अलवर. प्रदेश में एमबीसी वर्ग को 5 प्रतिशत आरक्षण देने की मांग को लेकर गुर्जर समाज की ओर से आंदोलन की चेतावनी दी गई थी. गुर्जर नेताओं ने बीते दिनों प्रदर्शन के बाद सरकार को 1 नवंबर तक का समय दिया था. ऐसे में सरकार की तरफ से गुर्जर नेताओं से बातचीत का सिलसिला शुरू हो चुका है. इसके साथ ही सुरक्षा एजेंसी भी अलर्ट मोड पर है.
अलवर में गुर्जर आंदोलन को देखते हुए तत्काल पुलिस की तरफ से एक बैठक बुलाई गई. पुलिस अन्वेषण भवन में पुलिस के आला अधिकारियों की बैठक हुई. जिसमें पुलिस के सभी आला अधिकारियों ने हिस्सा लिया. इस मौके पर कई अहम फैसले लिए गए. अलवर-जयपुर सड़क मार्ग पर नटनी का बारा क्षेत्र में देवनारायण मंदिर के पास गुर्जर समाज की तरफ से धरना दिया जाता है. ऐसे में नटनी का बारा क्षेत्र में पुलिस बल तैनात कर दिया गया है. साथ ही गुजर नेताओं पर नजर रखी जा रही है, उनके घर के आसपास सुरक्षा बल लगा दिए गए हैं.
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गुर्जर आंदोलन को देखते हुए सभी हाईवे प्रमुख सड़क मार्ग सहित जरूरी स्थानों पर भी पुलिस की नजर बनी हुई है. सरकार की तरफ से प्रदेश में 30 कंपनियों को तैनात किया गया है. इसमें सात बॉर्डर होमगार्ड की कंपनी, दो रैपिड एक्शन फोर्स, 8 सीआरपीएफ की कंपनी, आर आर ए सी सहित 8 एडिशनल एसपी आधा दर्जन डीएसपी इंस्पेक्टर आंदोलन स्तर पर भेजे गए हैं. इसके साथ ही पुलिस के अधिकारी लगातार प्रत्येक मूवमेंट पर नजर रख रहे हैं. सरकार की तरफ से प्रत्येक मुद्दे पर गंभीरता से काम किया जा रहा है. अलवर में गुर्जर समाज बहुतायत संख्या में है. इसलिए पुलिस प्रशासन की तरफ से विशेष नजर रखी जा रही है.