शिवपुरी(Shivpuri)। जिले के पोहरी दुर्ग में स्थित अति प्राचीन मंदिरों में शुमार इच्छापूर्ण गणेश मंदिर (Ichhapurna Ganesha Mandir) की महिमा निराली है. श्रद्धालुओं (Devotee) की मानें तो यहां पर दर्शन करने से बप्पा सारे विघ्न दूर करते हैं. इसके साथ ही अपने भक्तों की सारी मनोकामनाएं भी पूर्ण करते हैं. सिंधिया राजवंश (Scindia dynasty) के समय जागीरदार बाला बाई सीतोले ने साल 1737 में इस मंदिर का निर्माण कराया था. इस मंदिर में गणपति बैठी हुई मुद्रा में विराजते हैं. बप्पा के साथ यहां पर नंदी जी भी विराजते हैं. ईटीवी भारत की यह खास रिपोर्ट पढ़ें.
मंदिर में नारियल चढ़ाकर भक्त मांगते हैं मन्नत
पोहरी के इस गणेश मंदिर को इच्छापूर्ण मंदिर माना जाता है. मंदिर में जो भी भक्त नारियल चढ़ाकर मनोकामना मांगता है, वह जरूर पूरी हो जाती है. ग्रामीण क्षेत्रों में स्थित होने के बाद भी गणेश जी के इस मंदिर में 12 महीने भक्तों का तांता लगा रहता है. इस मंदिर में संपूर्ण भारत से लेकर विदेशी पर्यटक तक अराधना करने आते हैं. जिनकी भी मनोकामना पूरी हो जाती है, वह दोबारा इस मंदिर में आकर बप्पा को धन्यवाद देते हैं.
284 साल से खण्डालकर परिवार कर रहा सेवा
इस मंदिर की सेवा खण्डालकर परिवार के हाथ में है. खंडालकर परिवार के पूर्वज इस मंदिर की पूजा और देखभाल सालों से कर रहे हैं. अजय खण्डालकर जो मंदिर के पुजारी है, उन्होंने बताया कि यहां पर जो भी भक्त अपनी भक्ति और मन से गणेश जी के सामने मन्नत मांगकर नारियल रखता है, उसकी मन्नत बप्पा अवश्य पूरी करते हैं. अजय खण्डालकर बतातें हैं कि यहां पर मुंबई, पुणे, बैंगलोर, दिल्ली, ग्वालियर समेत विभिन्न जगहों से भक्त आते हैं. विदेशी पर्यटक भी इस अति प्राचीन मंदिर को देखने आते हैं.
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लड़कियां मंदिर में नारियल रख मांगती है मनचाहा वर
पोहरी के इच्छापूर्ण गणेश मंदिर में स्थानीय लोगों की मान्यता अधिक है. बाहर से भी लोग यहां दर्शन करने और मन्नत मांगने आते हैं. पोहरी गणेश मंदिर की विशेषता है कि यहां कुंवारी लड़की शादी के लिए नारियल रख देती हैं तो उनकी शादी जल्द हो जाती है. यदि किसी दंपति के यहां बच्चे नहीं होते तो यहां नारियल चढ़ाकर दर्शन करने से बप्पा दंपति की मनोकामना पूर्ण कर देते हैं.