बीकानेर. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार को राजस्थान की विधानसभा में वर्ष 2020 का बजट पेश किया. इस बजट में बीकानेर के राजस्थान राज्य अभिलेखागार को 10 करोड़ देने की घोषणा की है. इस राशि से अभिलेखागार में दस्तावेजों के डिजिटलाइजेशन और ऑनलाइन करने के काम में मदद मिलेगी.
बीकानेर स्थित राजस्थान राज्य अभिलेखागार में ऐतिहासिक और पुरातत्व से जुड़े महत्वपूर्ण दस्तावेजों का रिकॉर्ड बड़ी संख्या में है और इन दस्तावेजों का डिजिटलाइजेशन और ऑनलाइन करने का काम चल भी रहा है. बजट में अभिलेखागार को 10 करोड़ की राशि इसी काम के लिए देने की घोषणा हुई है. जिससे इस काम में और तेजी आने की उम्मीद है.
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गहलोत की इस घोषणा पर राजस्थान राज्य अभिलेखागार कर्मचारी संघ ने भी खुशी जताई है. संघ के प्रदेश अध्यक्ष रमेश तिवारी ने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अभिलेखागार के महत्व को समझते हुए बड़ी घोषणा की है. इसके लिए उनका धन्यवाद करते हैं. इस दौरान उन्होंने कर्मचारी हित के लिए 5 प्रतिशत डीए की घोषणा पर भी गहलोत का आभार जताया.
वहीं दूसरी और मुख्यमंत्री के बजट पर प्रतिक्रिया देते हुए भाजपा ने इसे थोथी घोषणा बताया. बीकानेर शहर भाजपा के उपाध्यक्ष अशोक प्रजापत का कहना है कि मुख्यमंत्री ने सिर्फ जोधपुर के लिए कई सारी घोषणा की है. जिससे यह लगता है कि वह सिर्फ जोधपुर के मुख्यमंत्री हैं और राजस्थान से उन्हें कोई लगाव नहीं है.
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प्रजापत ने कहा, कि केंद्र से जुड़ी योजनाओं की घोषणा केंद्र से बजट मिलने के आधार पर की गई है. जो काम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कर ही रहे हैं. बेरोजगारों और किसानों के लिए केवल कांग्रेस सरकार बात करती रही है. लेकिन बजट में ऐसी कोई विशेष घोषणा नहीं हुई. साथ ही बीकानेर को लेकर भी कोई बड़ी घोषणा नहीं हुई और बीकानेर के लिए फाटक की समस्या पर बजट में घोषणा नहीं होना निराशाजनक है.