उज्जैन। विश्व प्रसिद्ध ज्योतिर्लिंग बाबा महाकाल का मंदिर हजारों लाखों श्रद्धालु की आस्था का केंद्र है. देश- विदेश से हर रोज मंदिर में हजारों की संख्या में श्रद्धालु दर्शन करने पहुंचते हैं. ऐसे में श्रद्धालु मनोकामना पूर्ण होने पर मंदिर के निर्माण के लिए दान में नगद राशि सोना-चांदी भारी संख्या में अर्पित करते आए हैं. क्योंकि कोरोना काल में है मंदिर विगत वर्ष 22 मार्च 2020 वित्त वर्ष शुरू होने के 9 दिन पहले और 25 जून 2020 तक यानी 84 दिन कुल 93 दिन बंद रहा तो वहीं दूसरी लहर में मंदिर वुत्त वर्ष शुरू होते ही 22 अप्रैल 2021 से 28 जून 2021 तक यानी 77 दिन बंद रहा जिसका बड़ा असर अब मंदिर की आय पर देखने को मिल रहा है. मंदिर बंद होने और महामारी में आमजन की आर्थिक स्थिति पर प्रभाव पड़ने से दान में भारी गिरावट देखने को मिल रही है. हम सोना, चांदी की ही बात कर रहे हैं तो 3 गुना सोना कम और 2 गुना चांदी कम मंदिर को मिली है. वर्ष 2019 अप्रैल से मार्च 2020 के मुकाबले.
संक्रमण के बाद दान में आई कमी
महाकालेश्वर मंदिर के सह प्रशासक मूलचंद जूनवाल ने बताया कि महाकालेश्वर मंदिर को एक अप्रैल 2019 से 31 मार्च 2020 में खूब दान आया. उस वक्त सोना 848.61 ग्राम मिला तो चांदी 97607 ग्राम मंदिर को दान में मिली, लेकिन संक्रमण की पहली लहर का असर वित्त वर्ष एक अप्रैल 2020 शुरू होने के 9 दिन पहले ही देखने को मिल गया था. जिसमें मंदिर को 22 मार्च 2020 से 25 जून 2020 तक यानी 93 दिन के लिए बंद कर दिया गया था.
एक साल में 848.61 ग्राम सोना मिला दान
इस वजह से 2019 से 2020 के अंतराल में मंदिर को कोई नुकसान नहीं हुआ लेकिन 2020 से 2021 के अंतराल में मंदिर को 84 दिन और कुल 93 दिन बंद रहा, तो उसका असर अच्छा खासा देखने को मिला. मंदिर सह प्रशासक मूलचंद जूनवाल ने बताया कि मंदिर को 2019 अप्रैल से मार्च 2020 में 848.61 ग्राम सोना और 97606 ग्राम चांदी मिली. अप्रैल 2020 से मार्च 2021 के दौरान 235.55 ग्राम सोना और 47943 ग्राम चांदी ही दान में मिली है.
दान में गिरावट का असर
उज्जैन जिले में कोरोना की दूसरी लहर के बाद दान में गिरावट का असर अब अप्रैल 2021 से मार्च 2022 के वित्त वर्ष में देखने को मिल सकता है. क्योंकि इस अंतराल भी मंदिर 77 दिन बंद रहा और दूसरी लहर पहली से ज्यादा भयावह थी. जिसने लाखों-करोड़ों लोगों की नौकरी छीन ली इंसान को उनके अपनों को खोने का दर्द ने आर्थिक स्थिति से भी कमजोर कर दिया. ये बड़ा आंकड़ा अब बढ़ने की संभावना मंदिर समिति के लिए चिंता का विषय बन गया है. 12 अप्रैल 2021 से महाकाल मंदिर श्रद्धालुओं के लिए बंद कर दिया गया था, जो 28 जून 77 दिन बाद फिर से शर्तों के साथ आम श्रद्धालुओं के लिए खुलने जा रहा है.