नागौर. जिला अधिवक्ता संघ के चुनाव के इतिहास में 76 साल बाद पहली बार आमने-सामने की टक्कर में अर्जुन राम काला को पराजित करते हुए नरेंद्र सारस्वत 75 मतों से अध्यक्ष पद पर विजयी घोषित हुए. बता दें कि 1942 में गठित हुए इस संगठन के 76 साल तक निर्विरोध पदाधिकारी चुने जाते रहे. इस बार अध्यक्ष पद के लिए आमने-सामने मुकाबला देखने को मिला और उपाध्यक्ष पद के लिए पवन श्रीमाली निर्विरोध निर्वाचित हुए थे. वहीं संयुक्त सचिव पद के लिए ओमप्रकाश विजयी हुए और सचिव पद के लिए हरिराम 34 मतों से विजय घोषित हुए.
इसके अलावा कोषाध्यक्ष पद के लिए अजीत कुमार निर्विरोध निर्वाचित हुए थे. वहीं पुस्तकालय सचिव पद पर सुनील कुमार त्रिवेदी 9 मतों से विजयी घोषित हुए. इतिहास की बात करें तो नागौर अधिवक्ता संघ के गठन के बाद 1943 में पहली बार अध्यक्ष के रूप में जोरावल मल मेहता निर्विरोध अध्यक्ष चुने गए थे.
उसके बाद निर्विरोध अध्यक्ष की प्रक्रिया लगातार चल रही थी. जोरावल मल मेहता के बाद रामकृष्ण कल्ला, दामोदर दास आचार्य, बंशीलाल सारस्वत और गंगासिंह कालवी अध्यक्ष पद पर सीनियर अधिवक्ता के तौर पर सर्वसम्मति से निर्विरोध निर्वाचित हुए थे.
इसी प्रकार 2018 में भंवर सिंह गोदारा और बीते साल 2019 में गंभीर सिंह राठौड़ सीनियर अधिवक्ता होने पर सर्वसम्मति से निर्विरोध अध्यक्ष निर्वाचित हुए थे. इस बार के चुनाव की बात करें तो नागौर जिला अधिवक्ता संघ के चुनाव में अध्यक्ष पद के लिए अर्जुनराम और नरेंद्र की आमने सामने टक्कर रही. वहीं मतदान को लेकर अधिवक्ताओं में जोश व उत्साह देखने को मिला.