रार्थना बोली जाती है और संघ की शाखाओं में शपथ संविधान पर ली जाती है या किसी और पर यह भी जनता के सामने रखना चाहिए. दरअसल संघ प्रचारक इंद्रेश कुमार ने ओवैसी को लेकर बयान दिया था कि ओवैसी अभी तक पूरी तरह भारतीय नहीं बन पाए हैं.
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बीजेपी और केंद्र सरकार पर साधा निशानाः ओवैसी ने इस दौरान भाजपा और केंद्र सरकार पर भी निशाना साधा और कहा भाजपा ने हर साल दो करोड़ नौकरियां देने का वादा किया था उसका क्या हुआ? यह देश की जनता को बताना चाहिए. उन्होंने कहा बीजेपी की सरकार ने देश की अर्थव्यवस्था को गर्त में पहुंचा दिया, उसका खामियाजा देश की सुरक्षा को उठाना पड़ रहा है. इस दौरान उन्होंने श्रीलंका का उदाहरण भी देश के संदर्भ में दिया. ओवैसी ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल की ओर से कट्टरता को लेकर दिए गए बयान पर भी कहा कि कट्टरता कौन फैला रहा है, कट्टर लोग कौन हैं. उनके नाम डोभाल को बताना चाहिए.
हम भाजपा की बी टीम नहींः कार्यक्रम के दौरान ओवैसी ने कहा कि हम पूरे दम के साथ राजस्थान में चुनाव लड़ेंगे और अगस्त माह में एक बड़ा कार्यक्रम भी यहां पर कर रहे हैं. ओवैसी ने कहा कि हमें बीजेपी की बी टीम कहा जाता है, लेकिन जब हम चुनाव नहीं लड़ते हैं तभी कांग्रेस हार जाती है. राजस्थान, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ में हुए लोकसभा चुनाव में कांग्रेस का सूपड़ा साफ हो गया.