उमरिया। जिले में आदिवासियों के शोषण के खिलाफ विधायक मीना सिंह ने बुधवार को धरना प्रदर्शन किया, साथ ही पार्क प्रबंधन पर तानाशाही का आरोप लगाया है. वहीं प्रशासन के जिम्मेदार अधिकारियों को कहा कि जब तक हमारी मांगे पूरी नहीं होती तो हम आंदोलन धरना प्रदर्शन करते रहेंगे.
दरअसल बांधवगढ़ पार्क प्रबंधन की तानाशाही पूर्ण रवैया से हताश होकर मानपुर विधानसभा क्षेत्र की विधायिका मीना सिंह बुधवार को बांधवगढ़ पार्क के ताला गेट के पास धरने पर बैठ गईं. जहां उन्होंने पार्क प्रबन्धन पर तानाशाही का आरोप लगाते हुए कहा कि ये लोग 40-50 साल से यहां बसे हुए हैं और नियम यह है कि यदि पार्क के अंदर श्रमिकों की भर्ती होगी तो उसमें पार्क क्षेत्र में बसे हुए लोगों को ही प्राथमिकता के तहत रखा जाएगा. लेकिन यहां कोई एसडीओ आता है वह अपने नात रिश्तेदारों को लगा जाता है, कोई क्षेत्र संचालक आता है तो वह अपने रिश्तेदारों और चहेतों को यहां भर्ती करा जाता है. मानपुर क्षेत्र से विधायिका मीना सिंह ने सीधे आरोप लगाया है कि पार्क प्रबंधन अपने पार्क में अपने नियम कायदे लगा रहे हैं.
बता दें कि जिले में बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व से लेकर कोयला और थर्मल पॉवर प्लांट जैसी कई साधन रोजगार के लिए हैं लेकिन यहां की क्षेत्रीय जनों को इसका लाभ नहीं मिल पा रहा है. धरने पर बैठी विधायिका ने राज्यपाल के नाम का ज्ञापन सौंप जल्द कार्रवाई की मांग की है. इस पर सक्षम अधिकारी का कहना है कि हम इसे वरिष्ठ अधिकारियों को उचित कार्रवाई के लिए प्रेषित करेंगे. वहीं विधायिका ने स्पष्ट कर दिया कि यदि यहां काम की तलाश में पलायन कर रहे लोगों पर बंदिशें नहीं लगेंगी और यहां के आदिवासीयों को जब तक इनका हक नहीं मिलता तब तक हमारी लड़ाई पार्क प्रबंधन के खिलाफ जारी रहेगी. वहीं चेतावनी देते हुए कहा कि इसके बाद धरना नहीं उग्र आंदोलन होगा.
आदिवासी बाहुल्य जिले में रोजगार की मार झेल रहे लोग पलायन करने को मजबूर हैं. जिसे लेकर मानपुर क्षेत्र से भाजपा से विधायिका मीना सिंह ने मोर्चा खोल दिया है जहां देखना यह होगा कि कब तक आदिवासियों को उनका हक मिल पाता है.