अजमेर. हाल ही में जिला प्रशासन की ओर से आनासागर झील के गेट को खोलने का आदेश दिया गया था, जिसमें पिछले दो दिनों में भारी संख्या में पानी की निकासी हुई है. यह आदेश आनासागर झील के चारों तरफ बन रहे गौरव पथ पर निर्माण किया जा सके, इसलिए पानी का लेवल 1 फीट जो कि पहले 13 इंच था, उसकी जगह पर 12 इंच करने के लिए दिया गया था.
इसके लिए सिंचाई विभाग ने आनासागर सागर झील के गेट को 6 इंच खोला है, जिससे लगातार झील का पानी निकल रहा है. यह पानी नालों के माध्यम से होता हुआ खानपुरा, दौराई और उसके आसपास के खेतों में इकट्ठा हो रहा है. जहां पर किसानों की लगाई हुई सर्दी की फसलें गोभी, मटर आदि अधिक पानी की मात्रा से खराब होने के कगार पर हैं.
बुधवार को किसान संगठनों ने मिल कर अजमेर जिला कलेक्टर प्रकाश राजपुरोहित को ज्ञापन दिया और बताया कि यदि उन्हें चैनल का गेट खोलना ही है तो 6 इंच गेज की जगह पर 3 इंच गेज किया जाए, ताकि पानी की निकासी धीरे-धीरे हो सके. अधिक मात्रा में पानी उनके खेतों में जो इकट्ठा हो रहा है, इससे उनकी साल भर की मेहनत की फसल खराब होने के कगार पर है. फसल कटाई हो जाने के बाद यदि प्रशासन पानी की निकासी कराता है, तो उन्हें कोई आपत्ति नहीं होगी. ज्ञापन देते समय किसान संगठन के साथ में अजमेर दक्षिण की विधायक अनिता भदेल और पुष्कर के विधायक भी शामिल थे.
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गौरतलब है कि हर साल फिर बरसात के मौसम में ही आनासागर झील के चैनल गेट खोले जाते हैं, ताकि अधिक मात्रा में पानी इकट्ठा होने से आसपास की कॉलोनी में पानी नहीं भरे. एक कारण यह भी है कि झील में पानी कम होने के कारण डूबा क्षेत्र में अतिक्रमणों की भरमार आ जाती है. जिसके कारण से यहां पर पानी भी भरा रखना जरूरी रहता है, क्योंकि कई बार इस संबंध में कई मामले जयपुर उच्च न्यायालय के समक्ष लंबित चल रहे हैं.