सीधी। एक ओर सरकार गांव गांव गौशाला खोलने की बात करती है. वहीं शहरों में सड़कों पर आवारा पशुओं का जमावड़ा लगा रहता है. ऐसा ही नजारा रोज सीधी के जिला अस्पताल चौराहे सहित अन्य चौराहों पर देखा जा सकता है. सड़कों पर आवारा पशुओं की धमाचौकड़ी से वाहन चालकों के साथ दुर्घटना होने की आशंका बनी रहती है.
शहर की सड़कों का हाल तो बुरा है ही, साथ ही आवारा पशुओं के सड़कों पर मौजूदगी की समस्या ने लोगों की नाक में दम कर रखा है. इन पशुओं के चलते सड़कों पर आए दिन एक्सीडेंट होते हैं. जिनमें कई लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं. कभी कभी भारी वाहनों से टकराकर ये पशु भी दुर्घटना के शिकार हो जाते हैं.
वहीं जिला प्रशासन जिम्मेदारी निभाने में आना-कानी करते नजर आता है. जिसका अंदाजा नगरपालिका सीएमओ अमर सिंह के बयान से लगाया जा सकता है. जिसमें उन्होंने कहा 'पशु लोग पशुओं कि उपयोगिता खत्म हो जाने के बाद जानबूझकर सड़कों पर पशुओं छोड़ देते हैं. ताकि उन्हें पशुओं की देख-रेख न करना पड़े. आजकल लोग खेती ट्रैक्टर और अन्य उपकरणों से करते हैं. जिसके चलते पशुओं को सड़कों पर आवारा छोड़ देते हैं. हांलाकि पशु मालिकों को समझाइश दी जाएगी'.